Mera Gaon Essay in Hindi – मेरा गाँव पर निबंध
Mera Gaon Essay in Hindi दोस्तो आज हमने मेरा गाँव पर निबंध लिखा है Mera Gaon पर निबंध कक्षा 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 9 ,10, 11, 12 और कॉलेज के विद्यार्थियों के लिए है. इस निबंध की सहायता से विद्यार्थी अपनी जानकारी बढ़ा सकते हैं और साथ ही परीक्षाओं में भी इस निबंध का इस्तेमाल कर सकते है.
Get Some Mera Gaon Essay in Hindi for School or College Student – 150, 250, 500 or 1000 words.
(1) Mera Gaon Essay in Hindi 150 Words
भारत गाँवो का देश है अगर गाँवो को भारत की आत्मा कहीं जाए तो कोई अतिशयोक्ति नहीं होगी क्योंकि आज भी भारत की जनसंख्या का लगभग 65% हिस्सा गाँवो में ही निवास करता है. गांव भारत के विकास में बहुत बड़ी भूमिका निभाते हैं क्योंकि गांव में ही हर प्रकार की फसलों का उत्पादन होता है और वही से शहरों में सप्लाई किया जाता है
इसलिए कहीं ना कहीं शहर गांव पर ही निर्भर हैं अगर भारत में गांव नहीं होगे तो खाने-पीने के लाले पड़ सकते है गांव के लोग बहुत ही खुशमिजाज और मिलनसार होते है. गांव के लोग जल्दी सो जाते हैं और सुबह जल्दी उठते है और शहरी लोगों की तुलना में बहुत ज्यादा परिश्रम करते है. गाँवो के ज्यादातर लोग कृषि कार्य ही करते हैं
और अपनी आजीविका भी इसी से चलाते है. यहां पर प्रत्येक घर में पशु पालन किया जाता है. गांव के कुछ लोग अपनी आजीविका चलाने के लिए पशुपालन के अलावा मुर्गी पालन, मधुमक्खी पालन, कुटीर उद्योग आदि पर निर्भर होते है.
(2) Mera Gaon Essay in Hindi 250 Words
शहरों की भीड़ भाड़ वाली जिंदगी से दूर भारत में गाँवो में जीवन बहुत ही सरल और सीधा साधा है. भारत के गाँवो में ज्यादातर किसान लोग ही निवास करते है क्योंकि आज भी भारत में गाँवो में आजीविका का मुख्य साधन कृषि ही है इसीलिए भारत को कृषि प्रधान देश भी कहा जाता है. भारत की जनसंख्या का आगे से भी ज्यादा हिस्सा आज भी गांव में ही निवास करता है इसलिए भारत को गाँवो का देश भी कहा जाता है.
गांव के लोग आधुनिक सुविधाओं से दूर बहुत ही साधारण जीवन यापन करते है. गांव में रहने वाले लोग अपनी आजीविका चलाने के लिए मुख्यतः कृषि पर निर्भर रहते हैं और साथ ही मुर्गी पालन, पशु पालन, मधुमक्खी पालन, मछली पालन आदि भी करते है.
गांव के लोग साधारण भोजन करते हैं वे भोजन में दूध दही और ताजा फल सब्जियों का सेवन करते है जिससे गांव के लोग हष्ट-पुष्ट रहते हैं और कम बीमार पड़ते है. गांव के लोग गरीबी रेखा से नीचे ही जीवन यापन करते है. यहां पर शहरों की तुलना में ज्यादा सुविधाएं नहीं होती है. यहां का वातावरण ठंडा और प्रदूषण मुक्त होता है यहां की हवा में ताजगी होती है क्योंकि यहां चारों ओर खेत खलियान और पेड़ पौधे होते है.
गांव के ज्यादातर लोग अनपढ़ होते हैं लेकिन जैसे-जैसे भारत विकास कर रहा है गांव में भी अब विद्यालय खुलने लगे हैं यहां पर भी शिक्षा का स्तर ऊपर उठने लगा है लेकिन भारत में जिस तेजी से गांव का विकास होना था उस तेजी से गांव का विकास नहीं हुआ है.
(3) Mera Gaon Essay in Hindi 500 Words
भारत को गाँवो का देश कहा जाता है सच भी है क्योंकि भारत की कुल आबादी का दो तिहाई हिस्सा गाँवो में ही निवास करता है. गांव भारत देश की रीड की हड्डी है क्योंकि भारत में ज्यादातर लोग कृषि पर ही निर्भर हैं और कृषि गांव में ही होती है इसलिए भारत के विकास में गांव महत्वपूर्ण भूमिका निभाते है. शहरों की तुलना में यहां के लोग बिना किसी उतावलेपन के और बिना किसी अतिरिक्त चिंता के साधारण जीवन व्यतीत करते है
किसी ने सच ही कहा है कि अगर भारत देश को सही मायनों में पहचानना है तो गाँवो में जाकर देखना होगा क्योंकि आज भी भारत के गाँवो में पुरानी संस्कृति जिंदा है आज भी वहां पुराने विचारों को अपनाया जाता है और उन्हीं पुराने ढंग से सांस्कृतिक आयोजन किए जाते हैं हर त्यौहार को मिलजुल कर मनाया जाता है.
मेरा गांव बुगाला राजस्थान राज्य के झुंझुनू जिले से करीब 30 किलोमीटर दूर स्थित है. यहां पर सभी जाति और धर्म के लोग मिल जुल कर रहते है. हमारे गांव में करीब 300 से ज्यादा घर है अब ज्यादातर लोग खेतों में ही रहते है. यहां पर आज भी पुराने जमाने की तरह किसी के यहां विवाह हो या फिर अन्य कोई आयोजन हो तब सभी लोग वहां पर कार्य करवाने के लिए एकजुट हो जाते है उस समय ऐसा लगता है मानो कोई बहुत बड़ा है त्योहार मनाया जा रहा है.
हमारे गांव में शिक्षा को लेकर भी विकास हुआ है यहां पर सरकार द्वारा सीनियर सेकेंडरी तक सरकारी स्कूल भी बनवाई गई है. इस स्कूल में गांव के और आसपास की ढाणियों के बच्चे पढ़ने आते है. हमारे गांव में सभी मुख्य रास्तों पर सरकार द्वारा सड़क बनवा दी गई है जिस से शहर जाने में अब असुविधा नहीं होती है. हमारे गांव में आयुर्वेदिक अस्पताल भी खोला गया है जिसमें गांव के लोग अपना इलाज करवाते है
हमारे गांव की एक अलग पंचायत की है जिसमें गांव के आपस के झगड़े पंचायत में ही सुलझा लिए जाते है. छोटे बच्चों को पढ़ाने के लिए सरकार द्वारा सर्व शिक्षा अभियान के तहत आंगनवाड़ी भी बनवाई गई है. हमारे गांव में एक छोटा पोस्ट ऑफिस भी है. हमारे गांव के ज्यादातर लोग कृषि पर ही निर्भर है और यही उनकी आजीविका का साधन है यहां पर गेहूं मक्का मूंगफली बाजरा आदि की फसल मुख्यतः बोई जाती हैं
सिंचाई के लिए यहां कुछ खेतों में ट्यूबवेल की सुविधा है लेकिन ज्यादातर खेत मानसून की बारिश पर ही निर्भर होते हैं इसलिए आप पर कभी अच्छी फसल होती है तो कभी नहीं भी होती है. यहां पर ज्यादातर लोग गरीब ही है.
हमारे गांव के कुछ लोग आजीविका के लिए लघु उद्योग चलाते हैं और कुछ लोग मुर्गीपालन, पशुपालन करके भी अपनी आजीविका चलाते है. यहां पर संचार साधनों के रूप में मोबाइल और टेलीफोन की सुविधा भी उपलब्ध है यहां पर अब बिजली की सुविधा भी उपलब्ध करा दी गई है जिससे अब पूरे गांव में लगभग पूरे दिन बिजली रहती है
हमारे गांव में चारों और हरियाली है यहां के सभी लोग हंसमुख और मिलनसार है. हमारा गांव सही मायनों में एक आदर्श गांव है.
(4) Mera Gaon Essay in Hindi 1000 Words
भारत गाँवो का देश है यहां के ज्यादातर लोग कृषि पर ही निर्भर है भारत को गाँवो का देश इसलिए कहा जाता है क्योंकि यहां की ज्यादातर जनसंख्या गांव में ही निवास करती है गांव को भारत की रीड की हड्डी कहे तो कोई अतिशयोक्ति नहीं होगी क्योंकि गाँवो से ही भारत के शहरों में खाने पीने की वस्तुएं उपलब्ध होती है और भारत की जीडीपी का एक हिस्सा कृषि क्षेत्र से ही आता है
इसलिए भारत देश के गांव भारत के आर्थिक विकास में भी सहयोग करते है. पूरी दुनिया में भारत ही एकमात्र ऐसा देश है जहां पर सबसे ज्यादा जनसंख्या गांव में निवास करती है.
भारत के गाँवो के विकास के लिए सरकार ने बहुत ध्यान दिया है और इसके लिए कई योजनाएं भी बनाई है. इन योजनाओं का कुछ हद तक गाँवो के विकास पर असर भी दिखाई दिया है लेकिन अभी तक गाँवो का जिस तरह से विकास होना चाहिए था वैसा विकास अभी नहीं हो पाया है.
हाल ही की बात करें तो सरकारी रिपोर्ट के अनुसार भारत के ज्यादातर गांव को सड़कों से जोड़ दिया गया है जिससे वहां पर आवागमन की सुविधा उपलब्ध हो गई है. अधिकतर गांव में बिजली पहुंचा दी गई है.
मेरा गांव उत्तर प्रदेश राज्य में गंगा नदी के समीप स्थित है हमारे गांव के ज्यादातर लोग कृषि पर ही निर्भर है यहां के लोग या तो कम पढ़े लिखे हैं या फिर अनपढ़ हैं जिससे वह किसी क्षेत्र में आई नई तकनीक और क्रांति का पूरा फायदा नहीं उठा पा रहे है. हमारे गांव में कृषि करने के लिए खेतों में नहरों, कुओं, तालाबो और ट्यूबवेल के माध्यम से सिंचाई की जाती है.
हमारे गांव के कुछ लोग अपनी आजीविका चलाने के लिए कुटीर उद्योग भी चलाते हैं कुछ लोग पशु पालन करके उनका दूध और खाद बेचकर अपना गुजारा करते है. हमारे गांव में मुख्यत: पशु पालन मधुमक्खी पालन मछली पालन मुर्गी पालन कृषि और अन्य लघु उद्योगों के माध्यम से आजीविका चलाई जाती है.
हमारे गांव के मुख्य मार्गो पर अब पक्की सड़के बना दी गई है जिससे अब हम रोज ताजा फल-सब्जियां शहरों की सब्जी मंडियों में उचित दामों पर बेच कर आ सकते है. सड़कों के कारण आवागमन भी काफी सुलभ हो गया है और अब तो कुछ विदेशी पर्यटक भी हमारे गांव में घूमने के लिए आने लगे है.
हमारे गांव के विकास कार्यों को देखने के लिए एक पंचायत भी बनाई गई है जो कि गांव में विकास करवाती है और साथ ही अगर गांव में कोई वाद विवाद होता है तो उसका निपटारा भी करवाती है. हमारे गांव में शिक्षा के क्षेत्र में भी बहुत काम हुआ है शिक्षा के लिए अब सीनियर सेकेंडरी तक का सरकारी स्कूल भी खुल गया है जिससे हमारे गांव के बच्चे भी शिक्षित हो रहे है.
हमारे गांव के एक और एक पहाड़ी है जहां पर बहुत सी जड़ी बूटियां पाई जाती हैं और साथ ही बरसात के दिनों में पहाड़ी पर इतनी हरियाली छा जाती है कि यह सब का मन मोह लेती है. इस पहाड़ी से एक झरना हमेशा बहता रहता है जिससे हमारे गांव में पानी की कमी नहीं होती है.
हमारे गांव में पत्राचार के लिए एक छोटा पोस्ट ऑफिस में बना दिया गया है. हमारे गांव के लोग रात को जल्दी सो जाते हैं और सुबह जल्दी उठकर खेतों में काम करने चले जाते हैं और पूरे दिन कठिन परिश्रम करते है. हमारे गांव का वातावरण शहरों की तुलना में बहुत ही ठंडा है और प्रदूषण रहित है जिससे यहां के लोगों को गंभीर बीमारियां नहीं होती है.
यहां के लोग बहुत ही सीधे-साधे और साधारण तरीके से जीवन व्यतीत करने वाले होते है यहां पर सभी लोग मिल जुल कर रहते हैं और एक दूसरे की मुसीबत में मदद करते है. अगर गांव पर कोई भी विपदा आती है तो सभी लोग मिल जुलकर उसका एक साथ सामना करते है.
हमारे गांव में सभी जाति और धर्म के लोग रहते हैं यहां पर लगभग 300 घर है अब ज्यादातर लोगों ने पक्के मकान बना लिए है. गांव में अब सरकार द्वारा ग्रामीण बैंक भी खोल दिया गया है जिससे सभी लोग अपनी पूंजी वहां पर जमा कराते है और सभी बैंकिंग सुविधाओं का लाभ भी उठाते है.
हमारे गांव में साफ सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाता है यहां पर किसी भी प्रकार की गंदगी नहीं पाई जाती हैं और साथ ही हमारे गांव में पर्यावरण को बचाने के लिए हर साल मॉनसून में पंचायत द्वारा पौधारोपण करवाया जाता है जिससे हमारे गांव के चारों ओर हरियाली छाई रहती है.
सरकार ने हमारे गांव में सुविधाओं का विस्तार करते हुए एक छोटा सरकारी अस्पताल भी खुलवाया है जिससे अब हमें इलाज करवाने के लिए शहर नहीं जाना पड़ता है. हमारे गांव में छोटे बच्चों की शिक्षा के लिए सर्व शिक्षा अभियान के तहत आंगनबाड़ी भी खोली गई है.
हमारे गांव को स्वच्छ रखने के लिए स्वस्थ अभियान के तहत अब सभी मुख्य स्थानों और घरों में शौचालयों का निर्माण करवा दिया गया है जिससे गांव के लोग बाहर शौच करने नहीं जाते है. गांव से शहर जाने के लिए सुबह और शाम सरकारी बसें चलाई गई है जिससे अब शहर में कोई भी काम होने पर हम सरकारी बसों द्वारा जल्दी शहर पहुंच जाते है.
पूरे गांव में पानी की सप्लाई के लिए एक बड़ी टंकी बनाई गई है जहां से सुबह शाम पूरे गांव को पानी सप्लाई किया जाता है. हमारे गांव में खेलने के लिए एक बहुत बड़ा मैदान है जहां पर हम सुबह शाम कबड्डी क्रिकेट खो खो जैसे खेल खेलते हैं. हमारा गांव एक आदर्श गांव के रूप में जाना जाता है
गांव के विकास के लिए सरकार ने बहुत काम किया है और योजनाएं भी बनाई है लेकिन घोटाले और भ्रष्टाचार के कारण इन योजनाओं पर पूरी तरह से अमल नहीं हो पाया है जिससे गांव का विकास जितनी तेजी से होना था उससे जिससे नहीं हुआ है. भारत में गांव का विकास करना बहुत ही महत्वपूर्ण है क्योंकि जब तक गांव का विकास नहीं होगा तब तक भारत कभी भी विकसित देश नहीं बन सकता है. इसलिए सरकार को गांव के विकास के लिए विशेष ध्यान देना चाहिए.
यह भी पढ़ें –
पुस्तक मेला पर निबंध – Pustak Mela Essay in Hindi
रेल यात्रा पर निबंध – Rail Yatra Essay in Hindi
हम आशा करते है कि हमारे द्वारा Essay on Mela in Hindi पर लिखा गया निबंध आपको पसंद आया होगा। अगर यह लेख आपको पसंद आया है तो अपने दोस्तों और परिवार वालों के साथ शेयर करना ना भूले। इसके बारे में अगर आपका कोई सवाल या सुझाव हो तो हमें कमेंट करके जरूर बताएं।
31 thoughts on “Mera Gaon Essay in Hindi – मेरा गाँव पर निबंध”
It really very nice It helped me so much
Thank you Janny for appreciation.
hindiyatra is nice. When I find any hindi essay I found in hindiyatra It is beautiful.
Thank you Tanu for appreciation.
Thank you so much sir ☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️☺️
Welcome Zara, keep visiting Hindi yatra.
I liked this essay very well👏👏
Thank you, Ria for great appreciation.
nice essay . It helped me a lot
Thank you Vidushi for great appreciation, keep visiting Hindi yatra.
Honestly really nice essay. I liked it .
This essay is very good it helps me in my exams and you don’t believe that i have full marks in this essay
Thank you Anisha for great appreciation, keep visiting Hindi yatra.
Keep it up 😊👍 very useful content.
I am really delight after reading this… Thank u for giving such a beautiful essay on village.. Ur work is really appreciable…. One again thank u…
Thank you Ishu for appreciation keep visiting hindiyatra.
यहां कुछ लिखिए…यह निबंध बहूत अछा लगा। thankyou
sunny kumar, सराहना के लिए बहुत बहुत धन्यवाद, ऐसे ही निबंध पढने के लिए आते रहे.
यहां कुछ लिखिए… ji ye nibhand bahut aacha laga. Thankyou .my name is sunny kumar.my school name is high school malikpur silao nalanda bihar.(sithaura ,rajgir)
sunny kumar, hame bhut khushi hai aap ko nibandh pasnd aaya, aise hi hindiyatra par aate rahe.
Mindblowing essay keep doing and you will definitely success. Bro
Thank you Devil’s Dart for appreciation.
Really helped me a lot I like it. When I search anything I always find a better answer in hindi yatra.
This is too much interesting ..*no words* Padhte jao padhte jao man hi nhi bharta..😘
Aditi singh, Hame bahut khushi hui ki aap ko yah nibandh pasand aaya. aise hi nibandh padhne ke liye hindi yatra par aate rahe dhanyawad.
Good very good to have such a good website google
Thank you Joker for appreciation, keep visiting hindiyatra.
This is a good easy for my village
Because this is right for essay my village Thanks
Thank you for your appreciation Abhay ranjan rathore. We write such good essays everyday, you can read new essays on our website every day.
I am a student. I live at khrajamma Mahnar. My school name is ucch Vidyalay Mahnar. Class_9th I am a very good student.
Thank you RAJU KUMAR
Leave a Comment Cancel reply
मेरा गांव पर निबंध 10 lines (My Village Essay in Hindi) 100, 150, 200, 250, 300, 500, शब्दों मे
My Village Essay in Hindi – देश के ग्रामीण क्षेत्रों को गाँव माना जाता है। हम सभी एक देश में रहते हैं लेकिन यह फिर से दो वर्गों में बंटा हुआ है। एक उच्च तकनीकी प्रगति से भरा हुआ है जबकि दूसरे खंड को विकास की आवश्यकता है। हालाँकि गाँव के क्षेत्र में विकास और तकनीकी उन्नति का अभाव है, इसके कई अन्य लाभ हैं।( My Village Essay in Hindi ) गांवों की शांति, पर्यावरण, पवित्रता, संतोष और सादगी अपराजेय है। Village स्वस्थ जीवन के लिए आदर्श स्थान हैं। खुशनसीब हैं वो लोग जिनकी जड़ें गांवों में हैं। इसलिए आज हम गांवों की खूबसूरती को उभारने के लिए माय विलेज की चर्चा करेंगे।
मेरा गांव पर निबंध 10 लाइन (My Village Essay 10 lines in Hindi)
- 1. मेरे गांव का नाम नीलपुर है।
- 2. यह मुर्शिदाबाद जिले में है।
- 3. यह एक छोटा सा गाँव है।
- 4. मेरे गाँव में एक बड़ा मंदिर और एक मस्जिद है।
- 5. अधिकांश गाँव किसान हैं।
- 6. वे चावल, जूट, गेहूँ आदि उगाते हैं।
- 7. मेरे गाँव में एक प्राथमिक विद्यालय और एक डाकघर भी है।
- 8. मेरे गाँव के लोग बहुत बहादुर और ईमानदार हैं।
- 9. संकट में एक दूसरे की मदद करते हैं ।
- 10 वास्तव में मुझे अपने गाँव पर गर्व है।
इसके बारे मे भी जाने
- Essay in Hindi
- New Year Essay
- New Year Speech
- Mahatma Gandhi Essay
मेरा गांव पर निबंध 100 शब्द (My village Essay 100 words in Hindi)
My Village Essay – मेरे गांव का नाम फतेपुर है। यह कोलकाता से लगभग 50 किमी दूर नदिया जिले में स्थित है। मेरे गांव में लगभग 1000 लोग रहते हैं। सभी ग्रामीण बहुत ही सौहार्दपूर्ण और सहायक हैं। अधिकांश ग्रामीण किसान हैं। वे धान, जूट और सब्जियां उगाते हैं।
मेरे गाँव में एक प्राथमिक विद्यालय, एक स्वास्थ्य देखभाल केंद्र और एक डाकघर है। एक बड़ा खेल का मैदान है जहाँ हम दोपहर में खेलते हैं। हमारे गांव के बीच से पक्की सड़क गुजरती है। गांव के बाजार से हमें जरूरत की सभी चीजें मिल जाती हैं। यहां रहने वाले लोग गरीब हैं लेकिन वे बहुत दयालु और ईमानदार हैं। मैं अपने गांव से बहुत प्यार करता हूं।
मेरा गांव पर निबंध 150 शब्द (My village Essay 150 words in Hindi)
My Village Essay – मैं बर्दवान जिले के एक छोटे से गाँव कुसुमपुर में रहता हूँ। गांव की आबादी करीब एक हजार है। इनमें ज्यादातर किसान हैं, कुछ छोटे व्यापारी हैं। हमारे गाँव में एक प्राथमिक विद्यालय, एक उप डाकघर और एक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र है।
इसके अलावा, एक पुलिस चौकी और एक ब्लॉक कार्यालय है जो ग्रामीणों की जरूरतों को पूरा करता है। गांव में कुछ कच्ची सड़कें, तालाब और खेल के मैदान हैं। हमारे गांव में, हम सभी यदा-कदा पूजा, जात्रा और मेले के साथ एक खुशहाल सामाजिक जीवन जीते हैं।
ग्राम पंचायत हमारे कल्याण की देखभाल करती है। ग्रामीण, हालांकि कई नुकसानों का सामना कर रहे हैं, कुल मिलाकर खुश और संतुष्ट हैं। निवासी सभी सरल और सभ्य हैं। वे आपसी प्रेम और साथी भावना से एकजुट होते हैं और जरूरत के समय एक दूसरे के साथ खड़े रहते हैं। हमारा गाँव का जीवन बहुत शांतिपूर्ण है और यह शहर के जीवन के शोरगुल से मुक्त है।
मेरा गांव पर निबंध 200 शब्द (My village Essay 200 words in Hindi)
My Village Essay – मेरे गांव का नाम होलीपुरा है। यह उत्तर प्रदेश के आगरा जिले में स्थित है। होलीपुरा मेरा जन्म स्थान है। यह पूरी तरह से प्रकृति से घिरा हुआ है। यह सुंदरता, ताजगी और शांति का स्वर्ग है। यहां साल भर तरह-तरह के फल और फूल लगते हैं। मेरे गांव में करीब 250 घर हैं। यहां करीब दो हजार लोग रहते हैं। यहां सभी धर्मों के लोग सुख-शांति से रहते हैं।
मेरे गाँव में एक प्राथमिक विद्यालय और एक उच्च विद्यालय है। मेरे village में एक डाकघर और एक अस्पताल भी है। संचार प्रणाली के मामले में मेरा गांव बहुत अच्छी तरह से विकसित है। गांव पंचायत सड़क के माध्यम से पास के राष्ट्रीय राजमार्ग से जुड़ा हुआ है। गांव की मुख्य सड़कें पक्की और चौड़ी हैं।
यहां अलग-अलग पेशे के लोग रहते हैं। अधिकांश लोग किसान हैं। कुछ लोग मछली पकड़ने, बुनाई, हस्तशिल्प, दुकानदारी आदि में शामिल हैं। इसके अलावा, कुछ लोग मजदूर के रूप में भी काम करते हैं। इसके अलावा, एक ग्रामीण बाजार है जो सप्ताह में दो बार आयोजित किया जाता है। लोगों को अपना उत्पाद खरीदने और बेचने के लिए दूर नहीं जाना पड़ेगा।
हमारे गाँव का मौसम बहुत सुहावना और सुन्दर है। यहां ताजी हवा और ऑक्सीजन मिलना संभव है। पीने का पानी साफ और प्रदूषण मुक्त हो।
मेरा गांव दिन-ब-दिन तरक्की कर रहा है। हर कोई शिक्षा की ओर बढ़ रहा है और कई छात्र पढ़ने के लिए विदेश जा रहे हैं। मुझे अपने गांव पर बहुत गर्व महसूस हो रहा है।
मेरा गाँव पर निबंध 250 शब्द – 300 शब्द(My village Essay 250 words 300 words in Hindi)
परिचय:(Introduction)
My Village Essay – लगभग सभी की उत्पत्ति एक गाँव से होती है और हम एक गाँव से हमेशा जुड़े रहते हैं। मेरा अपना पैतृक गाँव है और मुझे अपने गाँव के बारे में बताने के लिए बहुत कुछ है। यहां मैं आप सभी के साथ ये बातें साझा करने जा रहा हूं।
मेरा पैतृक गांव:
मेरा गांव बहुत छोटा गांव है और यहां 50-60 परिवार ही रहते हैं। सच कहूं तो उनमें से ज्यादातर हमारे रिश्तेदार हैं। इसलिए आप कह सकते हैं कि पूरा गांव एक दूसरे से जुड़ा हुआ है। इसने हमारे बीच एक बहुत बड़ी बॉन्डिंग बना दी है।
हमारा गाँव बहुत सुधरा हुआ है, हमारा निकटतम शहर से बेहतर सड़क संपर्क है। हमारे पास 10 मिनट की दूरी पर एक अस्पताल है और शिक्षा के लिए स्कूल हैं। यहां हिंदू और मुस्लिम दोनों समुदाय के लोग शांति से रह रहे हैं।
मुझे गाँव में रहना क्यों पसंद है? (Why do I like living in the village? )
गाँव में रहना पसंद करने के कई कारण हैं। सबसे पहले तो गांव से मेरी बचपन की ढेर सारी यादें जुड़ी हैं। मैं वहां आकर बहुत खुश और खुश महसूस कर रहा हूं। मेरे वहां बहुत सारे दोस्त हैं। वे बेहद मिलनसार और वास्तविक हैं।
मेरे सभी रिश्तेदार मुझे बहुत प्यार करते हैं और जब मैं उनके साथ होता हूं तो मुझे बहुत अच्छा लगता है। मेरे चचेरे भाई अद्भुत हैं। मैं उनके साथ बहुत अच्छा समय बिताता हूं। जब हम साथ होते हैं तो हम सब कुछ करते हैं। सबसे खास बात यह है कि मेरी दादी गांव में रहती हैं।
और गांव के प्रति मेरे प्रेम के पीछे यही सबसे बड़ी वजह है। कुछ अन्य कारण भी हैं, लेकिन ये प्रमुख कारण हैं। मुझे गांव की ताजी हवा और ताजा खाना बहुत पसंद है।
मुझे अपने गांव में रहना पसंद है। यह मेरे लिए एक अद्भुत जगह है और मुझे वहां रहना पसंद है। मेरे पास वहां बहुत सारी खास चीजें हैं और वे काफी रोमांचक हैं। मेरे गाँव के लोग अद्भुत और मिलनसार हैं, मैं उन्हें बहुत प्यार करता हूँ।
मेरा गांव पर निबंध 500 शब्द (My village Essay 1Essay in Hindi00 words in Hindi)
My Village Essay – जो लोग गांवों में रहते हैं, वे बहुत भाग्यशाली होते हैं। गांव अब कितना खूबसूरत है। आधुनिक विज्ञान के सुधार के कारण शहरों और गांवों के बीच इतना बड़ा अंतर नहीं रह गया है। गांव वालों को लगभग वही सुविधाएं मिलती हैं जो शहर वालों को मिलती हैं।
संचार व्यवस्था की बड़ी शिकायत थी, लेकिन अब पूरे देश में राजमार्ग और बड़ी सड़कें हैं और इसने स्थिति को नियंत्रण में कर दिया है। लोग एक अद्भुत वातावरण में शांतिपूर्ण जीवन जी सकते हैं। मैं भी एक गाँव में रहता हूँ और यहाँ मैं आप सभी को अपने गाँव के बारे में बताने जा रहा हूँ।
मेरा गांव विवरण:
मेरे गाँव का नाम चंपकपुर है, और यह पंजाब में स्थित है। यह इस क्षेत्र के सबसे बड़े और खूबसूरत गांवों में से एक है। हमारे पास गर्व करने के लिए बहुत सी चीजें हैं। सबसे पहले, हम यहां के सबसे अच्छे गांव हैं और हमारे पास हर दूसरे गांव से जुड़ने के लिए सबसे अच्छी सड़कें हैं।
यहाँ एक बड़ा बाजार है और इसने हमारे गाँव को व्यापार और व्यापार की दृष्टि से बहुत महत्वपूर्ण बना दिया है। उस बाजार में लगभग 6-7 गांवों के लोग अपना उत्पाद खरीदने और बेचने आते हैं। मेरे गांव में ज्यादातर लोग किसान हैं।
वे फसलें उगाकर जीवनयापन करते हैं। मेरे गांवों में भी दूसरे पेशे के लोग उपलब्ध हैं। हमारा एक छोटा क्लिनिक है और दो डॉक्टर उपलब्ध हैं। हम वहां से सभी चिकित्सा उपचार ले सकते हैं।
किसी भी गंभीर रोगी को बेहतर सड़क और कार सुविधाओं के कारण बड़े अस्पतालों में ले जाना संभव है। यहां चार हजार हिंदू, मुस्लिम और कुछ ईसाई लोग शांति और भाईचारे के साथ रह रहे हैं।
मेरे गांव में स्कूल:
My Village Essay – हमारे यहाँ एक प्राथमिक विद्यालय और एक उच्च विद्यालय है। लेकिन कॉलेज नहीं हैं। कॉलेज लगभग 25 किलोमीटर दूर है और हम यहां एक कॉलेज बनाने की कोशिश कर रहे हैं। लोग अपने बच्चों की शिक्षा को लेकर काफी जागरूक हैं।
सबसे ज्यादा बच्चे स्कूल जाते हैं। आने वाली पीढ़ी शिक्षित होगी। हमारे गांव में कुछ सफल व्यवसायी हैं। हमारे पास कुछ सरकार है। अधिकारी और कुछ लोग नौसेना और सेना के लिए काम कर रहे हैं।
ग्राम जीवन के लाभ और हानियाँ:
एक गांव में रहने के बहुत सारे फायदे हैं। सबसे पहले, मुझे लगता है कि खाना मायने रखता है। एक गाँव में आपको सभी जैविक और ताजा भोजन मिल जाएगा जो शहरों में लगभग असंभव है। आप बगीचे से सब्जियां और मछुआरे से मछली खरीद सकते हैं जिसने उन्हें पकड़ा है। वातावरण काफी अच्छा है, कोई ट्रैफिक जाम या बहुत अधिक दबाव नहीं है।
कुछ कमियाँ भी हैं। मैं चिकित्सा और उपचार प्रणाली को लेकर काफी भ्रमित हूं। क्योंकि इतने अनुभवी डॉक्टर नहीं हैं। मेरे लिए यही सबसे बड़ी चिंता है।
कुल मिलाकर एक गाँव में रहना मेरे लिए बहुत बढ़िया है। वहां कोई भी बहुत शांति से रह सकता है। मैं जानता हूं कि शहर बनाम गांव के जीवन में बहुत अंतर होता है, लेकिन इसके फायदे आपको ज्यादातर गांव में ही मिलेंगे।
मेरा गांव निबंध पर सामान्य प्रश्न: (FAQs)
मैं अपने गाँव के बारे में एक निबंध कैसे लिख सकता हूँ .
यहां हमने आपके लिए कई खूबसूरत उदाहरण दिए हैं। ‘मेरा गाँव’ के बारे में निबंध लिखने का तरीका जानने के लिए आप इन नमूना निबंधों का अनुसरण कर सकते हैं।
आप अपने गांव का वर्णन कैसे करेंगे?
यदि आप अपने गांव का वर्णन करना चाहते हैं, तो आपको यह बताना होगा कि कितने लोग रह रहे हैं, वे जीवित रहने के लिए पैसे कैसे कमाते हैं, और अन्य महत्वपूर्ण चीजें।
आप एक गांव का परिचय कैसे देते हैं?
मेरे गांव में हमारे खूबसूरत निबंधों को पढ़कर आप आसानी से अपने गांव का परिचय करा सकते हैं। मुझे यकीन है कि आप इन गांवों से प्यार करेंगे।
45,000+ students realised their study abroad dream with us. Take the first step today
Here’s your new year gift, one app for all your, study abroad needs, start your journey, track your progress, grow with the community and so much more.
Verification Code
An OTP has been sent to your registered mobile no. Please verify
Thanks for your comment !
Our team will review it before it's shown to our readers.
- Trending Events /
Essay on My Village in Hindi: जानिए मेरे गांव पर स्टूडेंट्स के लिए 100, 200 और 500 शब्दों में निबंध
- Updated on
- अक्टूबर 23, 2023
ऊंची-ऊंची पहाड़ियों और हरी-भरी हरियाली के बीच बसा मेरा गांव सिर्फ एक ज्योग्राफिक लोकेशन से कहीं अधिक है। यह मेमोरीज, ट्रेडिशंस और क्लॉज कम्यूनिटीज की एक टेपेस्ट्री है। ग्रामीण जीवन के आकर्षण और महत्व के लिए सभी को जानकारी होनी चाहिए। प्रत्येक स्कूल या कॉलेज की परीक्षाओं में गांव पर निबंध के प्रश्न पूछे जाते हैं, Essay On My Village In Hindi, My village essay in Hindi के बारे में जानकारी यहां दी गई है।
This Blog Includes:
मेरा गांव 100 शब्दों में निबंध, मेरा गांव 200 शब्दों में निबंध, गांव का जीवन कैसा होता है, गांव का वातावरण तथा काम, गांवों का महत्व, गांवों पर कोट्स, गांव के जीवन से जुड़े तथ्य.
मेरा गांव मेरे दिल में बसता है। मेरा एक छोटा सा गांव है, जो शांति और सामाजिक सांझ के माहौल के लिए बहुत प्रसिद्ध है। गांव के सभी लोग अपने साथी गांववालों के साथ एक परिवार की भावना से रहते हैं। हमारे गांव के आस-पास प्राकृतिक सौंदर्य और यहां की हरियाली सबसे ख़ास है। वहां के खेतों में फसलें उगती हैं और आकाश में चिड़ियों का गुंथन अमित सौंदर्य का दर्शन कराता है।
गांव के लोग एक साथ खेलते हैं, मिलकर मनाते हैं और साथ में प्रयास करते हैं। हमारे गांव में शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधाएँ भी उपलब्ध हैं। मेरे गांव का माहौल शांतिपूर्ण है और यहां की सांझा कुछ ख़ास है। यहां के लोग एक-दूसरे के साथ एक गांव की भावना से जुड़े रहते हैं और हमारे गांव को अद्वितीय बनाते हैं। मेरे गांव के लोग समृद्धि और समरसता के प्रतीक हैं। हम विभिन्न जातियों और धर्मों के लोगों के साथ मिलकर रहते हैं और एक दूसरे की सहायता करने में समर्थ हैं।
हमारे गांव में कई पर्व और त्योहार मनाए जाते हैं, जिनमें सभी लोग भाग लेते हैं। यहां के उत्सव और मेले गांव को रंगीन बनाते हैं।
मेरे गांव का नाम रामगढ़ है। यह उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ जिले में स्थित है। रामगढ़ मेरी जन्मभूमि है। यह पूरी तरह से प्रकृति से घिरा हुआ है। हमारा यह गांव सुंदरता, ताजगी और शांति काभरा हुआ स्वर्ग है। मेरे गांव में हर यहां साल तरह-तरह के फल, फूल उगते हैं। मेरे गाँव में लगभग 500 से भी अधिक घर बने हुए हैं। यहां करीब दो हजार लोग रहते हैं। हमारे गांव में सभी प्रकार के धर्मों के लोग प्रेम और सुख-शांति से रहते हैं।
मेरे गाँव में बच्चों के पढ़ने के लिए एक प्राइमरी स्कूल है और एक हाई स्कूल भी बना है। मेरे गाँव में डाक भेजने के लिए एक पोस्ट ऑफिस और मरीजों के उपचार के लिए एक अस्पताल भी है। मेरा गाँव का आज के समय के कम्युनिकेशन सिस्टम के मामले में बहुत डेवलप है। गाँव की पंचायत सड़क के माध्यम से पास के भारत के नेशनल हाईवे से जुड़ा हुआ है। हमारे गाँव की सभी मुख्य सड़कें पक्की हैं तथा वाहनों के आने जाने के लिए बहुत चौड़ी हैं।
हमारे गांव में अलग-अलग प्रोफेशंस के लोग रहते हैं, लेकिन मुख्यत: हमारे गांव के अधिकतर लोग किसान हैं। इसके साथ गांव के कुछ लोग मछली पकड़ने, बुनाई, हस्तशिल्प, दुकानदारी आदि से जुड़े हैं। इसके अलावा, कुछ लोग मजदूर के रूप में भी काम करते हैं। एक गाँव का एक मुख्य बाज़ार भी है जो एक सप्ताह में दो लोगों की खरीद दारी के लिए एक बार आयोजित होता है। इसकी वजह से गांव में लोगों के अपने पसंद की चीजें खरीदने और बेचने के लिए दूर नहीं जाना पड़ेगा। हमारे गाँव का तथा उसके आस-पास का मौसम बहुत अधिक सुहावना और सुन्दर है। यहां ताजी हवा और ऑक्सीजन मिलना संभव है। गांव में पीने का पानी स्वच्छ है एवं यह प्रदूषण मुक्त है मेरा गाँव दिन प्रतिदिन प्रगति कर रहा है। गांव का प्रत्येक बचा शिक्षा की ओर बढ़ रहा है और कई सारे छात्र पढ़ाई के लिए विदेश भी जा पा रहे हैं। मुझे अपने इस गांव पर बहुत अधिक गर्व है।
मेरा गांव 500 शब्दों में निबंध
My village essay in Hindi 500 शब्दों में निबंध दिया गया है-
मेरा गाँव आबादी में छोटा लेकिन मनमोहक है, यह मेरे दिल में एक बहुत ही विशेष स्थान रखता है। मेरा गांव प्रकृति की गोद में बसा हुआ है। यह शांति, सादगी और प्रेम से रहने वाले लोगों के घनिष्ठ समुदाय की भावना का प्रतीक है। हमारी तेजी से भागती हुई दुनिया में गांव दुर्लभ होता जा रहा है। वास्तव में मेरे गाँव की प्राकृतिक सुंदरता और जीवनशैली वास्तव में असाधारण है। यह गांव मेरे लिए यह एक ऐसा स्वर्ग है जहाँ समय धीमा लगता है, और ग्रामीण स्तर का जीवन का सार अपनी अलग ही महिमा में प्रकट होता है।
गांव का जीवन अपने प्राकृतिक सुंदरता और शांति से भरपूर होता है। यहां के लोग साथ में मिलकर सादगी और समरसता के साथ रहते हैं। खेतों में उगती हरियाली, गायों के विसर्पण की गंध और आसमान में चिड़ियों की चहचहाहट गांव का वातावरण सुखद बनाती हैं।
सबका एक-दूसरे के साथ एक खास रिश्ता है। समुदाय में उत्सव और त्योहारों का आयोजन होता है, जो लोगों को एकसाथ लाता है। खेती-बाड़ी के कामों के साथ-साथ गांव में विभिन्न शिक्षा और सामाजिक कार्यक्रमों का आयोजन भी होता है।
गांव में लोग आपसी सहायता करते हैं और एक-दूसरे के साथ साथीपन के भावना से जुड़े रहते हैं। यहां के बच्चे अपनी पारंपरिक भूमिकाओं और मौलिक विद्या को अपनाते हैं। गांव का जीवन नगरों की भागमभाग की भीड़-भाड़ से मुक्त है। यहां के लोग अपने विशेष संस्कृति और लोककला को बचाए रखते हैं। इस प्रकार, गांव न केवल एक स्थान है, बल्कि एक आत्मा का निवास है जो सदैव लोगों के दिलों में बसता है।
गांव का वातावरण स्वच्छ, प्राकृतिक सौंदर्य से भरपूर और शांतिपूर्ण होता है। पेड़-पौधों की हरियाली, नदियों का मनमोहक संगीत, और खुले आकाश के नीले रंग का दृश्य गांव को अद्वितीय बनाता है। गांव के लोग प्राथमिक रूप से कृषि और पशुपालन के क्षेत्र में लगे होते हैं। खेतों में फसलों की खेती, गाय और भैंसों के पालन-पोषण के काम में लोग लगे रहते हैं। सबका एक-दूसरे के साथ साथीपन के भावना से जुड़ा होता है, और वे आपसी सहायता करते हैं। किसान अपनी मेहनत और ज़िम्मेदारियों के साथ-साथ गांव की सामृद्धि के लिए प्रतिबद्ध हैं। वे अपने कामों में मन, धन, और मेहनत लगाते हैं ताकि वे अच्छी खेती और पशुपालन कर सकें।
गांव का वातावरण खुद में ही एक शिक्षा है, जो लोगों को समरसता, गरिमा, और सादगी का महत्व सिखाता है। यहां के लोग अपने रोज़मर्रा के कामों में संतुष्ट रहते हैं और प्रकृति के साथ एक साथ जीने का आनंद लेते हैं। गांव में किसान अपने खेतों की देखभाल करते हैं, जो मुख्य रूप से फसलों की उपज बढ़ाने के लिए होते हैं। यहां की परंपरागत खेती तकनीकों का प्रयोग करती है और मौसम के अनुसार खेतों की जोड़बंदी करती है।
गांव के लोग बच्चों की शिक्षा को महत्व देते हैं और विद्या में उच्च योग्यता के लिए प्रयासरत होते हैं। स्थानीय स्कूल और साक्षरता अभियानों के माध्यम से वे शिक्षा को बढ़ावा देते हैं ताकि आने वाली पीढ़ियों का भविष्य बेहतर हो सके। गांव का जीवन खुद में एक शिक्षा है, जो सामृद्धि के लिए मेहनत, जोश, और साझेदारी की महत्वपूर्ण भावना सिखाता है। गांव में लोगों के बीच सहयोग और सामाजिक सांझा गांव की गरिमा को बनाए रखते हैं और यहां का जीवन अपनी अलगीपन में अनुभव करने का अवसर प्रदान करता है।
गाँव किसी भी देश के सामाजिक-आर्थिक, सांस्कृतिक और पर्यावरणीय परिदृश्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उनका महत्व समाज के विभिन्न पहलुओं और राष्ट्र के समग्र विकास से गहराई से जुड़ा हुआ है। गांवों के महत्व को उजागर करने वाले कुछ प्रमुख कारण यहां दिए गए हैं-
- कृषि का केंद्र: गाँव कृषि की रीढ़ हैं, जो अधिकांश भोजन का उत्पादन करते हैं जो ग्रामीण और शहरी दोनों आबादी का भरण-पोषण करता है। वे फसल की खेती, पशुधन पालन और अन्य कृषि गतिविधियों में संलग्न हैं। गांवों का कृषि उत्पादन न केवल देश का पेट भरता है, बल्कि निर्यात के माध्यम से देश की अर्थव्यवस्था में भी महत्वपूर्ण योगदान देता है।
- संस्कृति का संरक्षण: गाँव अक्सर परंपराओं, संस्कृति और विरासत के भंडार होते हैं। वे सदियों पुराने रीति-रिवाजों, अनुष्ठानों और प्रथाओं को कायम रखते हैं जो किसी देश की पहचान के लिए अंतर्निहित हैं। ये अनूठी परंपराएँ किसी राष्ट्र की सांस्कृतिक विविधता को जोड़ती हैं और उसके इतिहास के एक जीवित संग्रहालय के रूप में काम करती हैं।
- रोज़गार के अवसर: गाँव रोज़गार का एक महत्वपूर्ण स्रोत हैं, विशेषकर कृषि क्षेत्र में। वे खेती, पशुपालन और विभिन्न अन्य संबंधित गतिविधियों में रोजगार प्रदान करते हैं। इसके अलावा, गांवों में लघु-स्तरीय कुटीर उद्योग कई निवासियों को आजीविका के अवसर प्रदान करते हैं, जिससे शहरी प्रवास कम होता है।
- पर्यावरण संतुलन: गाँव अक्सर प्रकृति से घनिष्ठ संबंध बनाए रखते हैं। ग्रामीण पर्यावरण जैव विविधता के लिए आवश्यक है, और कई गाँव जंगलों, नदियों और प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षक हैं। वे पारिस्थितिक संतुलन और स्थिरता बनाए रखने में योगदान देते हैं।
- शहरी क्षेत्रों के लिए आपूर्ति श्रृंखला: गाँव शहरी क्षेत्रों में कच्चे माल, खाद्य उत्पाद और श्रम की आपूर्ति करते हैं, जिससे शहरों के कामकाज में सहायता मिलती है। वे आवश्यक संसाधनों के स्रोत हैं जिन पर शहरी आबादी भरोसा करती है, जिससे शहरी जीवन का सुचारू संचालन सुनिश्चित होता है।
- शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाएँ: हालाँकि कुछ गाँवों में शिक्षा और स्वास्थ्य सेवा तक पहुँच सीमित हो सकती है, लेकिन उनमें धीरे-धीरे सुधार हो रहा है। ग्रामीण आबादी के लिए गाँव के स्कूल और स्वास्थ्य सेवा केंद्र आवश्यक हैं, जिससे शिक्षा और चिकित्सा सेवाएँ उन लोगों के लिए सुलभ हो जाती हैं जिन्हें अन्यथा उन तक पहुँचने के लिए लंबी दूरी तय करनी पड़ती।
- हस्तशिल्प को बढ़ावा: कई गाँव अपने अद्वितीय हस्तशिल्प और कुटीर उद्योगों के लिए जाने जाते हैं। वे पारंपरिक कला और शिल्प उत्पादों का उत्पादन करते हैं, सांस्कृतिक विविधता में योगदान करते हैं और कारीगरों के लिए आय का स्रोत प्रदान करते हैं।
- सामाजिक एकजुटता: गांवों में अक्सर समुदाय और सामाजिक जुड़ाव की मजबूत भावना होती है। गांवों में लोग एक-दूसरे को अच्छी तरह से जानते हैं, जिससे अपनेपन और आपसी सहयोग की भावना को बढ़ावा मिलता है।
मेरा गाँव सिर्फ एक भौगोलिक स्थान नहीं है; यह यादों, परंपराओं और समुदाय की मजबूत भावना से भरी जगह है। हमारे इस गांव के महत्व को कम करके नहीं आंका जा सकता। यह हमारी जड़ों, हमारे मूल्यों और जीवन के सरल लेकिन गहन तरीके की याद दिलाता है जिसे हममें से कई लोग प्रिय मानते हैं। जैसे-जैसे हम तेजी से बदलती दुनिया में आगे बढ़ रहे हैं, हमारे गांवों के महत्व को याद रखना और उनके विकास और संरक्षण की दिशा में काम करना महत्वपूर्ण है। केवल ऐसा करके ही हम यह सुनिश्चित कर सकते हैं कि ग्रामीण जीवन का आकर्षण, संस्कृति और सार आने वाली पीढ़ियों के लिए हमारे जीवन और हमारे राष्ट्र को समृद्ध बनाते रहें। मेरा गाँव हमेशा मेरे दिल में एक विशेष स्थान रखेगा, एक ऐसी जगह जहाँ अतीत वर्तमान से मिलता है, और जहाँ एकजुटता और लचीलेपन की भावना पनपती है।
My Village Essay In Hindi के ऊपर कोट्स यहां दिए गए हैं-
- गाँव वे हैं जहाँ आपको असली लोग, असली दोस्त, असली रिश्ते और असली सुंदरता मिलती है। – इटालो कैल्विनो
- गाँव में जीवन शांत हो सकता है, लेकिन नीरस नहीं है। यह सरल और समृद्ध दोनों हो सकता है। – ओरिकुची शिनोबू
- गांव में आप अभी भी धरती के सांस लेने की आवाज सुन सकते हैं। – विलियम डॉयल
- गांव खुली किताबों की तरह हैं; वे परंपराओं, संस्कृति और पीढ़ियों के ज्ञान की कहानियां सुनाते हैं। – अज्ञात
- किसी राष्ट्र का दिल उसके गांवों में होता है, जहां लोगों की आत्मा बसती है। – महात्मा गांधी
My village essay in Hindi के जीवन से जुड़े तथ्य यहां दिए गए हैं-
- बलिया, एक गाँव जो दूषित पानी के कारण आर्सेनिक विषाक्तता की समस्या का सामना कर रहा था, ने इस समस्या पर सफलतापूर्वक काबू पा लिया है, जिससे इसके निवासी आर्सेनिक विषाक्तता के हानिकारक प्रभावों से मुक्त हो गए हैं। भारतीय गांवों के बारे में ये सात उल्लेखनीय तथ्य हैं जो आपको आश्चर्यचकित कर सकते हैं।
- गुजरात के साबरकांठा जिले के एक छोटे से गांव पुंसारी ने व्यापक CCTV कवरेज सहित अपने उन्नत बुनियादी ढांचे के लिए ध्यान आकर्षित किया है। गांव में वाईफाई और वातानुकूलित कक्षाओं जैसी सुविधाएं हैं, जो इसे काफी उल्लेखनीय बनाती हैं।
- मेघालय का एक गांव मावलिनोंग अपने मातृसत्तात्मक समाज के लिए जाना जाता है। 2003 में, डिस्कवर इंडिया पत्रिका ने इसे “एशिया का सबसे स्वच्छ गांव” करार दिया। आगंतुकों का दावा है कि यहां एक भी सिगरेट का बट नहीं मिलेगा।
- बिहार का एक सुदूर गांव धरनई, लगभग तीन दशकों से बिजली की कमी के कारण रात में अंधेरे से पीड़ित था। हालाँकि, सौर ऊर्जा प्रणाली की बदौलत अब इसमें पर्याप्त रोशनी है।
- केरल का एक गाँव, पोथनिक्कड़, प्राथमिक से लेकर उच्च विद्यालय स्तर तक, निजी संस्थानों सहित अपने उत्कृष्ट स्कूलों की बदौलत 100 प्रतिशत साक्षरता दर का दावा करता है।
- महाराष्ट्र में स्थित हिवरे बाज़ार, पोपटराव पवार के प्रयासों की बदौलत एक संघर्षरत गाँव से एक समृद्ध गाँव में बदल गया। गाँव ने नशीले पदार्थों पर प्रतिबंध लगा दिया और पशुपालन और वर्षा जल संचयन जैसी गतिविधियों में निवेश को प्रोत्साहित किया।
- कर्नाटक का एक गांव कोकरेबेल्लूर अपने पक्षी-अनुकूल समुदाय के लिए प्रसिद्ध है। यहां के निवासी पक्षियों के साथ सौहार्दपूर्ण ढंग से रहते हैं, जो भारत के कई अन्य स्थानों से बिल्कुल अलग है, जहां पक्षियों को अक्सर फसल के कीटों के रूप में देखा जाता है।
My village essay in Hindi के लिए टिप्स निम्न हैं- 1. आकर्षक परिचय : एक आकर्षक परिचय के साथ शुरुआत करें। पाठक को आकर्षित करने के लिए किसी कहानी, तथ्य या संक्षिप्त विवरण का उपयोग करें। 2 . विवरण: अपने गाँव का स्पष्ट चित्र चित्रित करें। इसके स्थान, प्राकृतिक सौंदर्य का वर्णन करें और संवेदी विवरण का उपयोग करें। 3 . विशिष्टता को उजागर करें: चर्चा करें कि आपके गांव को क्या अद्वितीय बनाता है, जैसे परंपराएं, स्थलचिह्न, या जीवन शैली, और उनके महत्व को समझाएं। 4. व्यक्तिगत अनुभव: अपने निबंध को प्रासंगिक बनाने के लिए गाँव में अपनी व्यक्तिगत यादें और अनुभव साझा करें। 5 . समुदाय और संस्कृति: परंपराओं, त्योहारों और लोगों की गर्मजोशी सहित समुदाय और स्थानीय संस्कृति की भावना का अन्वेषण करें। बताएं कि इन पहलुओं ने गांव के बारे में आपकी धारणा को कैसे आकार दिया है।
गांवों में पाई जाने वाले मुख्य जीवित प्राणी जो की शहरों में आसानी से नहीं मिलते वे हैं: गाय, बकरी, भैंस, पक्षियों, इंसान, बिल्ली, तितली, कुत्ता, पौधे और पेड़ हैं।
गाँव में अधिकतर किसान रहते हैं और वार कृषि, पशुपालन, मछली पालन और मजदूरी करते है। हालांकि वर्तमान समय से गांव तेजी से डेवलप हो हैं और गांवों के लोग सिर्फ कृषि पर निर्भर ना होकर नए रोजगार के साधन अपना रहे हैं।
आशा है कि आपको इस ब्लाॅग में Essay on my village in Hindi के बारे में पूरी जानकारी मिल गई होगी। इसी तरह के अन्य ट्रेंडिंग इवेंट्स ब्लॉग्स पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बने रहें।
Team Leverage Edu
प्रातिक्रिया दे जवाब रद्द करें
अगली बार जब मैं टिप्पणी करूँ, तो इस ब्राउज़र में मेरा नाम, ईमेल और वेबसाइट सहेजें।
Contact no. *
Leaving already?
8 Universities with higher ROI than IITs and IIMs
Grab this one-time opportunity to download this ebook
Connect With Us
45,000+ students realised their study abroad dream with us. take the first step today..
Resend OTP in
Need help with?
Study abroad.
UK, Canada, US & More
IELTS, GRE, GMAT & More
Scholarship, Loans & Forex
Country Preference
New Zealand
Which English test are you planning to take?
Which academic test are you planning to take.
Not Sure yet
When are you planning to take the exam?
Already booked my exam slot
Within 2 Months
Want to learn about the test
Which Degree do you wish to pursue?
When do you want to start studying abroad.
September 2024
January 2025
What is your budget to study abroad?
How would you describe this article ?
Please rate this article
We would like to hear more.
मेरा गाँव पर निबंध
Essay on My Village in Hindi: भारत गांव से मिलकर बना है। गांव ही भारत की पहचान है। क्योंकि गांव से ही भारत की संस्कृति जुड़ी हुई है। आज भी जमाना इतना मॉडर्न होते जा रहा है लेकिन गांव के कारण ही आज संस्कृति बची हुई है।
आज भी देश की 70 प्रतिशत से ज्यादा आबादी गांव में रहती है। लोग अपनी व्यवसाय के लिए या उच्च शिक्षा पाने के लिए भले ही शहर पलायन करते हैं लेकिन आज भी गांव का जो कुदरती सुख है, वह शहरों में नहीं मिल पाता है।
शहर में हर सुख होने के बावजूद इंसान गांव में रहने वाले लोगों की तरह स्वस्थ नहीं रह पाते हैं। वह हर सुख सुविधा में रहने के बावजूद तनाव में अपना जीवन बिताते हैं। लेकिन गांव के लोग सीमित सुविधा में अपना जीवन खुशी के साथ बिताते हैं।
गांव का महत्व समझाने के लिए विद्यालयों में बच्चों को मेरा गांव पर निबंध हिंदी में (My Village Essay in Hindi) लिखने को दिया जाता है। इसलिए आज के इस लेख में हम मेरा गाँव निबंध हिंदी (mera gaon essay in hindi) लेकर आए हैं।
वर्तमान विषयों पर हिंदी में निबंध संग्रह तथा हिंदी के महत्वपूर्ण निबंध पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें।
मेरा गाँव पर निबंध (Essay on My Village in Hindi)
मेरा गांव पर निबंध 100 शब्दों में.
मेरे गांव का नाम भरतपुर है। यह शहर से तकरीबन 500 किलोमीटर दूर स्थित है। मेरा गांव बहुत ही सुंदर है, यह पेड़ पौधों से भरा हुआ है। यहां पर लोगों के घर भी काफी दूर-दूर है, जिसके कारण लोगों को ताजी हवा मिलते रहती है।
भांति-भांति के पेड़ पौधे होने के कारण यहां पर ज्यादा गर्मी भी नहीं लगती और लोग दोपहर के समय पेड़ों की छांव के नीचे बैठते हैं और गप सप करते हैं।
मेरे गांव के मुख्य केंद्र में भगवान शिव का मंदिर भी है। इस मंदिर का निर्माण हमारे गांव के पूर्वजों ने मिलकर किया था। सुबह और शाम के समय गांव की हर महिला मंदिर में पूजा करने के लिए आती हैं। घंटियो की आवाज से पूरे गांव में दिव्य वातावरण फैल जाता है।
हालांकि गांव के ज्यादातर नौजवान लोग व्यापार या उच्च शिक्षा के कारण शहर में ही रहते हैं। लेकिन वह भी छुट्टियों में और त्योहारों में अक्सर गांव आते हैं। हम भी छुट्टियों में अक्सर गांव जाते हैं और गांव की प्राकृतिक वातावरण का आनंद लेते हैं।
मेरा गांव पर निबंध 150 शब्दों में
मेरे गांव के बारे में मैं जितना बोलूं उतना कम है। आज मैं शहर में रहता हूं लेकिन मेरा बचपना गांव में बिता है। जब गांव में था तब सोचता था कि शहर की जिंदगी बहुत शानदार होती है।
लेकिन आज एहसास होता है कि गांव के जीवन के सामने शहर का जीवन तो कुछ नहीं। गांव का खुला और शुद्ध वातावरण शहर में मिलना मुश्किल है। गांव के हर व्यक्ति में अपनापन नजर आता है।
बात करें मेरे गांव की विशेषता की तो पहले तो मेरे गांव में ज्यादा कुछ सुविधा नहीं थी। लेकिन बढ़ते टेक्नोलॉजी और शहरीकरण ने गांवों को काफी ज्यादा प्रभावित किया है, जिसके कारण आज गांव में भी काफी सुविधाएं हो चुकी है।
पहले मेरे गांव में कच्ची सड़क हुआ करती थी लेकिन आज पक्की सड़क बन चुकी है। पहले हवा खाने के लिए बरगद के पेड़ के पास जाकर बैठा करते थे और दोस्तों के साथ खूब गपशप करते थे। आज तो पंखे ने यह जगह ले ली है।
बचपन में हम गांव में हर त्योहार को बहुत धूमधाम से मनाया करते थे। खास करके होली और दशहरा की तो बात ही अलग थी। त्योहारों में लगने वाले मेले का इंतजार सालों से करते थे।
मेला जाने के लिए हर कोई तैयार होता था और साथ में गांव की टोली मेले के लिए पैदल निकलती थी मानो पूरा परिवार एक साथ घूमने जा रहे हैं। मुझे मेरा गांव बहुत पसंद है। आज भी मुझे मेरे गांव में रहने का मन करता है लेकिन नौकरीवश मजबूरन शहर में रहना पड़ रहा है।
--> |
मेरा गांव पर निबंध 200 शब्दों में
गांव के लोगों के लिए नदी तालाब पशु पंछी ही उनका जीवन होता है। गांव की सीमा तक ही उनका जीवन सीमित रहता है। लेकिन इस सीमित जीवन में ही वह खुशी के साथ हर एक पल का आनंद लेते हैं।
हालांकि मेरे पिताजी व्यवसाय के कारण शहर में रहते हैं, जिसके कारण हमें भी शहर में रहना पड़ता है। लेकिन हमें शहर के तुलना में गांव की जिंदगी बहुत ही पसंद है। हम गर्मियों के छुट्टी में अक्सर गांव जाते हैं और हर एक पल का आनंद लेते हैं।
गांव में दोस्तों के साथ पेड़ों के नीचे खेलना झूला लगाकर झूलना, पेड़ों से आम तोड़ना, खेत खलिहान में दोस्तों के साथ सेर करना, गांव के कच्चे पगडंडियों पर दौड़ना यह सब बहुत मजेदार और यादगार होता है।
गांव में लोगों की दिनचर्या भी शहरों की तुलना में बेहतर होती है। यहां के लोग बहुत मेहनती होते हैं। सुबह से लेकर शाम तक मेहनत करते हैं। यहां पर सूरज उगने से पहले ही लोग उठ जाते हैं।
सुबह उठते ही लोग सबसे पहले पशु पंछियों को चारा और पानी देते हैं। फिर सुबह से लेकर दोपहर तक खेत में काम करते हैं। शाम के समय गांव के लोगों की टोली आपस में खूब ठिठौली बाजी करती है।
पहले गांव में ज्यादा सुख सुविधा नहीं हुआ करती थी लेकिन अब शहरों की तरह गांव में भी बिजली पानी की सुविधा हो चुकी है। यहां तक कि अब लोग ज्यादा शहर में भी पलायन नहीं करते हैं, गांव में ही खुद का व्यवसाय शुरू करके अपना जीवन यापन करने का प्रयास कर रहे हैं।
गांव में शहरों की तुलना में आमदनी कम है लेकिन यहां के लोग शहरों के तुलना में ज्यादा स्वस्थ रहते हैं। शहरों में ऊंची ऊंची बिल्डिंग होने के कारण लोगों को शुद्ध हवा नहीं मिल पाती।
पेड़ पौधे काटने के कारण प्रदूषण में उन्हें अपना जीवन बिताना पड़ता है और कई तरह की बीमारियों से ग्रसित होना पड़ता है। लेकिन गांव का वातावरण पूरी तरह शुध्द होता है।
यहां के लोग सात्विक भोजन खाते हैं, इसीलिए वह हमेशा स्वस्थ रहते हैं, बीमारियों से दूर रहते हैं। यहां तक कि गांव के लोगों का जीवन शहरों की तुलना में ज्यादा लंबा होता है।
- मेरा घर पर निबंध
- ग्राम पंचायत पर निबंध
मेरा गांव पर निबंध 250 शब्दों में
गाँव एक ऐसी जगह जहाँ हमें बड़े बुजुर्गो की याद दिलाती हैं। गाँवों में हरे भरे मैदान और सुन्दर खेत इत्यादि हमें गाँव की सुन्दरता बताते हैं। मेरे गाँव में काफी लोग रहते हैं।
मेरा गाँव शहर से करीब 40 किलोमीटर दूर हैं। जिले से 40 किलोमीटर दूर होने के साथ यह उपखंड से भी करीब 4 किलोमीटर हैं।
मेरे गाँव में हमें कई प्रकार की सुविधाए मिलती हैं जैसे पीठे पानी के लिए सुविधा, जिसे राजस्थानी भाषा में पिचका कहते हैं। यह हमारे गाँव के बीचो बीच आया हुआ हैं।
हमारे गाँव में करीब 25 हज़ार लोग रहते हैं, जो एकता की मिशाल हैं। हमारे गाँव में बना एक स्कूल भी हैं, जहां गाँव के बच्चे और बच्चियां पढ़ने जाती हैं।
मेरे गाँव में एक नाहर भी हैं, जहां गर्मियों के मौसम में अक्सर लोग सुबह स्नान करने जाते हैं और गाँव के बच्चे उस नहर में अपना काफी समय बिताते हैं। गाँव के बीचो बीच एक सुन्दर चबूतरा भी बना हुआ हैं। गाँव में लोग सुबह खेतों में जाते हैं और खेती करते हैं।
गाँव में लोग सुबह सुबह घूमना और बच्चे खेलना भी काफी पसंद करते हैं। सुबह खेलना गाँव को बच्चों की पहली पसंद होती हैं।
मेरे गाँव के बाहर एक छोटा सा बस स्टैंड भी हैं, जहां से दिन में कई बस और गाड़ियाँ आती जाती रहती हैं। गाँव में बने इस बस स्टैंड पर लोग आने जाने के लिए गाड़ी के लिए इन्तजार करते हैं।
मेरा गांव पर निबंध 500 शब्दों में
गांवों की जिंदगी बहुत अच्छी होती है। प्राचीन काल से भारत के लोग गांव से जुड़े हुए है। क्योंकि भारत की संस्कृति गांवो में ही देखने को मिलती है।
हालांकि आज रोजगार पाने के लिए लोग गांव से शहर की ओर स्थानांतरित हो रहे हैं लेकिन जो गांव में आनंद है, वह शहर में बिल्कुल भी नहीं। शहर में लोग ऐसी की हवा में जिंदगी बिताते हैं लेकिन गांव के लोग शुद्ध पेड़ों के हवा में अपना जीवन बिताते हैं।
शहर के लोगों को ठंडा पानी चाहिए होता है तो वे रेफ्रिजरेटर का इस्तेमाल करते हैं। लेकिन गांव में तो घड़ा ही रेफ्रिजरेटर का काम करता है। जिसका पानी रेफ्रिजरेटर की तुलना में कई गुना स्वादिष्ट और सेहत के लिए अच्छा होता है।
शहर में लोग मोटर के इस्तेमाल से टंकी में पानी भर लेते हैं और बिना मशक्कत किए नल से पानी आने लगता है। लेकिन गांव का जीवन का पहचान तो कुंवे से पानी खींचने में ही है।
शहर के लोग स्विमिंग पूल में नहाने का आनंद लेते हैं तो गांव के लोग भी उन से कम नहीं वह नदी और तालाब में नहाने का आनंद लेते हैं। इससे एक बात तो जरूर कह सकते हैं कि गांव और शहर में लोगों के शौक तो सामान है लेकिन उस शौक को पूरा करने के तरीके अलग-अलग है।
शहरों में लोग टेक्नोलॉजी पर ज्यादा निर्भर रहते हैं लेकिन गांव के लोग खुद के बाजुओं पर निर्भर रहता है। गांव के लोग मेहनत करने में विश्वास करते हैं, कड़ी धूप में खेतों में काम करते हैं और सूखी रोटी को ही स्वादिष्ट व्यंजन समझते हैं।
हालांकि आज गांव भी आधुनिकता को अपना रहा है। पहले मेरे गांव में बिजली नहीं थी। लेकिन आज सभी के घर पर बिजली है और वह भी 15 से 20 घंटे तक रहती है। मैंने अपना बचपन गांव में बिताया है, आज जब मैं शहर से गांव जाता हूं तो मेरे गांव के जीवन में काफी अंतर देखने को मिलता है।
पहले जहां गांव के लोग गर्मियों में बरगद के पेड़ के नीचे बैठा करते थे, एक दूसरे से गपशप किया करते थे, बच्चे बरगद के पेड़ की टहनियों पर लटक के झूला झूला करते थे।
वह पल बहुत आनंददायक होता था और आज भी मैं उस पल को याद करता हूं। लेकिन आज गांव में काफी कुछ बदल चुका है। शहर की आधुनिकता ने गांव को नजर लगा दिया है। आज गांव भी शहरीकरण को अपना रहा है।
आज हर व्यक्ति के घर में टेलीविजन है। लेकिन मुझे आज भी वही समय अच्छा लगता है जब किसी एक के घर पर टेलीविजन हुआ करता था और पूरे गांव के लोग एक जगह पर इकट्ठा होकर टेलीविजन देखा करते थे। उस समय का एक अलग ही आनंद था।
आज टेक्नोलॉजी बढ़ गई है तो इस बात की भी खुशी है कि चलो कई कार्य आसान हो गए लेकिन इस बात का भी दुख है कि इस टेक्नोलॉजी ने गांव के जीवन को काफी बदल दिया है।
फिर भी मुझे आज भी गांव का जीवन बहुत पसंद है। रोजगार के कारण शहर में रहना पड़ता है लेकिन आज भी मुझे गांव की याद आती है।
बरगद के पेड़ की टहनियों पर लटक के झूला झूलना, नदी तालाब में नहाना, तूफानी मौसम में आम के पेड़ के पास जाकर खड़े हो जाना और आम को बिछना, गांव के दोस्तों के साथ शेर सपाटा करना इत्यादि बचपन के पल बहुत ही याद आते हैं।
गांव में रहने वाले बच्चों का बचपना आनंद से भरा होता है। क्योंकि शहर के बच्चों पर तो बचपन से ही पढ़ाई का बोझ डाल दिया जाता है।
गांव के लोग भले ही ज्यादा पढ़े-लिखे ना हो लेकन जितना अपनापन गांवों के लोग दिखाते हैं, उतना शहर के लोग नहीं दिखाते। यही कारण है कि मुझे मेरा गांव का जीवन बहुत पसंद है।
मेरा गांव पर निबंध 800 शब्दों में
गाँव एक ऐसी जगह जिस का नाम सुनते ही हमें ऐसे क्षेत्र की याद दिलाता हैं, जहां पर चारों तरफ खुशहाली हो और गाँव के चारों ओर बागन हो। मेरे गाँव में भी ऐसा ही हैं। मेरे गाँव कुल आबादी तक़रीबन 25 हजार हैं।
मेरे गाँव मे रहने वाले लोग गाँव में एकता की मिशाल देते हैं। मेरे गाँव की खुशहाली के चर्चे दूर दूर तक होते हैं। मेरे गाँव में काफी कुछ जाने के लिए हैं, जो शान्ति के प्रतिक हैं।
गाँव में बना एक स्कूल
मेरे गाँव का नाम हेलियावास खुर्द हैं, जो पाली के मारवाड़ जंक्शन से करीब 5 किलोमीटर दूर है। मेरे गाँव में बने इस स्कूल में करीब 500 विद्यार्थी पढ़ते हैं। मेरे गाँव में बने इस विद्यालय में लड़के और लडकियां दोनों ही पढ़ते हैं।
मेरे विद्यालय में कक्षा 1 से कक्षा 8 तक की पढाई होती है। इस स्कूल में हिंदी माध्यम में पढाई होती हैं। यह विद्यालय मेरे गावं में बाहर करीब 400 मीटर की दूरी पर आया हुआ हैं।
मेरे गाँव में बना तालाब
मेरे गाँव के बीचों बीच में एक तालाब बना हुआ हैं। इस तालाब में बारिश के समय केवल पानी ही दिखाई देता हैं। इस तालाब में गाँव में लोग अपने पशुओ को पानी पिलाते हैं। गाँव में बने इस तालाब बाहर एक पानी का अवाला भी बना हुआ हैं।
इस अवाले पर लोग सुबह शाम कपड़ों की धुलाई भी करते हैं। इस तालाब के आसपास एक खुला मैंदान भी हैं। इस मैंदान पर बच्चे कई तरह के खेल खेलते हैं।
मेरे गाँव में बना एक बगीचा
मेरे गाँव के बाहर एक बगीचा भी बना हुआ हैं। गाँव के बाहर बने इस बगीचे में लोग सुबह के समय घुमने फिरने आते है। गाँव में बना यह बगीचा काफी बड़ा हैं और यह हमारे गाँव के क्षेत्रफल का लगभग एक चौथाई हैं।
हमारे गाँव में बने इस बगीचे में कई तरह के पेड़ पोधे भी देखने को मिल जाते हैं। यहाँ पर कई तरह के फल और फुल भी दिखाई देते हैं। गाँव में बने इस बगीचे में कई प्रकार की सुविधाए हैं जैसे बैठने के लिए सीमेंट की बनी कुर्सीया भी हैं।
बगीचे में पानी की भी उत्तम सुविधा हैं। बगीचे में उपलब्ध पानी की सुविधा के जरिये पेड़ पौधों को पिलाने के लिए काम में लिया जाता हैं। इस बगीचे में पानी पीने के लिए ही उपलब्ध हैं।
गाँव में बना खेल का मैदान
मेरे गाँव में तालाब के पास एक खेल का मैदान भी बना हुआ है। इस मैदान में लोग सुबह खेलने आते हैं। लड़के क्रिकेट तो लड़कियां कबड्डी और खो-खो खेलने में व्यस्त रहती हैं।
मेरे गाँव में बने इस खेल के मैदान में कई तरह के खेल खेलने के लिए मैदान बने हुए हैं। इस मैदान में क्रिकेट और फुटबॉल के लिए भी काफी बड़ा मैदान हैं।
इस मैदान में कबड्डी खेलने के लिए भी एक अलग से मैदान बना हुआ हैं। मैदान में पानी पीने की और बैठने की भी उत्तम सुविधा हैं। मेरे गाँव में बने इस मैदान में चारों और पक्की दिवार बनी हुई हैं, जिससे मैदान की सुरक्षा बनी रहती हैं।
मेरे गाँव का महत्त्व
मेरे गाँव का महत्त्व भी काफी ज्यादा हैं। मेरे गाँव में सुबह सही बुजुर्ग गाँव में बने एक चबूतरे पर बैठते हैं। जीवन के अनुभव से वे हमें वो बाते सीखते हैं, जो हमे किसी स्कूल और कॉलेज में सीखने को नहीं मिलती हैं।
गाँव में बने तालाब में जानवर अपनी प्यास बुझाते है और इसी पानी से आसपास के खेतों में सिचाई की जाती है। गाँव में बने स्कूल में बच्चों को जीवन का पहला सबक अनुशासन सीखाया जाता हैं।
गाँव में हम ग्रामीण जीवन के माहोल में जीते हैं, जो हमारे लिए काफी अच्छा होता हैं। गाँव का महत्त्व हमारे जीवन में काफी ज्यादा हैं। हमारे ग्रामीण क्षेत्रो में रहकर हम जमीन से जुड़े रहते है। गाँव में काफी कुछ सीखने को मिलता हैं।
मेरे गाँव का ग्रामीण परिवेश
मेरे गाँव के परिवेश के बारे में भी काफी अच्छी देखने को मिलता हैं। मेरे गाँव के लोग धोती और कुर्ता पहनना पसंद करते हैं।
गाँव की औरतें भी देशी परिवेश में रहना पसंद करती हैं। मेरे गाँव के आसपास के लोग साथ में खाना खाना पसंद करते हैं। संयुक्त परिवार मेरे गाँव की खासियत हैं।
मेरे गाँव का माहोल काफी स्वच्छ और सुन्दर हैं। मेरा गाँव एकता और साम्प्रदायिकता का प्रतिक हैं। गाँव में काफी कुछ सीखने को मिलता हैं। बुजुर्गों से मिलने वाली सीख हम कहीं और नहीं मिलती हैं।
अंतिम शब्द
हमने यहां पर मेरा गाँव पर निबंध (Essay on My Village in Hindi) शेयर किया है। उम्मीद करते हैं कि आपको यह निबंध पसंद आया होगा, इसे आगे शेयर जरूर करें। आपको यह निबन्ध कैसा लगा, हमें कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं।
दयालुता पर निबंध
परोपकार पर निबंध
मेरी अविस्मरणीय यात्रा पर निबंध
अतिथि देवो भव पर निबंध
Related Posts
Comment (1), leave a comment जवाब रद्द करें.
शहरी जीवन बनाम ग्रामीण जीवन पर निबंध (Urban Life vs Rural Life Essay in Hindi)
आजादी के कई दशक बाद भी भारत इतनी असमानताओं से भरा पड़ा है कि अक्सर यह कहा जाता है कि यहां दो देश हैं – एक भारत एवं एक इंडिया। यह देश के ग्रामीण एवं शहरी इलाकों की दो अलग-अलग वास्तविकताओं को दर्शाता है। लेकिन यह आवश्यक है कि ग्रामीण एवं शहरी दोनों ही क्षेत्रों के निवासी एक दूसरे के साथ सद्भाव पूर्वक रहें। राष्ट्रीय सर्वेक्षण संगठन के अनुसार वर्ष 2009-10 में देश के ग्रामीण इलाकों में औसत प्रति व्यक्ति मासिक खर्च 1054 रुपए था, जबकि शहरी क्षेत्रों में यह में 1984 रूपए था, जिसका मतलब है कि शहरी निवासियों का प्रति व्यक्ति खर्च गांवों में रहने वाले लोगों की तुलना में 88% प्रतिशत अधिक था।
शहरी जीवन बनाम ग्रामीण जीवन पर छोटे तथा बड़े निबंध (Long and Short Essay on Urban Life vs Rural Life in Hindi, Shahri Jivan banam Gramin Jivan par Nibandh Hindi mein)
शहरी जीवन बनाम ग्रामीण जीवन पर निबंध – 1 (250 – 300 शब्द).
ग्रामीण जीवन
भारत मुख्य रुप से एक कृषि आधारित देश है। किसान ग्रामीण अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं। वे अपने खेतों में अनाज और सब्जियां उगाने के लिए कड़ा परिश्रम करते हैं। वे फसलों की सिंचाई के लिए तालाबों और नहरों में पानी के संरक्षण करते हैं। किसानों का शहरों की भागदौड़ एवं हलचलों से दूर एवं प्रकृति के करीब होता है। वहां यदि भूमि और जाति के पूर्वाग्रहों एवं प्रचलित अंधविश्वासों पर होने वाले संघर्षों को अगर छोड़ दे तो हर जगह शांति और सौहार्द का माहौल होता है।
शहरी जीवन में व्यस्तता
दूसरी ओर, शहरों में लोग हमेशा वक्त की कमी से जूझते है, यहां हर कार्य काफी तेजी के साथ करना होता है जीवन में कोई उत्साह नही होता है। वहाँ हमेशा अच्छा प्रदर्शन करने का जबरदस्त तनाव बना रहता है और व्यस्त शहरी जीवन की वजह से स्वास्थ्य संबंधी अन्य परेशानियां भी हो जाती हैं। शहरी निवासियों को अपने मित्रों, पड़ोसियों, रिश्तेदारों, या यहां तक कि अपने परिवार के सदस्यों से मिलने के लिए भी काफी कम समय होता है।
जैसे-जैसे शहरों में रहने वाले लोगों की आवश्यकताएं एवं उनकी लागत बढ़ती जा रही हैं पैसे के पीछे भागने की प्रवृत्ति भी शहरों में लगातार बढ़ती जा रही है और यह उनके जीवन का एक अनिवार्य हिस्सा बन चुका है। धन जमा कर लेने के बावजूद शांति अभी भी शहरी निवासियों से कोसों दूर है।
गांवों में एवं शहर में रहने वाले लोगों के जीवन में सिर्फ इतना ही फर्क नहीं है। शहरी और ग्रामीण जीवन एक दूसरे के बिल्कुल विपरीत है और इन दोनों जीवनों में जमीन आसमान का फर्क है। एक तरफ जहां ग्रामीण जीवन में संयुक्त परिवार, मित्रो, रिश्तेदारों और साधारण जीवन को महत्व दिया जाता है। वही शहरी जीवन में लोग एकाकी तथा चकाचौंध भरा जीवन जीते है।
गांवों में भी जीवन की अपनी समस्याएं हैं। वहाँ अक्सर भूमि के मालिकाना हक एवं जाति से संबंधित झड़पें होती रहती हैं। कई गांवों में तो शिक्षा, रोजगार, स्वास्थ्य, परिवहन और बिजली जैसी बुनियादी सुविधाओं का भी अभाव है। हालांकि हम चाहे गांव में रहे या शहर में लेकिन हमें अपने जीवन में सही संतुलन और उद्देश्य को स्थापित करने की आवश्यकता है।
इसे यूट्यूब पर देखें : City vs Village
शहरी जीवन ग्रामीण जीवन पर निबंध – 2 (400 शब्द)
ग्रामीण जीवन शहरों की अपेक्षा काफी शांतिपूर्ण है और यहां लोग शहर के लोगों के तरह व्यस्त जीवन नहीं जीते है। वे सुबह जल्दी उठ जाते हैं और रात को भी समय पर सो जाते हैं। इसके साथ ही गांव की हवा भी काफी स्वच्छ होती है और वहीं दूसरी तरफ शहरों में काफी प्रदूषण और भीड़ होती है। ग्रामीणों का जीवन भी साधारण होता है वहीं शहरी जीवन व्यस्तता एवं भारी तनाव से भरा हुआ होता है।
गांवों और शहरों के पहलू
गांवों में ज्यादातर आधारभूत सुविधाओं जैसे बिजली, स्कूलों, नर्सिंग होम एवं कारखाने जहां लोगों को रोजगार मिलता है आदि की कमी होती है। गांवों में स्वयं के परिवहन के साधन की व्यवस्था की अनुपलब्धता की स्थिति में ग्रामीणों को कई मील तक पैदल चलने की गांवों में केवल मौसमी रोजगार उपलब्ध होते हैं एवं ज्यादातर लोगों को वहां लाभप्रद रोजगार उपलब्ध नहीं हैं। इन सभी कारकों की वजह से अच्छी शिक्षा, रोजगार और जीवन की सुख-सुविधाओं की तलाश में ग्रामीण लोग बड़े पैमाने पर शहरी क्षेत्रों की ओर पलायन कर रहे हैं।
शहरों में बी जीवन का अपना एक अलग नकारात्मक पहलू है – यह दबाव, तनाव और चिंता से भरा पड़ा है। यहाँ के लोगों के पास आराम और सुविधाओं की कई सामग्रियां होती हैं लेकिन उन्हें मानसिक शांति नसीब नहीं होती है। वे निजी और पेशेवर जीवन से संबंधित कार्यों में इतना व्यस्त होते हैं कि वे कभी-कभी वे भी अपने पड़ोसी तक को नहीं जानते।
आगे बढ़ने के लिए सुविधाओं और अवसरों की उपलब्धता ग्रामीण जीवन की अपेक्षा शहरी जीवन में अधिक होती है। लेकिन शहरों में प्रदूषण, शोर, पर्याप्त पानी की अनुपलब्धता है और साथ ही वहां ट्रैफिक जाम, भीड़भाड़ और अपराध भी एक गंभीर समस्या है। इसी तरह, हालांकि ग्रामीण क्षेत्रों में आधुनिक सुविधाओं की कमी है, लेकिन स्वच्छ हवा और शांति वहाँ रहने वाले लोगों के स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होते हैं।
भारतीय संस्कृति
गांव भारतीय संस्कृति और विरासत का दर्पण है। वहां भारत की सदियों पुरानी परंपराएं आज भी जीवित हैं। आप गांवों में आज भी धूप, हरियाली और शांति का आनंद प्राप्त कर सकते हैं और गांवों के लोग अपने अतिथियों का बहुत गर्मजोशी से स्वागत करते है तथा उनका व्यवहार भी काफी दोस्ताना होता है। वहीं दूसरी तरफ शहरी जीवन विभिन्न प्रकार की कठिन चुनौतियों से भरा होता है।
ज्यादातर, शहरों में रहने वाले लोगों के पास नवीनतम एवं अत्याधुनिक सुख- सुविधाओं के साधन उपलब्ध होते हैं लेकिन वे हमेशा किसी ना किसी कार्य में व्यस्त रहते हैं और अफसोस की बात है कि वे अपने पड़ोसियों, दोस्तों और रिश्तेदारों से मिलने के लिए समय नहीं निकाल पाते हैं। इस प्रकार, ग्रामीण एवं शहरी दोनों ही क्षेत्रों के जीवन की अपनी अलग-अलग विशेषताएं एवं कमियां हैं।
लगातार व्यस्त रहने की वजह से शहरी लोगों के स्वास्थ्य पर भी भारी प्रभाव पड़ता है और वे कम उम्र में ही जीवन शैली से संबंधित विभिन्न रोगों ग्रस्त हो जाते हैं। उनमें से कुछ को रात में नींद ना आना और मानसिक संतुलन बिगड़ने जैसे बीमारियों का सामना करना पड़ता है। इस तरह से ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में जीवन में जमीन आसमान का अंतर है लेकिन फिर भी ये दोनों ही भारत के विकास के अभिन्न अंग हैं।
ग्रामीण जीवन बनाम शहरी जीवन पर निबंध – 3 (500 शब्द)
भारत की आधा से अधिक आबादी गांवों में रहती है। गांधी जी ने कहा था कि ‘असली भारत गांवों में बसता है’। ग्रामीण सादगी और प्राकृतिक सौंदर्य भारतीय संस्कृति और विरासत की द्योतक हैं। यही कारण है कि आज के समय में भारत में ग्रामीण जीवन और संस्कृति काफी लोकप्रिय हो रही है। आज के समय में लोग अपनी छुट्टियां अधिकतर अपने गावों में बिताना पसंद करते है।
गांव में कृषि का महत्व
गांवों में ज्यादातर लोगों की जिंदगी कृषि पर निर्भर करती है। कुछ लोग पशुपालन और कृषि आधारित कुटीर उद्योगों द्वारा भी जीविकोपार्जन करते हैं। ज्यादातर ग्रामीण किसान होते हैं। वे काफी मेहनती नम्र एवं उदार होते हैं। किसान जब सुबह-सुबह उगते हुए सूरज के साथ अपने खेतों में हल चलाते हैं तो पक्षियों की चहचहाहट बैलों के चलने की आवाज के साथ जुड़कर कड़ी मेहनत का एक राग जैसा गुनगुनाता हुआ महसूस होता है। किसान अपने शहरी समकक्षों जो शहरों में भौतिकवाद की गलाकाट प्रतियोगिता की वजह से अपनी अच्छाई खो बेठते हैं कि तुलना में स्वभाव से निर्दोष प्रतीत होते हैं।
आर्थिक असमानता
भारत में शहरी जीवन व्यापक असमानता से भरा पड़ा है। वहाँ के निवासियों के पास आनंद के असीमित साधन है, लेकिन कुछ लोग तो इतने गरीब होते हैं कि वे मलिन बस्तियों में रहने को मजबूर होते हैं। आर्थिक असमानता, प्रदूषण और कचरे के ढेर शहरी अस्तित्व के अभिशाप हैं। लोगों को शहरों में पर्याप्त पानी की आपूर्ति की कमी का भी सामना करना पड़ता है। फिर भी लोग शहरों में रहते हैं, क्योंकि वहां उन्हें अच्छी शिक्षा, स्वास्थ्य, परिवहन, आराम एवं मनोरंजन के अनेक साधन उपलब्ध होते हैं। लाभप्रद रोजगार के अच्छे अवसर भी लोगों को गांवों की अपेक्षा शहरों में ज्यादा मिलते हैं।
शहरी जीवन वरदान या अभिशाप?
शहरी जीवन कई मायनों में एक वरदान है, लेकिन दूसरी ओर यह एक अभिशाप भी है। हर साल शहरों की आबादी कई गुना बढ़ रहा है। जिससे शहरों के बुनियादी ढांचे पर दबाव भी बढ़ रहा है और कई बार वहां लोग अंधाधुंध दौड़ में भागते हुए अमानवीय जीवन जीने को मजबूर हो जाते हैं।
भारत गांवों का देश कहलाता है। देश की आबादी का सड़सठ प्रतिशत अभी भी गांवों में रहती है। जो लोग गांवों में रहते हैं उनके लिए शहरी क्षेत्र का जीवन कठिनाइयों से भरा है। उन्हें शहरों में बड़े पैमाने पर वाहनों से होने वाला प्रदूषण, लगातार होता हुआ शोर, भीड़ और धुआं काफी असहज महसूस कराता है। लेकिन शहरों में रहने वाले लोगों को उनके जीवन की व्यस्तता और तेजी से प्यार है। उन्हें धन, शक्ति और अच्छी सामाजिक स्थिति प्राप्त करने के अपने सपनों का पीछा करना प्रिय है। प्रत्येक दिन जीवित रहने के लिए जीवन की भागदौड़ में उन्हें नई-नई समस्याओं और जटिलताओं से जूझना पड़ता है।
निश्चित रूप से गांवों और शहरों में रहने वाले लोगों की जीवन शैली में एक बड़ा अंतर है। दोनों ही जीवन शैलियों में एक दूसरे के अच्छे पहलुओं को शामिल करके संतुलन स्थापित किए जाने की आवश्यकता है। भारत की अधिकतर जनसंख्या गाँव में रहती है लेकिन समय के साथ-साथ लोग शहरों की तरफ आकर्षित हुए हैं और शहरों मैं जाकर रहना आरंभ किया है।
इस प्रकार, गांवों और शहरों का जीवन दो परस्पर विरोधी चित्रों को प्रस्तुत करता है। दोनों ही के अपने-अपने सकारात्मक एवं नकारात्मक पहलू हैं और यह व्यक्ति विशेष पर निर्भर करता है कि वह ग्रामीण या शहरी किसी भी जीवन के माहौल में रहते हुए नकारात्मक पहलुओं की परवाह किए बगैर उपलब्ध अवसरों का अधिक से अधिक लाभ कैसे उठाए।
Village Life vs City Life par nibandh (600 शब्द)
ग्रामीण और शहरी दोनों ही क्षेत्रों में जीवन के अपने-अपने सकारात्मक एवं नकारात्मक पहलू हैं। दोनों ही क्षेत्रों के जीवन एक दूसरे से काफी अलग है। परंपरागत तौर पर, भारत मुख्य रूप से एक ग्रामीण देश है जैसा कि महात्मा गांधी ने भी कहा था असली भारत गांवों में बसता है।
गाँवों में त्यौहार का महत्व
गांवों में त्योहारों एवं मेलों की भरमार होती है। यहां त्योहारों को परंपरागत तरीके से भाईचारे की भावना के साथ मनाया जाता है। होली, बैसाखी, पोंगल, ओणम, दशहरा, दीवाली या ईद कोई भी त्योहार हो लोक संगीत की धुनो पर पूरा गांव एक साथ नाचता है। गांव में सभी लोग बिरादरी के बंधन में बंधकर रहते हैं। वे जीवन की परिस्थितियों चाहे वो कोई दुःख हो या सुख आपस में एक दूसरे के साथ बांटते हैं। हालांकि, उनकी जीवन शैली शहरी लोगों की तुलना में ज्यादा विकसित नहीं होती है फिर भी ग्रामीण लोग गर्मजोशी से भरे हुए एवं अधिक सौहार्दपूर्ण होते हैं। वे एक दूसरे का ख्याल भी ज्यादा रखते हैं और पूरे गांव में सभी लोग एक दूसरे को पहचानते भी हैं। वे महानगरीय शहरों की तरह अलगाव की स्थिति में नहीं रहते हैं।
प्राकृतिक सुंदरता
भारत में गांवों की प्राकृतिक सुंदरता भी देखते ही बनती है। हरे भरे खेतों के चारों तरफ फूलों का आच्छादन और एवं दूर-दूर तक फैली हूई मादक खुशबू। गांव में खेतों, खलिहानों तथा घरों के चारों तरफ पक्षियों का खुशी से चहचहाना। सादगी ही ग्रामीण जीवन की पहचान है।
ग्रामीण क्षेत्रों से शहरी क्षेत्रों की ओर
दुर्भाग्य से, नौकरियों की खोज तथा आराम एवं सुख- सुविधाओं की सामग्रियों की चकाचौंध की वजह से लोग ग्रामीण क्षेत्रों से शहरी क्षेत्रों की तरफ बड़े पैमाने पर पलायन कर रहे हैं। हालांकि, अब देश में गांव भी जीवन स्तर के मामले में आगे बढ़ रहे हैं और शहरी करण तेज गति से हो रहा है। बिजली, पानी, कंक्रीट की सड़कों, टेलीफोन, मोबाइल फोन, कंप्यूटर, शिक्षा और चिकित्सा देखभाल की सुविधाएं अब ग्रामीण भारत के कई हिस्सों में सुलभता से पहुंच रही हैं। किसान भी अब आधुनिक कृषि यंत्रों का उपयोग कर रहे हैं, और अब वे बैलों के स्थान पर ट्रैक्टरों द्वारा खेतों को जोत रहे हैं।
ग्रामीण जीवन में परेशानियां
लेकिन ग्रामीण जीवन में परेशानियां भी बहुत हैं। वहाँ अकसर भूमि से संबंधित विवाद होते रहते हैं और कई बार एक ही गोत्र में प्रेम विवाह की वजह से भी रक्तपात एवं हिंसा की घटनाएं भी हो जाती हैं। कई बार ग्राम पंचायतें विभिन्न विवादों पर विचार-विमर्श करते हुए बहुत कठोर और निर्मम निर्णय सुना देते हैं। जिनसे लोगों का जीवन दुख और दर्द से भरी हुई एक कहानी बन के रह जाता है।
गांव के लोग अपनी शहरी बाजारों में अपने कृषि की उपज जैसे अनाज, फल और सब्जियों की बिक्री पर निर्भर रहते हैं और साथ ही शहरी लोग ग्रामीण क्षेत्रों से की जा रही जीवन के लिए आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति के बिना जीवित नहीं रह सकते हैं। गांवों से लोग रोजाना आधुनिक जीवन की नवीनतम सुख-सुविधाओं की आवश्यक वस्तुओं को खरीदने, फिल्म देखने, आनंद मनाने एवं शहरी प्रतिष्ठानों में नौकरी करने के लिए सफर करके शहर आते हैं। वास्तव में भारत का समग्र विकास गांवों और शहरों के सामंजस्यपूर्ण विकास के बिना असंभव है क्योंकि ये दोनों ही एक-दूसरे के पूरक हैं।
शहरों में जीवन का अपना एक अलग नकारात्मक पहलू है – यह दबाव, तनाव और चिंता से भरा पड़ा है। यहाँ के लोगों के पास आराम और सुविधाओं की कई सामग्रियां होती हैं लेकिन उन्हें मानसिक शांति नसीब नहीं होती है। वे निजी और पेशेवर जीवन से संबंधित कार्यों में इतना व्यस्त होते हैं कि उन्हें अपने पास-पड़ोस में होने वाले घटनाओं तक की खबर नही रहती है।
सम्बंधित जानकारी:
स्वस्थ जीवन शैली पर निबंध
सादा जीवन उच्च विचार पर निबंध
संबंधित पोस्ट
मेरी रुचि पर निबंध (My Hobby Essay in Hindi)
धन पर निबंध (Money Essay in Hindi)
समाचार पत्र पर निबंध (Newspaper Essay in Hindi)
मेरा स्कूल पर निबंध (My School Essay in Hindi)
शिक्षा का महत्व पर निबंध (Importance of Education Essay in Hindi)
बाघ पर निबंध (Tiger Essay in Hindi)
Leave a comment.
Your email address will not be published. Required fields are marked *
केंद्र एव राज्य की सरकारी योजनाओं की जानकारी in Hindi
Essay on mera gaon। मेरा गांव पर निबंध
हरसाल मैं गर्मी की छुट्टियों में अपने गांव जाता हु, छुट्टी पड़ने से पहले ही मैं गांव जाने की तैयारी शुरू कर देता हु क्योंकि मुझे गांव बहुत ही प्यारा लगता है। वहा जाने पर बहुत ही आराम और शांति मिलती है। मेरे गांव में बहुत सारे पेड़, फूल, और हमारे गांव से होते हुए गंगा नदी भी बहती है। शाम के समय में गंगा नदी के तट पर बहुत ही सुंदर हवा चलती है, जो मेरे मन को बहुत ही आनंदित करती है। मैं शहर जाने पर इसको बहुत याद करता हु। मेरा गांव | mera gaon एक ऐसी जगह है, जहा पर शुद्ध वातावरण और शांति पाई जाती है।
आज के इस आर्टिकल में हम आपको Mera gaon पर कुछ बाते बताएंगे जिसमें हम आपको गांव पर 10 लाइन और गांव का महत्व, गांव में होने वाली असुविधा सभी के बारे में बताएंगे। गांव के बारे में अच्छे से जानने के लिए पूरा अवश्य पढ़े।
10 lines about my village। 10 लाइन Mera gaon के बारे निबंध
- मेरा गांव( Mera gaon ) एक बहुत ही अच्छा गांव है और उसका नाम विजयपुर है।
- मेरा गांव उत्तर प्रदेश के कौशांबी जिले में स्थित है।
- मेरे गांव में बहुत ही शांति और शुद्ध वातावरण है।
- मेरे गांव में बिजली, पानी, सड़क, प्राथमिक विद्यालय, बगीचा की भी व्यस्था है।
- मेरे गांव का अधिकांश निवासी जागरूक और पढ़ा लिखा है।
- मेरे गांव में चारो तरफ बगीचे है, जिसके कारण हरियाली ही हरियाली दिखाई देती है।
- मेरे गांव के कुछ लोग खेती और खुद का धंधा करते है।
- मेरे गांव के प्रधान गांव के विकास पर बहुत ही ध्यान देते है, और कोई भी सरकारी सुविधा आने पर सबको जागरूक करते है।
- मेरे गांव में कुल 5 हजार लोग रहते है।
- मेरे गांव से शहर की दूरी बहुत ही कम है, जब भी हमें आवश्यकता होती है तो आसानी से हम शहर पहुंच जाते है।
Some tips about village development गांव के विकास की कुछ टिप्स
हमारे भारत देश की आत्मा गांव में निवास करती है, हमारे देश की संस्कृति भी झलकती है। अगर हमारे गांव का विकास होगा तो हमारा देश का भी समुचित विकास होगा। इसलिए हमें गांव के विकास पर ध्यान देना चाहिए।
- किसानों के लिए अच्छे प्रकार के बीज और खाद की व्यवस्था होनी चाहिए । साथ में मंडी की व्यवस्था होनी चाहिए ताकि उन्हें उनके अनाज उत्पादन पर उचित मूल्य मिल सके।
- यहां पर सड़कों और नालियों को बनाना चाहिए।
- परिवहन की अच्छी सुविधा उपलब्ध करानी चाहिए।
- युवाओं के लिए खेलकूद मैदान और खेलकूद का सामान उपलब्ध कराना चाहिए।
- स्वास्थ्य उपचार केंद्र बनाने चाहिए और वहां पर डॉक्टर व दवा की उपलब्धता करनी चाहिए।
Also Read : गाय पर निबंध। Essay On Cow In Hindi Gaay Par Nibandh In Hindi
Importance of gaav in our life। हमारे जीवन में गांव का महत्व
आजकल आदमी पूरा दिन अपने काम काज में व्यस्त रहता है, उसे दोस्तो संबंधियों के साथ बैठने का समय ही नहीं मिलता है। लेकिन ऐसा सिर्फ हमारे शहरों में होता है हमारे गांव( Mera gaon ) में तो आज भी लोग सबके साथ बैठके बाते करते है, घूमते है और अपना पूरा समय मस्ती से बिताते है। आज हम आपको गांव में रहने के फायदे बताएंगे।
- गांव की संस्कृति – शहर के लोगो की जीवन शैली दिन प्रतिदिन बदलती जा रही है, लेकिन हमारे गांव में आज भी पारंपरिक पोशाक पहने जाते है। पहले के जैसे ही शादी विवाह की रस्में, पूजा सब कुछ पहले से जैसे चला आ रहा है उसी तरीके से किया जाता है। हमारे गांव में आज भी हमारे देश की संस्कृति दिखाई देती है।
- गांव का वातावरण – आज के समय में जहा शहर पूरी तरह प्रदूषण से भरा है, वहा हमारे गांव में आज भी शुद्ध वातावरण पाया जाता है, गांव में ढेर सारे बगीचे होते है, जिसके वजह से गांव के लोगो को शुद्ध फल, शुद्ध वायु अनुकूलित वातावरण मिल पाता है।
- गांव की अर्थव्यवस्था – गांव में रहने वाले लोगों की आय का मुख्य आधार कृषि होता है। कृषि हमारी भारतीय अर्थव्यवस्था में भी एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। कुछ गांव तो हमारे शहर से सटे हुए होते हैं और कुछ गांव हमारे शहरों से बहुत दूर होते हैं। जो गांव शहरों से लगे हुए होते हैं वह फल, सब्जी , दूध, पोल्ट्री फार्म इत्यादि का उत्पादन करके शहरों में बेचकर उचित मूल्य पा जाते है। वही जो गांव दूर होते हैं उनके निवासी मौसमी फसलों का उत्पादन करके जैसे कि गेहूं, ज्वार, बाजरा का उत्पादन करते है।
Differences in village। गांव मे आए हुए अन्तर
पहले हमारे गांव में सिर्फ कच्चे मकान और झोपड़ियां दिखाई देती थी लेकिन आज बदलते समय के साथ गांव में भी पक्के घर बनाए जा रहे हैं, बड़े-बड़े मकान बनाए जा रहे हैं। कुछ लोग प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत सुंदर और अच्छे घर रहने के लिए पा गए हैं। गांव में ग्राम प्रधान समय-समय पर पेड़ पौधे लगवाते रहते हैं जिससे वहां पेड़ों की संख्या में हमेशा वृद्धि हो रही है। 2014 मैं प्रधानमंत्री मोदी जी के द्वारा चलाए गए स्वच्छ भारत अभियान के बाद गांव का नजारा और ही बदल गया। जहां पहले कूड़ा कचरा बिखरा होता था आज हर जगह कूड़ेदान की व्यवस्था कर दी गई है। गांव के निवासी ज्यादा पढ़े लिखे ना होने के बावजूद भी साफ-सफाई में अपना पूरा योगदान देते हैं।
Benefits of village life। गांव में रहने के फायदे
भारत का एक ऐसा क्षेत्र जहां लोग रहते हैं और उसके चारों तरफ कृषि होती है, उसे ही गांव कहते है। जो लोग गांव में रह चुके होते हैं या कभी वहां जाकर देख होते हैं तो उनके सामने गांव( Mera gaon ) का नाम लेने पर ही वह गांव का हरियाली दृश्य आने लगता है। आज हम आपको गांव में रहने वालों के फायदे के बारे में बताएंगे।
शुद्ध और पौष्टिक भोजन
गांव के अधिकांश लोग कृषि पर निर्भर होते हैं और वे कई प्रकार की फसलों का उत्पादन करते हैं जिसके कारण गांव में रहने वाले लोगों को शुद्ध अन्न मिल पाता है, और गांव में कई बगीचे होते हैं जिनसे उन्हें शुद्ध फल की भी प्राप्ति हो जाती है इन सभी कर्ण की वजह से हमारे गांव में शुद्ध और पौष्टिक भोजन मिलना आसान होता है। जो हमारे जीवन को उत्तम बनता है क्योंकि बिना अच्छे स्वास्थ्य के हम अपने जीवन में कुछ भी हासिल नहीं कर सकते हैं।
अनुकूलित वातावरण
गांव में ढेर सारे पेड़ पौधे होते हैं और समय-समय पर ग्राम प्रधान के द्वारा भी पेड़ पौधे लगाए जाते हैं जिसके कारण गांव में शुद्ध और शीतल हवा मिलती है जो हमारे मन को बहुत ही आनंदित करती है। गर्मियों के दिनों में गांव में रसीले फल भी आसानी से मिल जाते हैं और शाम को ठंडी-ठंडी हवाएं शरीर पर हुई पसीने को सूखने के साथ-साथ मन को बहुत ही आनंदित करती हैं। सभी को यह शुद्ध और अनुकूलित वातावरण बहुत ही पसंद आता है।
सदा जीवन और भाईचारा
गांव के लोग सादा जीवन जीना पसंद करते हैं वह पहले की चली आ रही परंपराओं को मानते हैं। गांव में रहने वाले बच्चे भी बहुत ही सीधे होते हैं और वह बचपन से ही अपने गांव के रहने वाले लोगों से सीखते हैं कि हमें आपस में भाईचारे के साथ रहना चाहिए एक दूसरे का काम में हाथ बटाना चाहिए। गांव में जिसके पास खेत नहीं होते हैं वह जमींदारों के खेत में काम करके अपना जीवन व्यतीत करते हैं। किसी के भी घर पर दुख या सुख आने की स्थिति में गांव के सभी लोग उनका साथ देते हैं खुशी में जश्न मनाते हैं और वही दुख में उन्हें आर्थिक और मानसिक सहयोग देते है।
Problem of village life।गांव में रहने के नुकसान
आज हमारा देश भारत विकास कर रहा है, दिन प्रतिदिन नई-नई टेक्नोलॉजी विकसित हो रही है। नई नई यूनिवर्सिटी बनाई जा रही है। लेकिन अफसोस आज भी हमारे गांव में कुछ कमियां है। आज हम उन कमियों पर चर्चा करेंगे।
- सही विकास न हो पाना
समय बदल जाने के बाद भी आज भी हमारे गांव में अच्छी अस्पताल, सुख सुविधा नहीं होती है, जिसके लिए आदमी दिन प्रतिदिन शहर की तरफ भाग रहे हैं। गांव में किसी को बड़ी बीमारी हो जाने पर समय पर इलाज नहीं हो पा रहा है, उनकी मृत्यु हो जा रही है। कुछ जगहों पर सड़कों और नालियों का विकास नहीं हो पाया है। जिसके कारण जल जमाव और बीमारियो का जन्म होता है। यह गांव की बहुत बड़ी कमी है।
- उच्च शिक्षा न मिल पाना
गांव में प्राथमिक विद्यालय, इंटर कॉलेज तो होते हैं लेकिन जब बात आती है उच्च शिक्षा की तो हमारा गांव आज भी उसमें बहुत पीछे है, हमारे गांव में कोई भी उच्च संस्थान नहीं होते उसके लिए बच्चों को शहर की ओर भागना पड़ता है। आज के समय में उच्च शिक्षा आदमी की पहली आवश्यकताहै।
- परिवहन की सुविधा न होना
भारत का इतना विकास होने के बावजूद भी आज भी हमारे कुछ गांव में सड़के नहीं है, जहां जाने के लिए परिवहन का कोई भी साधन मौजूद नहीं है। गांव में एक जगह से दूसरे जगह जाने के लिए कोई भी बहुत ही काम साधन उपलब्ध होते हैं जो कि समय-समय पर मिलते हैं ऐसे में जाने के लिए या तो आपका खुद का साधन होना चाहिए या आपको उसे समय का इंतजार करना पड़ेगा।
उम्मीद है कि आपके मन में उठे गांव से जुड़े सभी प्रश्नों का जवाब मिल गया होगा अगर यह जानकारी आपको अच्छी लगी हो तो अपने दोस्तों को भी शेयर करें।
इस ब्लॉग पोस्ट पर आपका कीमती समय देने के लिए धन्यवाद। इसी प्रकार के बेहतरीन सूचनाप्रद एवं ज्ञानवर्धक लेख easyhindi.in पर पढ़ते रहने के लिए इस वेबसाइट को बुकमार्क कर सकते हैं
Leave a reply cancel reply.
Your email address will not be published. Required fields are marked *
Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.
Related News
Essay On Cancer In Hindi | कैंसर पर निबंध
ईद पर निबंध । Essay on Eid in Hindi
विज्ञान वरदान या अभिशाप पर निबंध । Essay Science Gift Or Curse In Hindi
विद्यार्थी जीवन पर निबंध।Essay on Student life
HiHindi.Com
HiHindi Evolution of media
भारत के गाँव पर निबंध | Essay On Indian Village In Hindi
भारत के गाँव पर निबंध Essay On Indian Village In Hindi : दोस्तों आज हम भारतीय ग्रामीण जीवन (Indian rural life) पर निबंध यहाँ बता रहे हैं.
स्कूल में गाँव पर अनुच्छेद भाषण निबंध लिखने को कहा जाए तो कक्षा 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 9, 10 के बच्चें इस निबंध का उपयोग कर सकते हैं.
भारत के गाँव पर निबंध Essay On Indian Village In Hindi
नमस्कार फ्रेड्स आपका स्वागत हैं स्कूल स्टूडेंट्स के लिए भारतीय गाँव (Indian Village) पर आसान भाषा में 3 निबंध विभिन्न शब्द सीमा में दिए गये हैं.
भारत के गाँव पर निबंध – 1
गांधी जी कहते हैं अगर आपको भारत का असली दर्शन करना है तो आपको गांव जरूर जाना चाहिए! क्योंकि हमारे देश की आत्मा गांव में ही बसी हुई है।
हमारे देश के अधिकतर जनसंख्या आज भी गांव में ही निवास करती है। भारत के गांव भारत के शहरों के मुकाबले छोटे तो जरूर है लेकिन जिंदगी का असली मजा वहीं आता है। क्योंकि प्रकृति का जो सौंदर्य हमें गांव में देखने को मिलता है वह और कहीं नहीं है।
प्रकृति से गिरे हुए गांव में हरे भरे खेत खलियान, निर्मल जल लेकर बहती हुई नदियां, तालाब, कुएं, हमेशा कामकाजी और मेहनती औरतों की मुस्कान, गाय के पीछे भागते दौड़ते बच्चों की खिलखिलाहट, बूढ़े लोगों के होठों पर मुस्कान, खट्टे आम की मिठास देखने को मिलती है।
भारत के गांव में स्वर्ग देखने को मिलता है जहां बूढ़े किसान दिनभर खेतों में काम करके शाम को अपने घर लौटते हैं तो उनके आंखों में जो गर्व और सुकून देखने को मिलता है वो कहीं और नहीं मिलता। गांव के घर घर में कुटीर उद्योग का चलन देखने को मिलता है।
गांव की औरतें अपने हाथों से अलग-अलग तरह के सामान तैयार करती हैं। कुछ औरतें सिलाई बुनाई के काम में माहिर होती है तो कुछ मिट्टी के सामान बनाने में! गांव में एक से बढ़कर एक हुनर देखने को मिलता है।
बच्चा हो या फिर बूढ़ा गांव में हर कोई हुनर की खान होता है क्योंकि सुख सुविधाओं के अभाव में वहां लोगों को अपने अधिकतर काम खुद ही करने पड़ते हैं।
भारत के गाँव पर निबंध – 2
प्रस्तावना
भारत देश को गांव का देश कहा जाता है क्योंकि इस देश में एक तिहाई जनसंख्या गांव में निवास करती है। हमारे देश की अर्थव्यवस्था में भारत के गांवों का बहुत बड़ा योगदान है।
भारत एक कृषि प्रधान देश है और भारत के गांव में आज भी लोगों की जीविका का मुख्य स्त्रोत कृषि ही है।
गांव का विकास & स्थिति
अब गांव की छवि बदल चुकी है अब हमारा गांव पहले वाला गांव नहीं रहा। शहरों के तरह अब गांव में भी पक्की सड़कें देखने को मिलती हैं सड़कों के दोनों तरफ चमचमाती लाइटें, दुकाने देखे को मिलती है।
लेकिन हमारा गांव हमेशा से ऐसा नहीं था यह धीरे-धीरे विकसित हो रहा है। गांव के विकास में सरकार अपना महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं।
वर्तमान समय में गांव का आर्थिक ढांचा पूरी तरह से बदल गया है, अब लोग जब गांव से शहर आते हैं तो यह कहते हैं कि भाई, अब गांव वह गांव नहीं रहा!
मतलब अब गांव में भी बिजली, चिकित्सा, से लेकर पक्की रोड की भी सुविधा है। गांव के ढांचे को कायापलट करने में सरकार का विशेष हाथ है जो लगातार नई योजना लाकर देश को विकसित कर रही है।
आजादी के पहले और आजादी के बाद गांव की स्थिति
गांव में लोगों की कमाई का इकलौता जरिया कृषि होती है। लेकिन आजादी से पहले उसी जमीन पर अंग्रेजो का कब्जा था! अंग्रेज हमारी जमीन पर नील की खेती करते थे।
नील की खेती करने से किसानों को कोई लाभ नहीं मिलता था और उन्हें बहुत ज्यादा नुकसान भी सहना पड़ता था। इतना ही नहीं दिन-रात खेतों में काम करने के बाद भी अंग्रेज कभी भी लगान वसूल करना नहीं भूलते थे। जिसके कारण दिन प्रतिदिन किसानों की हालत और भारत के गांव की हालत खराब होती जा रही थी।
लेकिन जब हमारा देश आजाद हो गया तब कृषि व्यवस्था की जिम्मेदारी जमींदारों के पास चली गई। अब जमींदारों का जमीन पर कब्जा हो गया और किसान अब भी वैसे ही काम कर रहे थे।
जमींदार किसानों को बहुत ज्यादा ब्याज पर रकम उधार देते थे। फसल अच्छी हो या ना हो जमींदार को अपना ब्याज वसूलना होता था।
जिससे परेशान होकर देश के किसान अपना घर बार छोड़कर शहरों की ओर पलायन करना बेहतर समझते थे। परंतु वर्तमान में सरकारें विभिन्न योजनाओं का संचालन कर किसानों की स्थिति को बेहतर करने का कार्य कर रही है।
भारत के गाँव पर निबंध – 3
हमारा देश गाँवों के देश के रूप में जाना जाता हैं. देश की 70 फीसदी आबादी गाँवों में बस्ती हैं इसी कारण गाँवों को भारत का ह्रदय कहा गया हैं.
अगर आप भारत के स्वरूप को देखना चाहते व इसकी आत्मा को समझना चाहते हैं तो गाँवों की ओर जाना ही होगा.
वर्ष 2011 की जनगणना के मुताबिक़ भारत में तकरीबन 7 लाख छोटे बड़े गाँव हैं. जिनकी आबादी 3 से 7 हजार प्रति गाँव औसतन हैं. गाँवों का मुख्य रोजगार के साधन कृषि, पशुपालन और छोटे बड़े उद्योग धंधे होते हैं.
भागदौड़ की जिन्दगी से बहुत दूर शांत माहौल में भोले भाले चरित्र वाले लोग जिनके देशीपन मानवता की कद्र केवल अब गाँवों में ही बसकर रह गयी हैं.
हरे भरे खेत, फलों के बगीचे और सुंदर प्राकृतिक दृश्य भारतीय गाँवों की विशेषताएं हैं. कही पहाड़ो की गोदी में अथवा नदियों के किनारे बसे गाँवों का मनोरम नजारा दिल को सुकून देने वाला होता हैं.
भारत की संस्कृति, त्यौहार एवं मान्यताओं को गाँवों में आज भी बड़ा महत्व दिया जाता है. हमारे परम्परागत त्योहारों का मूल स्वरूप केवल गाँवों में ही देखा जा सकता हैं.
तेजी से हो रहे नगरीकरण और औद्योगिकीकरण ने गाँव की संस्कृति पर भी प्रभाव छोड़ा हैं किन्तु फिर भी शहरों की तुलना में गाँवों ने अपनेपन को बचाए रखने में कामयाबी पाई हैं. यही वजह है कि कहते है भारत को देखना हैं तो गाँवों की तरफ जाओं.
इसमें कोई दो राय नहीं हैं कि नगरीय जीवन की बजाय ग्रामीण जीवन हर पहलु से उच्च हैं. मगर इसका दूसरा पक्ष यह भी हैं कि आजादी के 75 सालों के बाद भी हमारे गाँव में बसने में किसान, कर्मकार मूलभूत भौतिक सुविधाओं से वचित रहे हैं.
गाँवों में शिक्षा, चिकित्सा, बिजली, शिक्षा के क्षेत्र की तरफ जो ध्यान दिया जाना चाहिए था वह नहीं दिया गया. जिसका परिणाम यह हुआ कि आज आजीविका, शिक्षा स्वास्थ्य और उच्च जीवन स्तर की सुविधाओं के लिए करोड़ो लोग शहरों की ओर पलायन कर जाते हैं.
गाँवों की समस्याओं को समाप्त करने की दिशा में सरकारे गम्भीरता से नहीं सोच रही हैं. हालांकि 2022 तक सभी गाँवों को बिजली से जोड़ने की योजना से ग्रामीण क्षेत्र में लोग कृषि व अन्य कार्य आसानी से कर पाएगे.
वही शिक्षा, स्वास्थ्य रोजगार के लिए गाँवों में प्रबंध की निहायत कमी हैं. अशिक्षा, रूढ़िवादिता, अनियंत्रित जनसंख्या, बेरोजगारी आदि से निपटने के लिए केंद्र व राज्य सरकारों को गाँवों के विकास के लिए पहल करनी चाहिए.
भारत की अर्थव्यवस्था पूर्ण रूप से गाँवों पर टिकी हैं. कृषि प्रधान भारत देश की 60 प्रतिशत जनसंख्या गाँवों में बसती हैं उनका मुख्य कार्य कृषि और पशुपालन ही हैं. अतः आधे भारत की अनदेखी करके भारत प्रगति के पथ पर आगे नहीं बढ़ सकता हैं.
समय समय पर केंद्र सरकार की ओर से गाँवों के चहुमुखी विकास के लिए कदम उठाएं गये हैं जिनमें ग्रामीण विकास मंत्रालय की स्थापना करना एक अहम निर्णय था.
बेरोजगारी व गरीबी निवारण, जवाहर ग्राम सम्रद्धि, प्रधानमंत्री ग्रामोदय योजना, मनरेगा, प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना, अटल आवास योजना, स्वच्छता कार्यक्रम, राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन, जननी सुरक्षा योजना, विद्युत् कनेक्शन योजना आदि सरकारी योजनाओं से गाँवों के स्तर को सुधारने में बड़ा लाभ हुआ हैं.
भारत के गाँवों की दशा सुधारने में किसान का अहम योगदान हैं. मगर विगत एक दशक से शहरीकरण में हुई वृद्धि ने गाँवों के विकास की यात्रा को बाधित करने का कार्य किया हैं.
रोजगार गाँवों की सबसे बड़ी समस्या हैं जिसके चलते नवयुवक काम की तलाश में शहरों की ओर आते हैं. युवाओं के पलायन को रोकने तथा गाँवों की स्थिति में सुधार के लिए स्थानीय स्तर पर छोटे एवं लघु उद्योगों को स्थापित किये जाने की आवश्यकता हैं.
गाँवों के विकास के लिए गांधीजी के विचारों को अपनाने की आवश्यकता हैं. उन्होंने कहा था भारत की आत्मा गाँव में बसती हैं. गाँवों की समस्याओं को हल कर उन्हें खुशहाल करने की महत्ती आवश्यकता हैं.
मनुष्यता व भारतीय संस्कृति के संरक्षण के लिए गाँव में अधिक से अधिक आधुनिक सुख सुविधाएँ एवं उद्योगों की स्थापना करके भारत को विकास के पथ पर तेजी से बढाया जा सकता हैं.
Leave a Reply Cancel reply
Your email address will not be published. Required fields are marked *
गांव का जीवन पर निबंध
By विकास सिंह
गाँव का जीवन शांत और शुद्ध माना जाता है क्योंकि गाँवों में लोग प्रकृति के अधिक निकट होते हैं। हालांकि, इसकी चुनौतियां भी हैं। गाँव के इलाकों में रहने वाले लोग शांतिपूर्ण जीवन जीते हैं लेकिन वे कई आधुनिक सुविधाओं से रहित होते हैं जो जीवन को आरामदायक बनाते हैं।
गांव का जीवन पर निबंध, short essay on village life in hindi (200 शब्द)
गांवों में रहने वाले लोग ज्यादातर कृषि गतिविधियों में शामिल होते हैं और भीड़भाड़ वाले शहर के जीवन की हलचल से दूर रहते हैं। वे एक साधारण जीवन जीते हैं। एक ग्रामीण के जीवन में एक दिन की शुरुआत सुबह से होती है।
लोग आमतौर पर सुबह 5 बजे उठते हैं और अपने दैनिक कामों की शुरुआत करते हैं। चूंकि गांवों में ज्यादातर लोग अपनी छत पर सोते हैं, इसलिए सुबह के उजाले के दौरान वे जाग जाते हैं। यहां तक कि वे मुर्गे की बाँग से जाग सकते हैं।
अधिकांश गांवों में पुरुष सदस्य काम करने के लिए बाहर जाते हैं जबकि महिलाएं घर पर बैठती हैं और घर के कामों को पूरा करती हैं जैसे कि सफाई और खाना बनाना। बच्चे तैयार होते हैं और पास में स्थित स्कूलों में जाते हैं।
पुरुष सदस्य ज्यादातर खेती और अन्य कृषि गतिविधियों में शामिल होते हैं। उनके पास या तो अपने खेत हैं या उन्हें किराए पर लेने वाले जमींदारों के लिए काम करते हैं। घर से काम पर जाने के लिए साइकिल सबसे आम साधन है। यही वजह है कि शहरों की तुलना में गांवों में प्रदूषण का स्तर बहुत कम है।
किसान खेतों में मेहनत करते हैं। उनमें से बहुत से लोग दोपहर के भोजन के लिए घर जाते हैं और अन्य लोग अपना दोपहर का भोजन एक पेड़ की छाया में करते हैं। गांव में जीवन धीमा लेकिन शांतिपूर्ण होता है।
गांव का जीवन पर लेख, article on village life in hindi (300 शब्द)
प्रस्तावना.
गाँवों को उनके खूबसूरत प्राकृतिक परिवेश के लिए जाना जाता है। चारों ओर प्रतिस्पर्धा का इतना अधिक होने पर भी वे आज भी अप्रभावित रहते हैं।
गांवों में लोग एक साधारण जीवन जीते हैं और जो कुछ भी उनके पास होता है उसमें संतुष्ट रहते हैं। हालाँकि, गाँव के जीवन के कई फायदे हैं, लेकिन इसके नुकसान भी हैं।
गाँव के जीवन के फायदे
- शांत वातावरण : गाँव एक शांतिपूर्ण वातावरण प्रदान करते हैं। शहरों के विपरीत, गांवों में लोग शीर्ष तक पहुंचने के लिए दौड़ में भाग नहीं लेते हैं। वे अपने आप में संतुष्ट हैं और एक शांतिपूर्ण जीवन जीते हैं।
- कम प्रदुषण : गांवों में लोग बाजार, स्कूलों और अन्य स्थानों पर पैदल जाना पसंद करते हैं या साइकिल से आवागमन करते हैं। गांवों में शायद ही कोई कार या मोटरसाइकिल हो। इसके अलावा, गांवों में कोई औद्योगिक प्रदूषण नहीं है क्योंकि खेती वहां का मुख्य व्यवसाय है। यही कारण है कि ये कम प्रदूषित हैं।
- सामाजिकता : गांवों में लोग बहुत सामाजिक हैं। वे एक दूसरे का सम्मान करते हैं। वे अक्सर एक दूसरे से मिलते हैं और सभी अवसरों को एक साथ मनाते हैं। यह बच्चों के विकास और विकास के साथ-साथ शहरों में अक्सर अलग-थलग पड़े बुजुर्ग के लिए एक अच्छा विकल्प है।
गाँव में जीवन के नुक्सान
- सुविधाओं का अभाव: गांवों का बुनियादी ढांचा काफी खराब है। कई गांवों में बुनियादी सुविधाओं जैसे कि बिजली, सफाई की सुविधा, चिकित्सा सुविधाओं और परिवहन के साधनों का भी अभाव है।
- शिक्षा की कमी: कई गाँवों में कोई भी विद्यालय नहीं है या केवल प्राथमिक विद्यालय शामिल हैं। लोग अपने बच्चों को शिक्षा लेने के लिए कस्बों और शहरों में भेजने में संकोच करते हैं और इसलिए गांवों में ज्यादातर लोग अशिक्षित रहते हैं।
- लिंग असमानता: गांवों में लैंगिक असमानता बहुत है। महिलाएं ज्यादातर घर के कामों तक ही सीमित रहती हैं और उन्हें किसी भी मामले पर अपनी राय व्यक्त करने की अनुमति नहीं होती है।
निष्कर्ष :
इस प्रकार, ग्राम जीवन के पक्ष और विपक्ष दोनों हैं। गांवों को विकसित करने के लिए सरकार को पहल करनी चाहिए ताकि वहां का जीवन और अधिक आरामदायक बन सके।
गांव का जीवन पर निबंध, essay on village life in hindi (400 शब्द)
प्रस्तावना :.
गाँव का जीवन शांत और शांतिपूर्ण है जबकि शहर का जीवन तेजी से खराब हो रहा है। गांव के जीवन और शहर के जीवन के बीच कई अन्य अंतर हैं। ग्राम जीवन और शहर जीवन दोनों से जुड़े हुए पक्ष और विपक्ष हैं।
गाँव का जीवन :
ग्राम जीवन काफी धीमा लेकिन शांत है। ग्रामीणों का जीवन सरल होता है। वे एक-दूसरे के साथ सद्भाव में रहते हैं। वे रिश्तों को महत्व देते हैं और उसी को बनाए रखने के प्रयास करते हैं। वे अपने पड़ोस में रहने वाले लोगों के बारे में अच्छी तरह से जानते हैं और उनकी ज़रूरत के समय में उनके द्वारा खड़े होते हैं।
ग्रामीण भी अपने रीति-रिवाजों और परंपराओं को विशेष महत्व देते हैं और धार्मिक रूप से उनका पालन करते हैं। गाँवों में त्योहार सामूहिक रूप से मनाए जाते हैं और इस तरह उस दौरान खुशी और खुशी दोगुनी हो जाती है।
गांवों में लोग ज्यादातर कृषि गतिविधियों में शामिल होते हैं। उनमें से कुछ कारीगर हैं और विभिन्न प्रकार की सुंदर हस्तकला वस्तुओं को तैयार करने में शामिल हैं।
ग्रामीणों को आधुनिक तकनीक और उपकरणों से लैस नहीं किया जा सकता है, लेकिन उनके पास जीवन का आनंद लेने के अपने तरीके हैं।
दुनिया भर के कई गाँव मूलभूत सुविधाओं जैसे बिजली, स्वच्छता सुविधाओं, अस्पतालों, स्कूलों आदि से रहित हैं, इन सुविधाओं की कमी के कारण ग्रामीणों को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। अधिकांश ग्रामीण शिक्षा को अधिक महत्व नहीं देते हैं। वे बुनियादी शिक्षा के साथ संतुष्ट हैं जो वे गांव के स्कूलों में प्राप्त करते हैं।
शहर का जीवन :
शहर का जीवन काफी तेज और प्रतिस्पर्धी है। शहरों में रहने वाले लोगों को सभी आधुनिक सुविधाएं मिलती हैं जो आरामदायक जीवन जीने के लिए आवश्यक हैं। हालांकि, उन्हें अच्छी जिंदगी जीने के लिए कड़ी मेहनत करने की जरूरत है।
शहरों में लोग विभिन्न प्रकार की नौकरियों में शामिल हैं। विभिन्न शैक्षिक योग्यता और कौशल वाले लोगों के लिए विभिन्न प्रकार के व्यवसाय और नौकरियां उपलब्ध हैं। गांवों की तुलना में शहरों में काम के अवसर कहीं अधिक हैं।
शहरों का बुनियादी ढांचा अच्छा है। शहर अच्छे स्कूलों, कॉलेजों और चिकित्सा सुविधाओं को शामिल करते हैं। शहरों में रहने वाले लोग शिक्षा को बहुत महत्व देते हैं और यह सुनिश्चित करते हैं कि उनके बच्चे उच्च शिक्षा प्राप्त करें।
हालाँकि, शहर के लोग गाँवों में रहने वाले लोगों की तरह सौहार्दपूर्ण नहीं हैं। यहां के लोग अपने जीवन से इतने व्यस्त हैं कि वे अपने आसपास के लोगों के बारे में ज्यादा मायने नहीं रखते हैं। यही कारण है कि यहां रहने वाले कई लोग उच्च जीवन जीने का आनंद लेते हैं, लेकिन संतोषजनक जीवन नहीं जीते हैं। शहरों में लोगों का तनाव स्तर अधिक है।
जबकि शहर के जीवन की तुलना में गाँव का जीवन तनाव-मुक्त माना जाता है, लेकिन इसके नुकसान भी हैं। कई ग्रामीण इन दिनों बेहतर नौकरियों की तलाश और अपने जीवन स्तर को बढ़ाने के लिए शहरों में जा रहे हैं।
गांव का जीवन पर निबंध, 500 शब्द
भारतीय गांव सुंदर और निर्मल हैं। अधिकांश भारतीय आबादी गांवों में रहती है। शहरों की पागल भीड़ से दूर हरियाली के बीच ग्रामीण एक शांतिपूर्ण जीवन जीते हैं। ग्रामीणों की जरूरतें कम हैं, इसलिए उनके पास जो कुछ भी है उससे वे संतुष्ट हैं। हालांकि भारत में ग्रामीण प्रदूषण मुक्त वातावरण का आनंद लेते हैं और प्रकृति के करीब हैं, लेकिन वे कुछ चुनौतियों का सामना करते हैं।
साधारण जीवन :
भारत में हजारों गाँव हैं। भारत के प्रत्येक राज्य में सैकड़ों गाँव शामिल हैं। भारतीय गांवों में पालन की जाने वाली संस्कृति और परंपराएं अलग-अलग हैं। जिस तरह से ग्रामीणों के कपड़े पहनते हैं और जिस तरह की चीजें खाते हैं, वे अलग-अलग क्षेत्रों में अलग-अलग हैं। हालांकि, उनके जीने का तरीका काफी हद तक एक जैसा है।
भारत में ग्रामीण सरल जीवन जीते हैं। वे कड़ी मेहनत कर रहे हैं और जीवन की सादगी का आनंद लेते हैं। भारतीय गांवों में पुरुषों और महिलाओं की भूमिकाओं को अच्छी तरह से परिभाषित किया गया है। गांवों में महिलाएं घर पर रहती हैं और घर के कामों में हाथ बँटाती हैं। वे खाना बनाना, साफ करना और सिलाई और बुनाई में भी शामिल हो सकते हैं। घर के पुरुष सदस्य अपनी आजीविका कमाने के लिए बाहर जाते हैं।
वे ज्यादातर कृषि गतिविधियों में शामिल होते हैं। उनमें से कुछ हस्तकला आइटम बनाने में भी लिप्त हैं। एक ग्रामीण के जीवन में दिन जल्दी शुरू होता है और जल्दी खत्म भी हो जाता है। वे शाम तक अपने कार्यों को हवा देते हैं और जल्दी सो जाते हैं।
बुनियादी सुविधाओं का अभाव :
हालांकि भारत में ग्रामीणों का जीवन काफी हद तक अच्छा है लेकिन यह चुनौतीपूर्ण हो सकता है क्योंकि देश के कई गांवों में बुनियादी सुविधाओं का अभाव है। भारत के कई गांवों में बिजली नहीं है। यहां तक कि जिन लोगों को बिजली की आपूर्ति का अनुभव है, वे लंबे समय तक बिजली कटौती का अनुभव करते हैं जिससे बहुत असुविधा होती है। भारत में ग्रामीणों को भी स्वच्छता की समस्या का सामना करना पड़ता है। भारत में कई गाँवों के घरों में वॉशरूम नहीं होते हैं, इसलिए विशेष रूप से महिलाओं के लिए यह बहुत मुश्किल हो जाता है।
कई गांवों में अस्पताल और नर्सिंग होम नहीं हैं। यहां तक कि जिनके पास अस्पताल हैं उनके पास अच्छे नर्सिंग स्टाफ नहीं हैं।
यदि हमारे यहाँ इस तरह की बुनियादी सुविधाएँ उपलब्ध कराई जाएँ तो हमारे गाँव और अधिक सुंदर बनेंगे।
शिक्षा की कमी :
गांवों में शिक्षा को ज्यादा महत्व नहीं दिया जाता है। हालाँकि गाँवों में धीरे-धीरे और लगातार स्कूल खोले जा रहे हैं, लेकिन कई ग्रामीण अपने बच्चों को पढ़ने के लिए नहीं भेजते हैं। वे विशेष रूप से बालिका को शिक्षित करने की आवश्यकता महसूस नहीं करते हैं क्योंकि वे मानते हैं कि उसे घर के काम करने की ज़रूरत है क्योंकि वह बड़ी हो गई है और इस तरह उसे स्कूल जाने की कोई आवश्यकता नहीं है। यह दुखद स्थिति है और इस मानसिकता को बदलना होगा।
यहां तक कि शिक्षा का अधिकार पाने वाले भी ज्यादातर प्राथमिक या माध्यमिक शिक्षा प्राप्त करते हैं क्योंकि अधिकांश गांवों में उच्चतर माध्यमिक विद्यालय नहीं हैं। स्नातक या स्नातकोत्तर उपाधि प्राप्त करने के लिए, बच्चों को एक बड़े शहर में स्थानांतरित करने की आवश्यकता होती है। अधिकांश ग्रामीण अपने बच्चों को खोने या दूर होने के डर से शहरों में भेजने में संकोच करते हैं।
निष्कर्ष:
भारतीय गांवों में जीवन काफी हद तक अच्छा है। लोग एक सरल जीवन जीते हैं और बीमारी और स्वास्थ्य में एक दूसरे के लिए हैं। हालांकि, हमारे गांवों में मूलभूत सुविधाओं का अभाव है और इनके बिना रहना काफी चुनौतीपूर्ण हो सकता है।
गांव का जीवन पर निबंध, long essay on village life in hindi (600 शब्द)
गांव हरे, निर्मल और प्रदूषण मुक्त दिखाई दे सकते हैं लेकिन इन स्थानों में जीवन काफी चुनौतीपूर्ण हो सकता है। पिछले कुछ दशकों में बहुत सारी तकनीकी प्रगति हुई है। हम शहरों में एक आरामदायक जीवन का आनंद ले रहे हैं और हमारे जीवन को सुविधाजनक बनाने वाली हर चीज तक पहुंच है। हालांकि, ग्रामीणों को आधुनिक सुविधाओं की कमी के कारण इस तरह की सुविधा और सुविधा का आनंद नहीं मिलता है।
गांवों की समस्याएं :
गाँवों की समस्याओं पर एक नज़र डालते हैं:
बुनियादी साधनो का अभाव : गांवों में बुनियादी ढांचा अच्छा नहीं है। सड़कों और पुलों को ठीक से नहीं बनाया गया है और यह शहरों और शहरों के साथ उनकी कनेक्टिविटी को बाधित करता है जो अच्छे व्यवसाय की स्थापना में एक बाधा है। गाँवों के स्कूलों और अस्पतालों में अच्छे कर्मचारियों के साथ-साथ सुविधाओं का अभाव है।
कई गांवों में बिजली की आपूर्ति नहीं होती है या बहुत अधिक बिजली कटौती का सामना करना पड़ता है। इन क्षेत्रों में खराब दूरसंचार बुनियादी ढांचे के कारण अन्य क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के साथ संवाद करना भी ग्रामीणों के लिए काफी मुश्किल हो सकता है। गाँवों में स्वच्छता एक और गंभीर समस्या है।
शिक्षा का कोई महत्व नहीं: कई गांवों में स्कूल नहीं हैं। इस प्रकार, गांवों में लोगों को शिक्षा लेने का मौका नहीं मिलता है। यहाँ तक कि जिन गाँवों में स्कूल हैं, उनमें बहुत अधिक उपस्थिति नहीं देखी जाती है क्योंकि गाँवों के लोग शिक्षा के महत्व को नहीं समझते हैं। वे अपने बच्चों को घर के कामों या खेती में व्यस्त रखते हैं ताकि उनकी मदद हो सके।
पितृसत्तात्मक संरचना: गांवों में, पुरुषों को परिवार का मुखिया माना जाता है और घर की महिलाओं को उनके निर्देशों का पालन करना चाहिए। सभी निर्णय परिवार के पुरुष सदस्यों द्वारा लिए जाते हैं। महिलाएं केवल रसोई और घर के अन्य कामों तक ही सीमित रहती हैं। उन्हें बाहर जाकर काम करने की अनुमति नहीं है। वे किसी भी चीज़ के बारे में अपनी भावनाओं या विचारों को व्यक्त नहीं कर सकते। भारतीय गांवों में कन्या भ्रूण हत्या के मामले भी काफी अधिक हैं।
समस्याओं का समाधान
यहां गांवों में रहने वाले लोगों की समस्याओं का समाधान इस तरह किया जा सकता है :
शिक्षा अनिवार्य होनी चाहिए : सरकार को सभी के लिए शिक्षा अनिवार्य करनी चाहिए। गाँवों में अच्छे स्कूल खोले जाने चाहिए और सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि किसी भी गाँव में कोई भी बच्चा अशिक्षित न रहे।
प्रौढ़ शिक्षा : प्रौढ़ शिक्षा को भी बढ़ावा दिया जाना चाहिए। इस उद्देश्य के लिए नाइट स्कूल खोले जाने चाहिए और शिक्षा प्राप्त करने के लिए वयस्कों को प्रोत्साहित किया जाना चाहिए। यह अत्यंत महत्वपूर्ण है क्योंकि जब वयस्क शिक्षित होंगे तो वे शिक्षा के महत्व को समझेंगे और अपने बच्चों को शिक्षित करेंगे।
सड़कें बनानी होंगी : सड़कों और पुलों का निर्माण किया जाना चाहिए ताकि गांवों और शहरों के बीच उचित संपर्क हो। इससे किसानों और कारीगरों को अपने व्यवसाय का विस्तार करने और ग्रामीणों को स्वास्थ्य सुविधाएं आसानी से उपलब्ध कराने में मदद मिलेगी।
बिजली की आपूर्ति एक चाहिए : आज के समय में, बिजली की आपूर्ति या निरंतर बिजली कटौती नहीं होने पर इस क्षेत्र का विकास और विकास करना असंभव है। यह किसी भी क्षेत्र में प्रगति के लिए आवश्यक सबसे बुनियादी चीजों में से एक है। इस प्रकार, सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि गांवों में लोग इससे रहित नहीं हैं।
स्वच्छता सुविधा : उचित स्वच्छता और अच्छे स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए, स्वच्छता की अच्छी सुविधा होना आवश्यक है। सरकार को अच्छी स्वच्छता सुविधा की आवश्यकता को बढ़ावा देना चाहिए और यह भी सुनिश्चित करना चाहिए कि प्रत्येक गांव के पास यह है।
बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं: हर क्षेत्र में अच्छी स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने की सख्त जरूरत है। सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि प्रत्येक गाँव अच्छे अस्पतालों और अच्छी तरह से शिक्षित और अनुभवी स्वास्थ्य कर्मचारियों से सुसज्जित हो।
ग्रामीणों द्वारा कई गंभीर समस्याओं का सामना किया जा रहा है। गाँवों में लोग विभिन्न सुविधाओं से रहित हैं जो उनके विकास में बाधक हैं। सरकार को आधुनिक सुविधाओं के साथ गाँवों की सुविधा के लिए प्रयास करने चाहिए ताकि उन क्षेत्रों में रहने वाले लोग भी स्वच्छ और आरामदायक जीवन का आनंद ले सकें।
[ratemypost]
इस लेख से सम्बंधित अपने सवाल और सुझाव आप नीचे कमेंट में लिख सकते हैं।
विकास नें वाणिज्य में स्नातक किया है और उन्हें भाषा और खेल-कूद में काफी शौक है. दा इंडियन वायर के लिए विकास हिंदी व्याकरण एवं अन्य भाषाओं के बारे में लिख रहे हैं.
Related Post
Paper leak: लाचार व्यवस्था, हताश युवा… पर्चा लीक का ‘अमृत काल’, केंद्र ने पीएचडी और पोस्ट-डॉक्टोरल फ़ेलोशिप के लिए वन-स्टॉप पोर्टल किया लॉन्च, एडसिल विद्यांजलि छात्रवृत्ति कार्यक्रम का हुआ शुभारंभ, 70 छात्रों को मिलेगी 5 करोड़ की छात्रवृत्ति, leave a reply cancel reply.
Your email address will not be published. Required fields are marked *
Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.
Landslide in Kerala: वायनाड भूस्खलन- प्राकृतिक हादसा या मानव जनित?
Paris olympic 2024: “जलवायु आपातकाल” के बीच ऐतिहासिक आयोजन, 25 जुलाई को मनाया जायेगा संविधान हत्या दिवस – अमित शाह, आईएएस पूजा खेड़कर – जानिए पूरी कहानी.
मेरा गाँव पर निबंध
ADVERTISEMENT
रूपरेखा : गाँव का परिचय - गाँव के लोग - गाँव की सुंदरता - गाँव की पंचायत - गाँव की पाठशाला - गाँव की विकास - गाँव का व्यवसाय - उपसंहार।
मेरा गाँव भी भारत के लाखों गाँवों जैसा ही है। लगभग चार सौ घरों की इस छोटी-सी गाँव का नाम 'मधेपुर' है। गाँव के उत्तर में कलकल करती हुई सरस्वती नदी बहती है। चारों ओर खेतों की हरियाली गाँव की शोभा बढ़ा रही है। पर्वतमाला और विविध वनस्पतियाँ इसके प्राकृतिक सौंदर्य में चार चाँद लगा देती हैं। गाँव के बीचोबीच एक बड़ा कुआँ है, जो 'राम का कुआँ' के नाम से प्रसिद्ध है। कुएँ के सामने विशाल शिवालय है। कुछ दूरी पर गाँव का पंचायतघर है। पाठशाला और अस्पताल गाँव के बाहर हैं।
गाँव में सभी वर्गों के लोग बिना किसी भेदभाव के रहते हैं। मेरे गाँव के लोग बहुत उद्यमी और संतोषी हैं। गाँव के लोगों की सभी जरुरतों की पूर्ति गाँव के लोग ही विविध गृहोद्योगों के माध्यम से करते हैं। कभी-कभी मेरे गाँव में भजन-कीर्तन का कार्यक्रम भी होता है। गाँव में अधिकतर किसान रहते हैं। अनेक देवी-देवताओं में उनका अटूट विश्वास है। होली के रंग सबके हृदय में हर्ष और उल्लास भर देते हैं, तो दीवाली की रोशनी से सबके दिल जगमगा उठते हैं।
गाँव की सुंदरता का कोई वर्णन नहीं किया जा सकता। गाँव में चारों और वृक्ष की हरयाली नजर आती है। गाँव में एक विशाल तालाब देखने को मिलता है। गाँव में आधा प्रतिशत जमीन खेतो से ढका रहता है जहाँ अन्य का खजाना उगता है। गाँव के नदी का तो कोई जवाब नहीं जहाँ की पानी की पवित्रता वहा के लोगों को लम्बी आयु प्रदान करती है। गाँव में करीब हर घर में एक पालतू पशु रहता है तथा घर में एक बड़ा सा आँगन घर की शोभा बढ़ा देती है।
ग्रामपंचायत ने हमारे गाँव की कायापलट कर दी है। गाँव के बच्चे उत्साह से पाठशाला में पढ़ते हैं। आज तो गाँव में प्रौढ़ शिक्षा का भी प्रबंध हो चुका है। गाँव के पुस्तकालय में कई पत्र-पत्रिकाएँ मँगाई जाती हैं। गाँव के बाजार में भी नई रौनक आ गई है। यहाँ घरेलू उपयोग की लगभग सभी चीजें मिलती हैं।
हमारे गाँव की पाठशाला में पढ़ाई के अलावा विद्यार्थियों को बागबानी की शिक्षा भी दी जाती है। कताई और बुनाई के कामों में भी विद्यार्थी रुचिपूर्वक भाग लेते हैं। गाँव का दवाखाना लोगों की अच्छी सेवा कर रहा है। मेरे गाँव के लोगों में कभी-कभी छोटी-छोटी बातों को लेकर कहा-सुनी हो जाती है, लेकिन पंचायत की बैठक में उन्हें सुलझा लिया जाता है। कुछ लोग भाँग, तंबाकू और अन्य नशीली पदार्थ का सेवन भी करते हैं। कुछ लोग सफाई की ओर विशेष ध्यान नहीं देते। प्रौढ़ शिक्षा के प्रति गाँववालों की विशेष रुचि नहीं है।
आज के दौर में गाँव की विकास अवं उनत्ति बहुत ज़रूरी है। कई जगह सरकार गाँव की विकास के लिए अस्पताल, शौचालय, विद्यालय का निर्माण कर रही है। कई जगह सरकार कच्चे मकानों में रहने वाले के लिए पक्के मकानों की व्यवस्था की जा रही है। गाँव के किसान के लिए खेत में लगने वाले बीज, दवाइयां का मुफ्त में उपलब्धि कराई जा रही है। किसानों तथा अन्य लोगों के ऋण की व्यवस्था भी की जा रही है। कृषि के विकास के लिए सहकारी समिति से ऋण दिया जाता है। किसानों को बीज और खाद भी सहकारी समिति ही देती है। गाँव में सभी को साक्षर बनाने के लिए शिक्षा की भी व्यवस्था की गई है। शहर से ज्यादा गाँव में स्वछता का ध्यान दिया जाता है यही कारन है गाँव के वासियों की आयु तथा शरीर लम्बे समय तक स्वस्त रहते है।
गाँव के लोगों का व्यवसाय कृषि करना और पशुपालन करना अधिक देखा जाता है। गाँव के किसान आधुनिक ढंग से बनाए गये कृषि के यंत्रों का प्रयोग करते हैं। गाँव में बैलों की जगह अब ट्रैक्टरों का प्रयोग किया जाता है। अच्छे किस्म के बीजों को प्रयोग खेतो में अधिक फसलों के लिए किया जाता है। गाँव में अब अच्छी नस्लों वाली भैसों और गायों का पालन किया जाता है। गाँव में अधिकतर लोग दूध बेचकर अपना घर चलाते है। आज गाँव में लगभग हर अनाज की फसलें होती है जैसे गेंहूँ, चावल, गन्ना, ज्वार, बाजरा सरसों, मक्का आदि अनाज की उत्पन्न होती है।
फिर भी मेरा गाँव अपने आप में अच्छा है। यहाँ प्रकृति की शोभा है, स्नेहभरे लोग हैं, धर्म की भावना है और मनुष्यता का प्रकाश है। भोले-भाले स्त्री-पुरुष, स्नेहभरे भाभी-देवरों और सरल बच्चों, दादा-दादी और नाना-नानी से हरा-भरा यह मेरा गाँव मुझे बहुत प्यारा लगता है।
Nibandh Category
ग्रामीण जीवन पर निबंध (गाँव का जीवन) Essay on Village Life in Hindi
इस लेख मे हमने ग्रामीण जीवन पर निबंध (गाँव का जीवन) Essay on Village Life in Hindi हिन्दी मे लिखा है। इसमे आप ग्रामीण क्षेत्रों मे शिक्षा, घर, जीवन शैली, स्वास्थ्य सुविधाएं, लोग और परंपराओं के विषय मे पूरी जानकारी दी है। यह निबंध स्कूल और कॉलेज के छात्रों के लिए 1200 शब्दों मे लिखा गया है।
Table of Content
प्रस्तावना Introduction (ग्रामीण जीवन पर निबंध-1200 Words)
आज की इस लेख में हम ग्रामीण – गांव में रहने वाले लोग कैसे अपना जीवन व्यतीत करते हैं उनके रहन-सहन का तरीका और साथ ही वहां के सुंदर वातावरण के विषय में आपको बताएंगे।
भारत मे गाँव Villages in India
आज भारत एक विकासशील देश है। तब भी आज शहरों के मुकाबले भारत में बहुत अधिक गाँव है। रिपोर्ट के अनुसार लगभग 75 प्रतिशत से ज्यादा भारतीय जनसंख्या गाँव में रहते हैं। गाँव का जीवन शांत, हरियाली और प्रदूषण मुक्त होता है।
ग्रामीण शिक्षा Education in Rural areas
आज भी इस आधुनिक युग में गाँव का जीवन शहरों से बहुत अलग है। गाँव में पूर्ण रूप से शिक्षा की सुविधाएँ आज भी उपलब्ध नहीं हो पाए हैं। आज भी ज्यादातर गाँव में मात्र प्राइमरी स्कूलों की सुविधा है और कुछ बड़े गाँव में मात्र हाई स्कूल की सुविधा है।
गाँव के घर और जीवन शैली House & Lifestyle in Villages
पहले भारत के सभी गाँव में बांस और भूसे से बने चाट हुआ करते थे और घर भी मिट्टी के होते थे परन्तु अब प्रधानमंत्री आवास योजना की मदद से गाँव में गरीब लोगों को मुफ्त में पक्के घर मिल रहे हैं।
गाँव के लोगों का मुख्य कार्य खेती होता है। आज भी शहरों में जिन अनाजों को लोग खाते हैं सभी गाँव के खेतों से ही आता है। आज भी इस 21वीं सदी में कई ऐसे गाँव हैं जहाँ तक पहुँचने के लिए अच्छी सड़क तक नहीं हैं।
शहर के मुकाबले गाँव में बहुत कम लोग रहते हैं। गाँव में लोगों के घर के आस-पास बहुत खुली जगह होती है और हर किसी व्यक्ति के पास मोटरसाइकिल या कार नहीं होता है। गाँव में ज्यादातर लोगों के पास वाहन के रूप में बैल गाड़ी होता है। परन्तु कुछ जगहों में अब गाँव में भी लोगों के पास गाडी-मोटर की सुविधाएँ हैं।
स्वास्थ्य से जुड़ी सुविधाएँ Health care facilities in villages
परन्तु जिन ग्रामीण क्षेत्रों में पानी की कमी होती है वहां के जल संपदा बहुत अस्वच्छ होते हैं क्योंकि ज्यादातर गाँव में लोग जिस तालाब के पानी में कपड़े धोते हैं, गाय-भैंस को नहलाते हैं उसी में स्वयं नहाते हैं और उस पानी को खाने-पीने के काम में भी लेते हैं।
आज भी ज्यादातर गाँव में लोग बाहर शौच करते हैं जिसके कारण कई प्रकार की बीमारियाँ – जैसे टाइफाइड, डायरिया आदि से भी भुगतना पड़ता है। आज सरकार के कई अभियान जैसे – स्वच्छ भारत अभियान के द्वारा लोगों को स्वच्छता के विषय में जागरूक करने की मुहीम शुरू की जा चुकी है परन्तु इस प्राचीन काल से आये हुए अन्धविश्वास और अस्वच्छ भारत की आदतों को सुधारने में हमें बहुत समय लगेगा।
गाँव के लोग People of Village
जिन क्षेत्रों में कुछ प्राकृतिक कारणों से खेती किसानी सही प्रकार से नहीं हो पा रही है उन क्षेत्रों के गाँव में ज्यादातर लोग गरीबी रेखा (BPL-Below poverty line) के नीचे होते हैं। उनके पास खेत ना होने या खेतों में पानी की सुविधा सही प्रकार से ना हो पाने के कारण उनके पास एक वक्त का खाना खाने के लिए भी अनाज नहीं होता है।
ज्यादातर राज्यों की सरकार के इन गरीबी रेखा के लोगों के लिए जन धन योजना बैंक अकाउंट प्रदान किया है और साथ ही परिवार के अनुसार 2 रुपए वाला चावल प्रदान किया जा रहा है और साथ ही प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के अनुसार घर-घर LPG गैस दिए जा रहे हैं।
पहले कुछ वर्ष पहले गाँव का जीवन रात होते ही अंधकार में डूब जाता था क्योंकि ज्यादातर गाँव में बिजली की सुविधा नहीं थी। आज लगभग ज्यादातर गाँव में बिजली की सुविधा पहुँच चुकी है। अब गाँव के बच्चे भी मेहनत कर रहे हैं और शिक्षा के क्षेत्र में बहुत सफलताएँ प्राप्त कर रहे हैं।
पारंपरिक त्यौहार और संस्कृति Traditional Festivals and Culture
आज भले ही शहरी क्षेत्रों में लोग भारत के संस्कृति और परंपरा को कई हद तक भुला चुके हैं वहीँ आज भी ग्रामीण लोगों के दिल में हमारे देश की परंपरा और संस्कृती कूट-कूट कर भरी हुई है। गाँव के त्यौहार में शहरों के जितना आतिशबाजी और रौशनी तो नहीं होता है परन्तु उसमें सही नियम, और लोग मिलझूल कर त्यौहार का आनंद उठाते हैं।
निष्कर्ष Conclusion
आशा करते हैं आपको गाँव के जीवन या ग्रामीण जीवन पर निबंध अच्छा लगा होगा। अगर आपको यह निबंध अच्छा लगा हो तो इस आर्टिकल को अपने सोशल मीडिया पर ज़रूर शेयर करें।
Similar Posts
फूल पर निबंध essay on flower in hindi, जल ही जीवन है पर निबंध essay on water is life in hindi, साईं बाबा पर निबंध essay on sai baba in hindi, ज्ञान शक्ति है पर निबंध knowledge is power essay in hindi, पर्यावरण प्रदूषण पर निबंध essay on environmental pollution in hindi, मेरा विद्यालय पर निबंध essay on my school in hindi, leave a reply cancel reply, 11 comments.
- Now Trending:
- Nepal Earthquake in Hind...
- Essay on Cancer in Hindi...
- War and Peace Essay in H...
- Essay on Yoga Day in Hin...
HindiinHindi
My village essay in hindi मेरा गाँव पर निबंध.
Know information about my village in Hindi. Read मेरा गाँव पर निबंध My Village Essay in Hindi for students of class 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11 and 12.
My Village Essay in Hindi
My Village Essay in Hindi 150 Words
मेरे गाँव का नाम विश्रामपुर है। यह समुद्र के किनारे स्थित है। मेरा गाँव सदरता, ताजगी और शांति का मिलाप हैं। साल भर यहां कई तरह के फल और फूल उगते हैं। यहाँ उगाया गया अनाज शुद्ध, स्वच्छ और पौष्टिक होता है। मेरे गाँव में लगभग 2000 लोग रहते हैं। खेती कई ग्राम वासियोंका मुख्य व्यवसाय है। गाँव में एक बड़ा तालाब है जिसके कारण लोगों को पानी की समस्या नहीं होती। तालाब के किनारे भगवान श्री कृष्णजी का एक संदर मंदिर है। सभी ग्राम वासी यहाँ भक्तिभाव से पूजा करते हैं। बच्चों के लिए गाँव में एक सरकारी स्कूल है। मेरे गाँव में एक अस्पताल, डाकघर और बैंक भी है। मेरे गाँव के लोग -साधारण जीवन जीते हैं और आपस में भाईचारे के साथ रहते हैं। मैं अपने गांव से बहुत प्यार करती है और मुझे लगता है कि यह सबसे सुंदर जगह है।
My Village Essay in Hindi 400 Words
भारत गांवों का देश है। भारत की जनसंख्या का आधे से भी ज्यादा हिस्सा आज भी गांव में ही निवास करता है। मेरा गांव भारत के लाखों गांवों जैसा ही है। लगभग चार-सौ घरों की इस छोटी-सी बस्ती का नाम कपडवज है। मेरा गाँव में प्रकृती की शोभा हैं, स्नेहभरे लोग हैं, धर्म की भावना हैं और मनुष्यता का प्रकाश है। हमारे गांव के ज्यादातर लोग कृषि और पशु पालन पर ही निर्भर है। मेरे गाँव में सिंचाई का अच्छा प्रबंध है।
हमारे गांव में पक्की सड़कों एवं बिजली की व्यवस्था है। हमारे गांव में बैंक और एक छोटा पोस्ट ऑफिस भी है। यहां के सभी लोग हसमुख और मिलनसार है। हमारे गांव के कुछ लोग अपनी आजीविका चलाने के लिए कुटीर उद्योग भी चलाते हैं। मेरे गांव के लोग बड़ा ही सीधा – सादा जीवन जीते हैं। वह सादे कपड़े पहनते है और सादा भोजन खाते है। मेरे गाँव में सभी धर्मो के लोग हैं, जो आपस में मिलजुल कर रहते हैं। मेरे गाँव में उत्सवों और मेलों की धूम होती है। त्योहारों के अवसर पर लोग आपस में मिलते – जुलते हैं। मेरे गाँव के लोग आपसी सूख-दुःख में एक-दसरे का पूरा साथ देते हैं।
हमारे गांव के लोग रात को जल्दी सो जाते हैं और सुबह जल्दी उठकर खेतों में काम करने चले जाते हैं और पूरे दिन कठिन परिश्रम करते है। हमारे गांव का वातावरण शहरों की तुलना में बहुत ही ठंडा है और प्रदूषण रहित है जिससे यहां के लोगों को गंभीर बीमारियां नहीं होती है। हमारे गांव में सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाता है। यहां पर किसी भी प्रकार की गंदगी नहीं पाई जाती हैं। हमारे गांव में खेल के लिए एक बहुत बड़ा मैदान है, जहां पर हम सुबह शाम कबड्डी, क्रिकेट, खो-खो जैसे खेल खेलते हैं।
हमारे गांव के विकास कार्यों को देखने के लिए एक पंचायत भी बनाई गई है। ग्रामपंचायत ने हमारे गाँव की कायापलट कर दी है। हमारे गाँव तेजी से उन्नति कर रहा हैं। ग्रामवासियों को गाँवों में ही रोजगार उपलब्ध कराया जा रहा है। हमारे गांव में शिक्षा के क्षेत्र में भी बहुत काम हुआ है। हमारे गांव में छोटे बच्चों की शिक्षा के लिए सर्व शिक्षा अभियान के तहत आंगनबाड़ी भी खोली गई है। गाँव में आपसी विवाद को अधिकतर पंचायत में ही सुलझा लेते हैं। कभी-कभी मेरे गाँव में भजन-कीर्तन का कार्यक्रम भी होता है।
चारों ओर खेतों की हरियाली गाँव की शोभा बढ़ा रही है। गाँव की आबोहवा में जीना सचमुच आनंददायी होता है। हमारा गांव सही मायनों में एक आदर्श गांव है।
Share this:
- Click to share on Facebook (Opens in new window)
- Click to share on Twitter (Opens in new window)
- Click to share on LinkedIn (Opens in new window)
- Click to share on Pinterest (Opens in new window)
- Click to share on WhatsApp (Opens in new window)
About The Author
Hindi In Hindi
Your email address will not be published. Required fields are marked *
Email Address: *
Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.
Notify me of follow-up comments by email.
Notify me of new posts by email.
- Cookie Policy
- Google Adsense
भारतीय ग्रामीण जीवन पर निबंध | Essay on Indian Rural Life in Hindi
भारतीय ग्रामीण जीवन पर निबंध | Essay on Indian Rural Life in Hindi!
भारत एक विशाल जनसंख्या वाला देश है जिसका एक बहुत बड़ा भाग आज भी गाँवों में निवास करता है । ये लोग आज भी अपनी आजीविका के लिए पूर्ण रूप से कृषि पर निर्भर हैं । वास्तविक रूप में यदि देखा जाए तो भारत की अर्थव्यवस्था का प्रमुख आधार कृषि ही है ।
गाँवों में लोग प्राय: सादा जीवन व्यतीत करते हैं । भारतीय ग्राम्य जीवन की जब भी बात होती है तो तपती हुई धूप में खेती करता हुआ किसान, दूर-दूर तक फैले हुए खेत और उन पर लहलहाती हरी – भरी फसल घर का काम-काज सँभालती हुई औरतें तथा हाट (बाजार) व मेले के दृश्य स्वत: ही मन-मस्तिष्क पर उभर आते हैं ।
प्रदूषण से दूर स्वच्छ, सुगंधित व ताजी हवा गाँव की और अनायास ही खींचती है । सभी ग्रामवासियों का मिल-जुल कर एक परिवार की भाँति रहना तथा एक-दूसरे को यथासंभव सहयोग करने हेतु सदैव तत्पर रहना हमारे ग्रामीण जीवन की विशेषता है।
ग्रामीण जीवन में मनोरंजन हेतु अनुपम व अनूठे साधन उपलब्ध हैं । लोग तरह-तरह से अपना व दूसरों का मनोरंजन करते हैं । प्राय: दिन में कार्य करने के पश्चात् सायंकाल को लोग चौपाल अथवा किसी प्रांगण आदि पर एकत्र होते हैं जहाँ वे तरह-तरह की बातों से अपना मन बहलाते हैं ।
कुछ लोग धार्मिक कथाओं जैसे श्रीराम अथवा श्रीकृष्ण आदि के जीवन-चरित्र पर चर्चा करते हैं । प्राय: लोग मंडली बनाकर ढोल मजीरे आदि वाद्य यंत्रों के साथ बैठकर संगीत व नृत्य का आनंद उठाते हैं । गायन में लोकगीत व भजन आदि प्राय: सुनने को मिलते हैं ।
विभिन्न त्योहारों का पूर्ण आनंद व उल्लास ग्राम्य जीवन में भरपूर देखने को मिलता है । दशहरा, दीवाली तथा होली आदि त्योहार ग्रामवासी परस्पर मिल-जुल कर व बड़े ही पारंपरिक ढंग से मनाते हैं । ग्रामीण मेले का दृश्य तो अपने आप में अनूठा होता है । भारतीय संस्कृति का मूल रूप इन्हीं मेलों व गाँव के जीवन में पूर्ण रूप से देखा जा सकता है ।
ADVERTISEMENTS:
ग्रामवासी प्राय: सीधे व सरल स्वभाव के होते हैं । उनमें छल-कपट व परस्पर द्वेष का भाव बहुत कम देखने को मिलता है । उनमें धार्मिक आस्था बहुत प्रबल होती है। बड़ों की आज्ञा मानना व उन्हें सम्मान देना यहाँ की संस्कृति में है ।
यदि गाँवों को विकास की दृष्टि से देखा जाए तो हम पाएँगे कि देश के अधिकांश माँस शहरों की तुलना में बहुत पीछे हैं । लाखों करोड़ों लोग आज भी निर्धनता की रेखा से नीचे जी रहे हैं । कितने ही लोग हर वर्ष भुखमरी, महामारी आदि के शिकार हो जाते हैं । गाँवों में आज भी अधिकांश लोग अशिक्षित हैं । अंधविश्वास व धर्मांधता के चलते उनमें परिवर्तन लाना बहुत मुश्किल है ।
दूसरी ओर गाँव पहले काफी हरे – भरे थे, गाँव के चारों ओर एक हरित पट्टी सी थी जो अब धीरे-धीरे नष्ट हो चुकी है । इसके कारण गाँव में पशुओं के लिए हरे चारे की समस्या खड़ी हो गई है । गाँव के लोग अब लड़कियों के लिए भी शहरों पर निर्भर होते जा रहे हैं । बहुत से गाँवों के कुटीर उद्योग- धंधे भी इन्हीं कारणों से नष्ट हो गए हैं ।
देश की लगभग दो-तिहाई आबादी गाँवों में ही निवास करती है । यदि हम अपने देश की उन्नति चाहते हैं तो हमें गाँवों की अवस्था में सुधार लाना होगा । भारतीय गाँवों को विकास की प्रमुख धारा में लाए बिना देश को ऊँचाई पर ले जाना असंभव है ।
अत: यह आवश्यक है कि अपनी सांस्कृतिक विरासत को बचाए रखने के साथ ही हम गाँवों के विकास हेतु नई-नई योजनाएँ विकसित करें और उन्हें कार्यान्वित करें । इस प्रकार निश्चय ही हमारा देश विश्व के अग्रणी देशों में से एक होगा ।
Related Articles:
- भारत में ग्रामीण जीवन पर अनुच्छेद | Paragraph on Life in an Indian Village in Hindi
- आधुनिक तकनीक भारतीय ग्रामीण जीवन को किस प्रकार रूपान्तरित कर सकती है पर निबन्ध
- भारतीय जीवन और पाश्चात्य आदर्श पर निबन्ध |Essay on Indian Life and Western Model in Hindi
- ग्रामीण विकास में बैंकों की भूमिका पर निबन्ध | Essay on The Role of Banks in Rural development in Hindi
मेरा गाँव पर निबंध- My Village | Mera Gaon Essay in Hindi
In this article, we are providing information about My Village in Hindi. Short Mera Gaon Essay in Hindi Language. मेरा गाँव पर निबंध- Mere Gaon par Nibandh. Checkout article on Kisan ki Atmakatha
मेरा गाँव पर निबंध- My Village | Mera Gaon Essay in Hindi
My Village Essay in Hindi | मेरा गाँव पर निबंध
यह मेरा गाँव है। यहाँ दो हज़ार लोग रहते हैं। यहाँ अधिकांश लोग किसान हैं। वे सुबह ही खेती के कामों में लग जाते हैं।
हमारे गाँव का निर्माण योजनाबद्ध रूप में किया गया है। सड़कें चौडी हैं । सड़कों की दोनों ओर भवन हैं। वे एक कतार में हैं। अधिकांश लोग पक्के भवनों में रहते हैं। मजदूर लोग झोंपड़ियों में रहते हैं।
मेरे गाँव में एक पाठशाला है। उस में पहली से सातवीं कक्षा तक पढ़ाई होती है। पाँच अध्यापक और एक हेडमास्टर है। सब लोग अच्छी तरह पढ़ाते हैं।
मेरे गाँव में एक मंदिर है। उसमें शिवजी और रामचंद्र की मूर्तियाँ हैं। यहाँ नित्य पूजायें होती हैं। त्योहारों के समय अधिक संख्या में भक्त आते हैं।
मेरे गाँव में दुग्ध – संग्रह – केंद्र है। किसान यहाँ दूध लाकर इस केंद्र में बेचते हैं। इस केंद्र से दूध शहर को भेजा जाता है।
यहाँ पेय-जल की अच्छी व्यवस्था है। वार्ड-सदस्य मिलकर गाँव की समस्याओं को सुलझाते हैं। यहाँ पब्लिक हेल्थ सेंटर और पशु-वैद्य , शला है। यहाँ ग्रामीण बैंक है। यहाँ से शहर जाने के लिए बस की भी सुविधा है।
मेरे गाँव में सब प्रकार की सुविधाये हैं। यहाँ की जनता में एकता है।’ सब मिलकर गाँव की उन्नति करते हैं।
जरूर पढ़े-
Cow Essay in Hindi My House Essay in Hindi
My Village Essay in Hindi | मेरा गाँव पर निबंध ( 300 words )
मेरे गांव का नाम पोयनाड़ हैं । मेरा गांव महाराष्ट्र में रायगड़ जिले के अलिबाग में स्थित हैं । मेरा गांव बहुत अच्छा हैं । मेरे गांव में बहुत हरियाली हैं । मेरे गांव के कुछ क्षेत्र में बाजार हैं । हमारे गांव के ज्यादा लोग खेती करते हैं और बाकी के लोग नौकरी और व्यवसाय करते हैं । हमारे गांव की बाजार बहोत लोकप्रिय हैं । हमारे गांव के बाजार में सभी चीजें उपलब्ध हैं । हमारे गांव में मिर्ची का व्यवसाय बहुत होता हैं । बहुत दूर दूर से लोग हमारे गांव में चीजें खरीदने के लिए आते हैं । हमारे गांव में सभी चीजें उपलब्ध है इसलिए हमें कोई चीजें खरीदने के लिए गांव से बाहर नहीं जाना पड़ता ।
हमारे गांव में स्वच्छता को बहुत महत्त्व दिया जाता हैं । हमारे गांव में सभी सुविधाएं उपलब्ध हैं । हमारे गांव में हिंदू लोगों के बहुत देवताओं के मंदिर हैं । हमारे गांव का शिव मंदिर भी बहुत प्रचलित हैं । मेरे गांव के गणेश मंदिर में सुबह लोग दर्शन करने के लिए आते हैं और शाम के समय गांव के लोग मिलकर गणेशजी के मंदिर में आरती करते हैं । हमारे गांव में मुस्लिम लोगों के लिए मस्जिद भी हैं ।
हमारे गांव के लोग बहुत ही अच्छे हैं । हमारे गांव में दिपावली , गणेशोत्सव , होली , रामनवमी जैसे त्यौहार भी बहोत उत्साह से मनाए जाते हैं । हमारे गांव में एक बड़ा तालाब भी हैं । उस तालाब में मछलीयां हैं । गांव के तालाब में महिलाएं बर्तन और कपड़े धोने का काम भी करती हैं । तालाब के चारों और हरियाली फैली हुई हैं । तालाब का नजारा देखने में बहुत अच्छा लगता हैं । मुझे मेरा गांव बहुत पसंद हैं ।
Mera Gaon Nibandh | Essay in Hindi | मेरा गाँव निबंध हिंदी
मेरा गाँव एक बहुत ही छोटा सा गाँव है जो कि भारत के हरियाणा राज्य के करनाल जिसे में स्थित है। मेरे गाँव का नाम सालवन है जहाँ पर हिंदी और हरियाणवी भाषा मुख्य रूप से बोली जाती है। मेरा गाँव चारो तरफ से खेतों से घिरा हुआ है और यहाँ पर तरह तरग के फूल, पेड़, पौधे देखने को मिलते हैं। मेरे गाँव में सूबह के समय इतनी शांति होती है कि पक्षियों की चहचाहट बहुत ही मधुर लगती है। मेरे गाँव में सभी लोग मिल जुलकर रहते हैं और यहाँ आमतौर पर संयुक्त परिवार है। यहाँ कै लोगों का मुख्य पेशा खेती और पशुपालन है।
मेरे गाँव में एक बहुत ही बड़ा तालाब है जिसमें हम सब कभी कभी नहाने जाते हैं। तालाब के नजदीक ही एक बहुत बड़ा वट वृक्ष है जहाँ पर हर रोज संध्यकाल के समय बुजुर्गों की बैठक लगती है और ताश खेला जाता है। गलियों में बच्चे खेलते हुए दिखाई देते हैं और आज भी काकी चाची दही से मक्खन निकालती हुई दिखाई देती है। मेरे गाँव में एक स्कूल भी है जहाँ हम सब बच्चे पढ़ने जाते हैं और यहाँ पर बिजली पानी की भी उच्च व्यवस्था है। गाँव में एक छोटा सा चिक्त्सालय भी है।
मेरे गाँव में एक प्रसिद्ध मन्सा देवी का मंदिर है जहाँ पर नवरात्रों में बहुत बड़ा मेला लगता है। माता रानी के दर्शन करने के लिए बहुत दूर दूर से लोग आते हैं और रोनक लगी रहती है। मेरे गाँव में कपड़े, गहने आदि का बाजार नहीं है और यह सब सामान खरीदने के लिए हमें शहर जाना पड़ता है। मेरे गाँव में सभी त्योहार बड़ी खुशी के साथ एकसाथ मनाए जाते हैं। मेरे गाँव में बहुत सारे खुले मैदान भी है जहाँ हम क्रिकेट खेलते हैं और दौड़ लगाते हैं। मेरे गाँव में वाहन कम चलते हैं और हरियाली होने की वजह से प्रदुषण बिल्कुल भी नहीं है। सुबह सुबह ताजगी और शुद्ध हवा में साँस लेने का मजा ही कुछ और हैं। सांयकाल में जब गायों को बाँधा जाता है तो उनके पैरों से धूल उड़ती है और सूर्योदय धुँधला सा लगता है क्योंकि यहाँ की सड़के पक्की नहीं हैं।
मैं चाहता हूँ कि मैं बड़ा होकर एक अच्छा इंजीनियर बनूँ और अपने गाँव की सड़को को पक्का करवा सकुँ। मेरे दिल में मेरे गाँव की मिट्टी की खुशबू हमेशा रहेगी। मैं अपने गाँव से बेहद प्यार करता हूँ और मेरा गाँव सबसे प्यारा है।
FAQs Mera Goan Nibandh | My Vilage Essay
Q- गांव की परिभाषा क्या है? उत्तर-गांव एक साधारण सी बस्ती हैं, जो ज्यादातर ग्रामीण परिवेश में पाई जाती है।
Q-गांव का जीवन जीना कैसा है? उत्तर- गांव में जीवन बहुत ही सादा होता है, गाओं का जीवन शहरी लोगों के जीवन की तरह व्यस्त तथा तनाव भरा नहीं होता हैं।
Q- आपको अपने गांव में क्या पसंद है? उत्तर- मेरे गांव में लोग बहुत अच्छे रहते हैं और वह खेती तथा पशुपालन भी करते हैं। मेरे गांव के लोग साधारण सा जीवन जीते हैं।
Q- गांव के बच्चे और लोग खुश क्यों है? उत्तर-गांव के लोग इसलिए खुश है,क्योंकि वह ताजे फल और ताजी सब्जियों का आनंद लेते हैं।क्योंकि वह गांव में खुद ही उगाते हैं।
Q- क्या गांव का जीवन आसान है? उत्तर- गांव का जीवन जीना शहरों से बहुत अच्छा है,क्योंकि गांव में शांति और हरियाली पाई जाती है। जहां व्यक्ति हमेशा ताजी हवा में खुलकर सांस ले सकता है और ना ही कोई प्रदूषण की समस्या रहती है।
Q- गांव की खासियत क्या है? उत्तर-हमारे गांव में हमारी बचपन की यादें होती हैl गांव में लोग एक दूसरे को अच्छे से जानते हैं और गांव के लोग बहुत भले होते हैंl
Q- गांव में रहने वाले व्यक्ति को क्या कहते हैं? उत्तर- गांव में रहने वाली व्यक्ति को ग्रामीण कहा जाता हैl
Q- गांव का मुखिया कौन होता है? उत्तर- गांव का मुखिया सरपंच को माना जाता हैं।
Meri Pathshala Nibandh
Essay on Indian Rural Life in Hindi- भारतीय ग्रामीण जीवन पर निबंध
ग्राम पंचायत पर निबंध- Essay on Gram Panchayat in Hindi
इस लेख के माध्यम से हमने Mera Gaon Essay in Hindi | Mera Gaon Nibandh का वर्णन किया है और आप यह article को नीचे दिए गए विषयों पर भी इस्तेमाल कर सकते है।
mera gav nibandh in hindi class 7 mera gaon essay in hindi माय विलेज इन हिंदी mera village Essay gaon ke bare mein nibandh my village in hindi nibandh essay on my village in hindi
10 thoughts on “मेरा गाँव पर निबंध- My Village | Mera Gaon Essay in Hindi”
Thanks Nice ??
I love this eassy
really helped me thnkss….
hi i am a gaurav you ar da best
Tommorow is my submission nd this saved me ….. thanks it helped
Very nice ? ?
So sweet essay ??
Excellent essay
Leave a Comment Cancel Reply
Your email address will not be published. Required fields are marked *
मेरा गाँव पर निबंध (My Village Essay In Hindi)
गाँव के बिना हमारा देश कुछ भी नहीं है। हमारे देश में आधे से ज़्यादा लोग गाँव में रहते है। हमारे देश की उन्नति के पीछे गाँव महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। किसान गाँव में रहकर फसलों का उत्पादन करते है।
कृषि प्रधान देश
सरकारी बैंक
Related Posts
इंद्रधनुष पर निबंध (rainbow essay in hindi), ओणम त्यौहार पर निबंध (onam festival essay in hindi), ध्वनि प्रदूषण पर निबंध (noise pollution essay in hindi).
मेरा गांव पर निबंध ( Mera Gaon Nibandh In Hindi )
इस लेख में आपको मेरा गांव पर निबंध ( Mera Gaon Nibandh In Hindi ) पढ़ने को मिलेगा। इस निबन्ध के माध्यम से बच्चों को Mera Gaon essay in hindi लिखने में काफी मदद मिलेगी। साथ में आपको Mera Gaon पर 10 पंक्तियां भी पढ़ने को मिलेगी। उम्मीद करता हूँ इस पोस्ट से आपको काफी मदद मिलेगी।
मेरे गाँव पर निबंध 500+ शब्द – Mera Gaon Essay In Hindi
Mera Gaon एक ऐसा स्थान है जहाँ मैं अपनी छुट्टियों में या जब भी मुझे थकान महसूस होती है और आराम करना चाहता हूँ तो चला जाता हूँ। गाँव एक ऐसी जगह है जो शहर के प्रदूषण और शोर से बहुत दूर है। इसके अलावा, आप गाँव में मिट्टी के साथ संबंध महसूस करते हैं।
गांव में पेड़ – पौधों, फसलों की एक किस्म, फूलों की विविधता और नदियाँ आदि हैं। इन सब के अलावा, आप रात में ठंडी हवा और दिन में एक गर्म लेकिन सुखद हवा का आनंद ले सकते हैं। भारत की लगभग 70% से अधिक आबादी गांवों में रहती है।
गाँव खाद्य और कृषि उपज के मुख्य स्रोत हैं जिनका हम उपभोग करते हैं। आजादी के बाद, गांवों में आबादी के साथ-साथ शिक्षा के क्षेत्र में भी काफी वृद्धि हुई है। गाँव के लोग अपने काम के प्रति अधिक समर्पित होते हैं।
इसके अलावा, Mera Gaon शांति और सद्भाव में रहता है और गांव में किसी भी तरह का कोई संघर्ष नहीं है। ग्रामीण एक दूसरे के दुख और सुख में शामिल होते हैं। गांव के लोग सहायक प्रकृति के होते हैं।
इसे भी पढ़ें: सोशल मीडिया पर बेहतरीन निबंध
मेरे गाँव का वर्णन – Description Of My Village
Mera Gaon दो तरह के मौसम वाले क्षेत्र में मौजूद है जिसमें तेज़ गर्मी और सर्दियाँ होती हैं। ज्यादातर मैं छुट्टियों के कारण गर्मियों में अपने गांव जाता हूं। हालाँकि गाँव गर्मियों के दौरान शहर की तुलना में कहीं अधिक ठंडा है। इसके अलावा, आपको हवा की वजह से एक गांव में एयर कंडीशनर की आवश्यकता नहीं है।
गाँव में हरियाली को देखकर दिल खुश हो जाता हैं और लगभग हर घर में उनके आँगन में कम से कम एक पेड़ होता है। पहले गांवों में कच्चे घर बने होते थे लेकिन अब ये दृश्य बदल गया है। अब गांवों में भी लगभग सभी घर पक्की ईंटो से बने हुए हैं। गाँव के लोग शहर के लोगों की तुलना में अधिक मित्रवत होते हैं।
मेरे गाँव के बारे में मुझे जो बात सबसे ज्यादा पसंद है, वह है ताज़ी और घूमती हवा। गांव की हवा ताजगी का एहसास देती है। सबसे महत्वपूर्ण बात, रात में मैं उन सितारों को देखता हूं और उनकी गिनती करता हूं और आनंद लेता हूँ जो मैं शहर में नहीं कर सकता।
इसे भी पढ़ें: मेरा सबसे अच्छा दोस्त पर निबंध
गाँव का महत्व – Importance Of Village
भारत में प्राचीन काल से ही गांवों का अस्तित्व था और वे माल की मांग और आपूर्ति के लिए एक दूसरे पर निर्भर थे। इसी तरह, वे देश की वृद्धि और विकास में बहुत योगदान देते हैं। भारत एक ऐसा देश है जो अपने द्वितीयक और तृतीयक क्षेत्र से अधिक कृषि पर निर्भर है।
इसके अलावा, भारत दुनिया का दूसरा सबसे अधिक आबादी वाला देश है और इस बड़ी आबादी को भोजन देने के लिए उन्हें भोजन की आवश्यकता होती है जो गांवों से आता है। यह बताता है कि गांव हमारे लिए और हर किसी के लिए महत्वपूर्ण क्यों हैं।
निष्कर्ष में, हम कह सकते हैं कि गाँव अर्थव्यवस्था की रीढ़ की हड्डी हैं। साथ ही, Mera Gaon भारत के सभी गाँवों का एक हिस्सा है जहाँ लोग अभी भी शांति और सद्भाव में रहते हैं। गांवों के लोग मिलनसार हैं और शहरी क्षेत्रों के लोगों की तुलना में अधिक खुशहाल और समृद्ध जीवन जीते हैं।
इसे भी पढ़ें: चुनाव पर निबंध
बच्चों के लिए अंग्रेजी में मेरा गाँव निबंध ( Mera Gaon Nibandh ) आपके संदर्भ के लिए यहाँ उपलब्ध कराया गया है। यह निबंध बच्चों को एक स्पष्ट समझ पाने में मदद करेगा कि वे एक साधारण तरीके से एक अच्छे माय विलेज निबंध 10 लाइनों को कैसे फ्रेम कर सकते हैं।
जब कोई “गाँव” के बारे में सोचता है, तो उसके दिमाग में क्या आता है? शहर की हलचल से दूर एक शांत जगह। एक ऐसी जगह जो हरियाली और सादगी से भरपूर हो। वह स्थान जो किसी के मन को शांत करता है। यहाँ, आइए देखें कि कैसे बच्चे Mera Gaon के निबंध पर 10 पंक्तियाँ लिख सकते हैं और अपने विचारों को कलमबद्ध कर सकते हैं कि वे अपने गाँव के बारे में कैसा महसूस करते हैं।
My Village Essay 10 Lines In Hindi
- मेरे गाँव का नाम (गांव का नाम लिखें) है जो (राज्य का नाम) के (जिले का नाम) जिले में आता है।
- गर्मियों और सर्दियों की छुट्टियों के दौरान, मैं अपने गाँव जाता हूँ।
- मेरे दादा-दादी गाँव में रहते हैं। वे शहर से ज्यादा गांव पसंद करते हैं।
- मेरे दादा दादी का घर गाँव के सबसे बड़े पक्के मकानों में से एक है।
- मेरे दादाजी गाँव के सरपंच हैं। सभी ग्रामीणों द्वारा उनके न्यायपूर्ण कार्यों और गांव के विकास के लिए किए गए कार्यों के लिए उनकी प्रशंसा की जाती है।
- मेरे गाँव में, हमारे परिवार का बहुत सम्मान है। मेरी दादी ग्रामीणों के लिए बहुत सारे सामाजिक कार्य करती हैं।
- हमारे गाँव में कई कुएँ, हैंडपंप और नदियाँ हैं। लोग दैनिक उपयोग, सिंचाई आदि के लिए इन स्रोतों से पानी लाते हैं।
- मेरे गाँव के लोग एक-दूसरे के साथ दृढ़ता से बंधे हैं। वे अपनी खुशियाँ एक साथ मनाते हैं और कठिन समय में एकजुट होते हैं।
- मेरे गाँव का हर व्यक्ति परिश्रमी है। किसान दिन भर खेत में कार्य करते हैं। महिलाएं घर के कामों का ध्यान रखती हैं और बुजुर्गों और बच्चों की देखभाल करती हैं।
- मेरे गांव में ऊंची इमारतें और चमचमाती लाइटें नहीं हैं। लेकिन इसमें शांति, गर्मजोशी और एक स्वागत योग्य रवैया है। मुझे अपने गाँव में अपने माता-पिता और दादा-दादी के साथ छुट्टियां बिताना बहुत पसंद है।
इसे भी पढ़ें: भ्रष्टाचार पर हिंदी में निबंध
Mera Gaon निबंध सभी उम्र के छात्रों के कौशल को बढ़ाता है। यह उन्हें उस विषय के बारे में अपने विचारों और भावनाओं को लिखने के लिए प्रेरित करता है। यह एक मानसिक व्यायाम है जो उनके मस्तिष्क को चार्ज करता है और लंबे समय में उच्च स्तर की रचनात्मकता के साथ उन्हें सर्वश्रेष्ठ बनाता है।
जब बच्चे माई विलेज निबंध ( my village essay in hindi ) लिखते हैं, तो वे विषय पर विचार करते हैं। हमारे द्वारा ऊपर 10 लाइनों में प्रदान किए गए बिंदुओं को शामिल करते हुए, बच्चों को Mera Gaon के लिए एक अच्छा निबंध फ्रेम करने के बारे में एक अच्छा विचार मिल सकता है। वे Mera Gaon Essay के साथ अपने विचार जोड़ सकते हैं।
इसे भी पढ़ें: बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना पर निबंध
Mera Gaon FAQ
Q.1. गांवों की सबसे अच्छी बात क्या है.
Ans. गांवों के बारे में कई अच्छी चीजें हैं जैसे कि ताजी हवा, नदियां, पेड़, प्रदूषण नहीं, मिट्टी की महक, ताजा और जैविक भोजन और कई और बेहतरीन चीजें।
Q.2. क्या गांवों में विकास की कमी है?
Ans. नहीं, गांवों का विकास बहुत अच्छी तरह से हुआ है, वे शहरों की तुलना में तेजी से विकास कर रहे हैं।
Q.3. क्या गाँव महत्वपूर्ण हैं?
Ans. हाँ, गाँव भारत की स्थलाकृति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं। गांव समुदाय सांस्कृतिक गतिविधियों और परंपराओं के केंद्र हैं। गांव से जुड़े जीवन मे मिटी से एक निकट सम्बन्ध महसूस होता है।
Q.4. क्या गाँवों में उन्नत सुविधाएँ हैं?
Ans. सभी गांव विकसित नहीं हैं। उनमें से कुछ में कुछ सुविधाएं हैं जैसे कि बिजली, पानी आदि। सरकार समुदायों की उन्नति के लिए विकास को सुविधाजनक बना रही है। अब धीरे – धीरे गांवो में भी विकास हो रहा है।
Q.5. गाँव में जीवन कैसा है?
Ans. एक गाँव में रहना एक सामंजस्यपूर्ण और शांतिपूर्ण जीवन शैली प्रदान करता है। एक गाँव में रहना आपको व्यस्त शहर के जीवन से मुक्ति प्रदान करता है। आप पागल भीड़ और उत्सुक चूहे-दौड़ से दूर रह सकते हैं। गाँव में होना सुंदर और सुखदायक है।
इसे भी पढ़ें: प्रदूषण पर हिंदी निबंध
आशा करता हूँ दोस्तों आपको हमारी यह पोस्ट मेरे गांव पर निबन्ध ( Mera Gaon Essay In Hindi ) काफी पसंद आई होगी तथा आपको काफी मदद मिलेगी। अगर आपको हमारी यह पोस्ट अच्छी लगे तो इसे अपने दोस्तों के साथ शेयर जरूर करें। अपना कीमती समय देने के लिए आपका बहुत – बहुत धन्यवाद।
TOPKRO.COM पर विजिट करने के लिए धन्यवाद, हम आपके साथ हमेशा विभिन्न प्रकार की सही और सटीक जानकारी देने की कोशिश करते रहेंगे।
गाँव का बदलता स्वरूप पर निबंध Gaon ka badalta swaroop in hindi
Gaon ka badalta swaroop in hindi.
बदलते इस जमाने में शहरों के साथ साथ गांव भी बदलाव की ओर अपना कदम बढ़ा रहे हैं । पुराने समय के गांव में सड़के नहीं होती थी, बिजली नहीं होती थी और पानी की व्यवस्था भी अभी जैसी नही थी ।जिससे किसानों को कई मुसीबतों का सामना करना पड़ता था । लेकिन आज बदलते इस जमाने में गांवों में भी बहुत सारी सुविधाएं उपलब्ध करा दी गई हैं और गांव के किसान भी इन सुविधाओं का पूरी तरह से लाभ उठा रहे हैं । पहले शहरों में टीवी, इंटरनेट जैसी सुविधाएं होती थी लेकिन चार- पांच सालों के अंदर गांव के लोग भी इन सुविधाओं का लाभ उठा रहे हैं जिससे हमारे गांव का विकास हो पाना संभव हुआ है।
भारत के सभी गांव में लगभग बिजली पहुंच चुकी है कुछ थोड़े ही गांव बचे होंगे जहां पर बिजली नहीं लगी होगी इस विकास के साथ-साथ कुछ समय में भारत के सभी गांवों में बिजली पहुंचा दी जाएगी । शहर की हर सड़क को गांव से जोड़ दिया गया है हर गांव में हॉस्पिटल, स्कूल जैसी सुविधाएं उपलब्ध करा दी गई हैं जिससे किसान को फायदा हो और वह अपनी जिंदगी खुशी से जी सके और अपने परिवार के सपनों को पूरा कर सके ।
पहले के जमाने में जब कोई गांव से शहर की ओर जाता था तो बैलगाड़ी का उपयोग किया जाता था । आज के इस जमाने में सभी के घरों में मोटरसाइकिल जैसी सुविधाएं हैं । जिससे किसान आसानी से गांव से शहर की ओर जा रहा है और शहर से अपनी जरूरतों को पूरा कर रहा है । पहले जो रास्ते होते थे वह कच्चे होते थे जिसके कारण किसानों को गांव से शहर की ओर जाने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता था और किसान बड़ा परेशान भी होता था लेकिन जब से भारत के गांव मे पक्की सड़कों का निर्माण किया गया है तब से गांव के लोग सुविधापूर्वक गांव से शहर की ओर आते जाते रहते हैं ।
गांव के इस बदलते स्वरूप से हम कल्पना कर सकते हैं की हमारे गांव पहले से कितने बदल गए हैं । पहले के जो किसान खेती करते थे वे हल जोता करते थे । जिससे उनको बहुत मेहनत करनी पड़ती थी लेकिन आज बदलते इस दौर में किसानों को बहुत सारी सुविधाएं उपलब्ध हो चुकी है । जिसके माध्यम से किसान खेती को आसानी से कर सकता है और नए आयामों के माध्यम से नए – नए तरीके से खेती कर सकता है । जिससे दुगनी पैदावार हो सके और वह किसान अपने परिवार के सपनों को पूरा कर सके ।
आज हम देखते हैं कि गांव के सभी लोग इंटरनेट का इस्तेमाल कर रहे हैं । इंटरनेट के माध्यम से हम किसी भी समस्या का समाधान आसानी से ढूंढ सकते हैं खेती के विषय में कई जानकारियां हमको इंटरनेट पर मिल जाती है और उसी जानकारी को समझकर हम खेती कर सकते हैं जिससे हमारी आमदनी दुगनी हो जाती है ।
पहले के जो गांव थे वह गांव शिक्षा के छेत्र में पिछड़े हुए थे लेकिन अब लगभग सभी गांवों में स्कूल खुल चुके हैं और गांव के लोगों को आसानी से शिक्षा प्राप्त हो रही है । पहले जब गांव के बच्चो को पढ़ाना होता था तो उनको शहर पढ़ने के लिए भेजा जाता था । लेकिन अब सभी गांव मैं ही स्कूल खुल गए हैं जहां पर सभी बच्चे पढ़ सकते हैं, बच्चों के साथ साथ गांव के लोगो को भी प्रौढ़ शिक्षा दी जातीे हैं जिससे गांव का किसान शिक्षित होगा ।
पुराने जमाने में शहर के लोग ही सफलता प्राप्त करते थे लेकिन आज के जमाने में गांव के सभी लोग सफलता की ओर बढ़ रहे हैं । गांव के बच्चे गांव में पढ़ाई कर शहर में ग्रेजुएशन करने के बाद सरकारी नौकरी की तैयारी कर नौकरियां करने लगे हैं जिससे किसान का विकास हो रहा है। खेती के साथ साथ रोजगार भी मिल रहा है । शहरों के साथ साथ हमारे देश के गांव का भी विकास हुआ है और गांव के किसान अपनी जिंदगी खुशी से जी रहे हैं। हमारे देश को समृद्धशाली देश बनाने के लिए हमें हमारे गांव के किसानों को समृद्धशाली बनाना होगा जिससे हमारा देश विकासशील देश बन सकेगा । वास्तव मे गाँव का स्वरूप तेजी से बदल रहा हैं।
- आदर्श गांव पर निबंध Adarsh gaon essay in hindi
- गाँव का विकास पर निबंध Gaon ka vikas essay in hindi
इस आर्टिकल Gaon ka badalta swaroop in hindi को शेयर जरुर करे.
Related Posts
kamlesh kushwah
Thanks for essay it’s very creative
Ok nice…
Very nice essay
Your email address will not be published. Required fields are marked *
Email Address: *
Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.
hindimeaning.com
भारत के गाँव पर निबंध-Essay On Indian Village In Hindi
भारत के गाँव पर निबंध :.
भूमिका : हमारे भारत को गांवों का देश कहा जाता है। भारत की अस्सी प्रतिशत आबादी गांवों में रहती है। गांवों के लोगों का जीवन नगरो में रहने वाले लोगों से बिलकुल अलग होता है। गाँव के लोग भोले होते हैं। वे कड़ी मेहनत और परिश्रम करके दूसरों के पेट भरने के लिए अनाज उगाते हैं।
वे कई शताब्दियों से परंपराओं के आधार पर अपना जीवन जीते आ रहे हैं लेकिन हमारे गाँव शिवपुरा में लोग सामाजिक संबंध व्यवस्था, भाईचारे और सहयोग के साथ अपना जीवन व्यतीत कर रहे हैं। गांवों में हमे भारतीय संस्क्रति के दर्शन करने को मिलते हैं।
गाँव की स्थिति : हमारा गाँव जमुना के तट पर स्थित है। करनाल के बीस किलोमीटर की दूरी पर बसा एक गाँव हैं शिवपुरा यह हमारा गाँव है। मुख्य सडक से गाँव तक की पक्की लिंक रोड है। सड़कों के दोनों ओर छायादार वृक्ष लगे हुए हैं। गाँव में घुसते ही वहाँ पर एक सुंदर तालाब है।
तालाब को पक्के घाट से बनाया गया है। तालाब का दूसरा सिरा खेतों से लगा हुआ है। तालाब का पानी साफ और स्वच्छ है। तालाब की दूसरी दिशा में पंचायत घर है। हमारे गाँव में बनी सारी नालियां पक्की हैं। हमारे गाँव में बिजली और पीने के पानी की अच्छी व्यवस्था है। यहाँ पर लगभग चार सौ परिवार रहते हैं।
गाँव के लोगों का व्यवसाय : हमारे गाँव के लोगों का व्यवसाय कृषि करना और पशुपालन करना है। हमारे गाँव के किसान आधुनिक ढंग से बनाए गये कृषि के यंत्रों का प्रयोग करते हैं। हमारे गाँव में बैलों की जगह पर ट्रैक्टरों का प्रयोग किया जाता है। अच्छे किस्म के बीजों को प्रयोग में लाया जाता है।
खाद का प्रयोग आवश्यकतानुसार ही किया जाता है। हमारे गाँव में अच्छी नस्लों वाली भैसों और गायों का पालन किया जाता है। हमारे गांव के किसान दूध बेचकर अच्छा धन कमाते हैं। हमारे गाँव में गेंहूँ, चावल, गन्ना, ज्वार, बाजरा सरसों और मक्का की खेती की जाती है।
गाँव की पंचायत : हमारे गाँव का प्रत्येक कार्य गाँव की पंचायत के द्वारा किया जाता है। हमारे गाँव में सात पंचों के साथ-साथ एक सरपंच भी है। हमारे गाँव में पुरुष और महिला में भेदभाव नहीं किया जाता है इसी वजह से दो महिलाएं पंच हैं जो लोगों के साथ मिलकर गाँव के विकास का काम करती हैं।
चौधरी राम सिंह हमारे गाँव के सरपंच हैं। चौधरी राम सिंह ने बी० ए० पास किया है और हमारे गाँव के सबसे ईमानदार और सम्मानित व्यक्ति हैं। गाँव के कार्यों के लिए बहुत सी समितियों का गठन किया गया है। सफाई समिति हमारे गाँव की गलियों, नालियों, तालाब और नालों के आस-पास की सफाई का काम करवाती हैं।
यह समिति लोगों के लिए पीने के पानी की व्यवस्था भी करती हैं। बच्चों के पढने के लिए सरकारी स्कूल भी बनवाये गये हैं। बच्चों को उचित शिक्षा व्यवस्था के लिए शिक्षा समिति का भी गठन किया गया है। गरीब लोगों की मदद करने के लिए एक समिति है उसके सरपंच राम सिंह हैं।
स्वस्थ्य प्रबंध और डाक व्यवस्था : हमारे गाँव में दस बिस्तर का एक अस्पताल भी है। इसमें डॉक्टर और नर्सों की भी व्यवस्था है। इस अस्पताल में गाँव के आस-पास के सभी लोगों का इलाज किया जाता है। हमारे गाँव में डाक खाने की भी व्यवस्था है। वह हर रोज नगर से यहाँ पर आता है। यहाँ पर एक डाकिया भी है जो हमारे ही गाँव का है। लोगों की जन सेवा के लिए हमारे गाँव में टेलीफोन की व्यवस्था की गई है।
खेल-कूद और मेलों का प्रबंध : हमारे गाँव में खेल कूद की व्यवस्था भी की गई है। शाम को युवक स्कूल के मैदान में फुटबॉल और वॉलीबाल खेलते हैं। खेलों की सामग्री पंचायत द्वारा पूरी की गई है। हमारे गाँव की क्रिकेट की टीम पूरे ब्लॉक में पहले नंबर पर रहती है। हमारे गाँव में लोगों को कुश्ती भी सिखाई जाती है। जगराम हमारे गाँव को कुश्ती के लिए प्रेरित करते हैं। हमारे गाँव में हर साल बसंत पंचमी पर मेला लगता है और आस-पास के गाँव इस मेले में भाग लेने के लिए आते हैं।
विकास की ओर अग्रसर : हमारा गाँव विकास की तरफ हमेशा आगे बढ़ता रहता है। यहाँ की सरकार ने दुर्बल लोगों के लिए चौपालें बनाई हैं। छोटे से उद्योग धंधों की व्यवस्था के लिए लोगों की ऋण की व्यवस्था भी की गई है। कृषि के विकास के लिए सहकारी समिति से ऋण दिया जाता है। किसानों को बीज और खाद भी सहकारी समिति ही देती है। गाँव में सभी को साक्षर बनाने के लिए शिक्षा की भी व्यवस्था की गई है।
Related posts:
- भाग्य और पुरुषार्थ पर निबंध-Essay on Bhagya aur Purusharth
- प्रातःकाल का भ्रमण पर निबंध-Paragraph On Morning Walk In Hindi
- यदि मैं शिक्षा मंत्री होता पर निबंध
- ई-कॉमर्स व्यवसाय पर निबंध
- बसंत ऋतु पर निबंध-Essay On Basant Ritu In Hindi
- कल्पना चावला पर निबंध-Kalpana Chawla Essay In Hindi
- झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई पर निबंध-Rani Laxmi Bai In Hindi
- मुंशी प्रेमचंद पर निबंध-Munshi Premchand Par Nibandh
- नैतिक शिक्षा पर निबंध-Essay on The Inevitability of Moral Education in Hindi
- वर्तमान शिक्षा प्रणाली-Essay on Modern Education System in Hindi
- मेरे जीवन का लक्ष्य पर निबंध-My Aim In Life Essay In Hindi
- रक्षाबंधन पर निबंध-Essay On Raksha Bandhan In Hindi
- वायु प्रदूषण पर निबंध-Essay On Air Pollution In Hindi (100, 200, 300, 400, 500, 700, 1000 Words)
- क्रिसमस पर निबंध-Essay on Christmas In Hindi
- शिक्षक पर निबंध-Essay On Teacher In Hindi
- जल बचाओ पर निबंध-Essay On Save Water In Iindi
- इंटरनेट पर निबंध-Essay On Internet In Hindi
- मित्रता पर निबंध-Essay On Friendship In Hindi (100, 200, 300, 400, 500, 700, 1000 Words)
- समाचार पत्र पर निबंध-Essay On Newspaper In Hindi
- Essay On Beti Bachao Beti Padhao In Hindi For Class 5,6,7 And 8
Question and Answer forum for K12 Students
Hindi Essay (Hindi Nibandh) | 100 विषयों पर हिंदी निबंध लेखन – Essays in Hindi on 100 Topics
हिंदी निबंध: हिंदी हमारी राष्ट्रीय भाषा है। हमारे हिंदी भाषा कौशल को सीखना और सुधारना भारत के अधिकांश स्थानों में सेवा करने के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। स्कूली दिनों से ही हम हिंदी भाषा सीखते थे। कुछ स्कूल और कॉलेज हिंदी के अतिरिक्त बोर्ड और निबंध बोर्ड में निबंध लेखन का आयोजन करते हैं, छात्रों को बोर्ड परीक्षा में हिंदी निबंध लिखने की आवश्यकता होती है।
निबंध – Nibandh In Hindi – Hindi Essay Topics
- सच्चा धर्म पर निबंध – (True Religion Essay)
- राष्ट्र निर्माण में युवाओं का योगदान निबंध – (Role Of Youth In Nation Building Essay)
- अतिवृष्टि पर निबंध – (Flood Essay)
- राष्ट्र निर्माण में शिक्षक की भूमिका पर निबंध – (Role Of Teacher In Nation Building Essay)
- नक्सलवाद पर निबंध – (Naxalism In India Essay)
- साहित्य समाज का दर्पण है हिंदी निबंध – (Literature And Society Essay)
- नशे की दुष्प्रवृत्ति निबंध – (Drug Abuse Essay)
- मन के हारे हार है मन के जीते जीत पर निबंध – (It is the Mind which Wins and Defeats Essay)
- एक राष्ट्र एक कर : जी०एस०टी० ”जी० एस०टी० निबंध – (Gst One Nation One Tax Essay)
- युवा पर निबंध – (Youth Essay)
- अक्षय ऊर्जा : सम्भावनाएँ और नीतियाँ निबंध – (Renewable Sources Of Energy Essay)
- मूल्य-वृदधि की समस्या निबंध – (Price Rise Essay)
- परहित सरिस धर्म नहिं भाई निबंध – (Philanthropy Essay)
- पर्वतीय यात्रा पर निबंध – (Parvatiya Yatra Essay)
- असंतुलित लिंगानुपात निबंध – (Sex Ratio Essay)
- मनोरंजन के आधुनिक साधन पर निबंध – (Means Of Entertainment Essay)
- मेट्रो रेल पर निबंध – (Metro Rail Essay)
- दूरदर्शन पर निबंध – (Importance Of Doordarshan Essay)
- दूरदर्शन और युवावर्ग पर निबंध – (Doordarshan Essay)
- बस्ते का बढ़ता बोझ पर निबंध – (Baste Ka Badhta Bojh Essay)
- महानगरीय जीवन पर निबंध – (Metropolitan Life Essay)
- दहेज नारी शक्ति का अपमान है पे निबंध – (Dowry Problem Essay)
- सुरीला राजस्थान निबंध – (Folklore Of Rajasthan Essay)
- राजस्थान में जल संकट पर निबंध – (Water Scarcity In Rajasthan Essay)
- खुला शौच मुक्त गाँव पर निबंध – (Khule Me Soch Mukt Gaon Par Essay)
- रंगीला राजस्थान पर निबंध – (Rangila Rajasthan Essay)
- राजस्थान के लोकगीत पर निबंध – (Competition Of Rajasthani Folk Essay)
- मानसिक सुख और सन्तोष निबंध – (Happiness Essay)
- मेरे जीवन का लक्ष्य पर निबंध नंबर – (My Aim In Life Essay)
- राजस्थान में पर्यटन पर निबंध – (Tourist Places Of Rajasthan Essay)
- नर हो न निराश करो मन को पर निबंध – (Nar Ho Na Nirash Karo Man Ko Essay)
- राजस्थान के प्रमुख लोक देवता पर निबंध – (The Major Folk Deities Of Rajasthan Essay)
- देशप्रेम पर निबंध – (Patriotism Essay)
- पढ़ें बेटियाँ, बढ़ें बेटियाँ योजना यूपी में लागू निबंध – (Read Daughters, Grow Daughters Essay)
- सत्संगति का महत्व पर निबंध – (Satsangati Ka Mahatva Nibandh)
- सिनेमा और समाज पर निबंध – (Cinema And Society Essay)
- विपत्ति कसौटी जे कसे ते ही साँचे मीत पर निबंध – (Vipatti Kasauti Je Kase Soi Sache Meet Essay)
- लड़का लड़की एक समान पर निबंध – (Ladka Ladki Ek Saman Essay)
- विज्ञापन के प्रभाव – (Paragraph Speech On Vigyapan Ke Prabhav Essay)
- रेलवे प्लेटफार्म का दृश्य पर निबंध – (Railway Platform Ka Drishya Essay)
- समाचार-पत्र का महत्त्व पर निबंध – (Importance Of Newspaper Essay)
- समाचार-पत्रों से लाभ पर निबंध – (Samachar Patr Ke Labh Essay)
- समाचार पत्र पर निबंध (Newspaper Essay in Hindi)
- व्यायाम का महत्व निबंध – (Importance Of Exercise Essay)
- विद्यार्थी जीवन पर निबंध – (Student Life Essay)
- विद्यार्थी और राजनीति पर निबंध – (Students And Politics Essay)
- विद्यार्थी और अनुशासन पर निबंध – (Vidyarthi Aur Anushasan Essay)
- मेरा प्रिय त्यौहार निबंध – (My Favorite Festival Essay)
- मेरा प्रिय पुस्तक पर निबंध – (My Favourite Book Essay)
- पुस्तक मेला पर निबंध – (Book Fair Essay)
- मेरा प्रिय खिलाड़ी निबंध हिंदी में – (My Favorite Player Essay)
- सर्वधर्म समभाव निबंध – (All Religions Are Equal Essay)
- शिक्षा में खेलकूद का स्थान निबंध – (Shiksha Mein Khel Ka Mahatva Essay)a
- खेल का महत्व पर निबंध – (Importance Of Sports Essay)
- क्रिकेट पर निबंध – (Cricket Essay)
- ट्वेन्टी-20 क्रिकेट पर निबंध – (T20 Cricket Essay)
- मेरा प्रिय खेल-क्रिकेट पर निबंध – (My Favorite Game Cricket Essay)
- पुस्तकालय पर निबंध – (Library Essay)
- सूचना प्रौद्योगिकी और मानव कल्याण निबंध – (Information Technology Essay)
- कंप्यूटर और टी.वी. का प्रभाव निबंध – (Computer Aur Tv Essay)
- कंप्यूटर की उपयोगिता पर निबंध – (Computer Ki Upyogita Essay)
- कंप्यूटर शिक्षा पर निबंध – (Computer Education Essay)
- कंप्यूटर के लाभ पर निबंध – (Computer Ke Labh Essay)
- इंटरनेट पर निबंध – (Internet Essay)
- विज्ञान: वरदान या अभिशाप पर निबंध – (Science Essay)
- शिक्षा का गिरता स्तर पर निबंध – (Falling Price Level Of Education Essay)
- विज्ञान के गुण और दोष पर निबंध – (Advantages And Disadvantages Of Science Essay)
- विद्यालय में स्वास्थ्य शिक्षा निबंध – (Health Education Essay)
- विद्यालय का वार्षिकोत्सव पर निबंध – (Anniversary Of The School Essay)
- विज्ञान के वरदान पर निबंध – (The Gift Of Science Essays)
- विज्ञान के चमत्कार पर निबंध (Wonder Of Science Essay in Hindi)
- विकास पथ पर भारत निबंध – (Development Of India Essay)
- कम्प्यूटर : आधुनिक यन्त्र–पुरुष – (Computer Essay)
- मोबाइल फोन पर निबंध (Mobile Phone Essay)
- मेरी अविस्मरणीय यात्रा पर निबंध – (My Unforgettable Trip Essay)
- मंगल मिशन (मॉम) पर निबंध – (Mars Mission Essay)
- विज्ञान की अद्भुत खोज कंप्यूटर पर निबंध – (Vigyan Ki Khoj Kampyootar Essay)
- भारत का उज्जवल भविष्य पर निबंध – (Freedom Is Our Birthright Essay)
- सारे जहाँ से अच्छा हिंदुस्तान हमारा निबंध इन हिंदी – (Sare Jahan Se Achha Hindustan Hamara Essay)
- डिजिटल इंडिया पर निबंध (Essay on Digital India)
- भारतीय संस्कृति पर निबंध – (India Culture Essay)
- राष्ट्रभाषा हिन्दी निबंध – (National Language Hindi Essay)
- भारत में जल संकट निबंध – (Water Crisis In India Essay)
- कौशल विकास योजना पर निबंध – (Skill India Essay)
- हमारा प्यारा भारत वर्ष पर निबंध – (Mera Pyara Bharat Varsh Essay)
- अनेकता में एकता : भारत की विशेषता – (Unity In Diversity Essay)
- महंगाई की समस्या पर निबन्ध – (Problem Of Inflation Essay)
- महंगाई पर निबंध – (Mehangai Par Nibandh)
- आरक्षण : देश के लिए वरदान या अभिशाप निबंध – (Reservation System Essay)
- मेक इन इंडिया पर निबंध (Make In India Essay In Hindi)
- ग्रामीण समाज की समस्याएं पर निबंध – (Problems Of Rural Society Essay)
- मेरे सपनों का भारत पर निबंध – (India Of My Dreams Essay)
- भारतीय राजनीति में जातिवाद पर निबंध – (Caste And Politics In India Essay)
- भारतीय नारी पर निबंध – (Indian Woman Essay)
- आधुनिक नारी पर निबंध – (Modern Women Essay)
- भारतीय समाज में नारी का स्थान निबंध – (Women’s Role In Modern Society Essay)
- चुनाव पर निबंध – (Election Essay)
- चुनाव स्थल के दृश्य का वर्णन निबन्ध – (An Election Booth Essay)
- पराधीन सपनेहुँ सुख नाहीं पर निबंध – (Dependence Essay)
- परमाणु शक्ति और भारत हिंदी निंबध – (Nuclear Energy Essay)
- यदि मैं प्रधानमंत्री होता तो हिंदी निबंध – (If I were the Prime Minister Essay)
- आजादी के 70 साल निबंध – (India ofter 70 Years Of Independence Essay)
- भारतीय कृषि पर निबंध – (Indian Farmer Essay)
- संचार के साधन पर निबंध – (Means Of Communication Essay)
- भारत में दूरसंचार क्रांति हिंदी में निबंध – (Telecom Revolution In India Essay)
- दूरसंचार में क्रांति निबंध – (Revolution In Telecommunication Essay)
- राष्ट्रीय एकता का महत्व पर निबंध (Importance Of National Integration)
- भारत की ऋतुएँ पर निबंध – (Seasons In India Essay)
- भारत में खेलों का भविष्य पर निबंध – (Future Of Sports Essay)
- किसी खेल (मैच) का आँखों देखा वर्णन पर निबंध – (Kisi Match Ka Aankhon Dekha Varnan Essay)
- राजनीति में अपराधीकरण पर निबंध – (Criminalization Of Indian Politics Essay)
- प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर हिन्दी निबंध – (Narendra Modi Essay)
- बाल मजदूरी पर निबंध – (Child Labour Essay)
- भ्रष्टाचार पर निबंध (Corruption Essay in Hindi)
- महिला सशक्तिकरण पर निबंध – (Women Empowerment Essay)
- बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध (Beti Bachao Beti Padhao)
- गरीबी पर निबंध (Poverty Essay in Hindi)
- स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay)
- बाल विवाह एक अभिशाप पर निबंध – (Child Marriage Essay)
- राष्ट्रीय एकीकरण पर निबंध – (Importance of National Integration Essay)
- आतंकवाद पर निबंध (Terrorism Essay in hindi)
- सड़क सुरक्षा पर निबंध (Road Safety Essay in Hindi)
- बढ़ती भौतिकता घटते मानवीय मूल्य पर निबंध – (Increasing Materialism Reducing Human Values Essay)
- गंगा की सफाई देश की भलाई पर निबंध – (The Good Of The Country: Cleaning The Ganges Essay)
- सत्संगति पर निबंध – (Satsangati Essay)
- महिलाओं की समाज में भूमिका पर निबंध – (Women’s Role In Society Today Essay)
- यातायात के नियम पर निबंध – (Traffic Safety Essay)
- बेटी बचाओ पर निबंध – (Beti Bachao Essay)
- सिनेमा या चलचित्र पर निबंध – (Cinema Essay In Hindi)
- परहित सरिस धरम नहिं भाई पर निबंध – (Parhit Saris Dharam Nahi Bhai Essay)
- पेड़-पौधे का महत्व निबंध – (The Importance Of Trees Essay)
- वर्तमान शिक्षा प्रणाली – (Modern Education System Essay)
- महिला शिक्षा पर निबंध (Women Education Essay In Hindi)
- महिलाओं की समाज में भूमिका पर निबंध (Women’s Role In Society Essay In Hindi)
- यदि मैं प्रधानाचार्य होता पर निबंध – (If I Was The Principal Essay)
- बेरोजगारी पर निबंध (Unemployment Essay)
- शिक्षित बेरोजगारी की समस्या निबंध – (Problem Of Educated Unemployment Essay)
- बेरोजगारी समस्या और समाधान पर निबंध – (Unemployment Problem And Solution Essay)
- दहेज़ प्रथा पर निबंध (Dowry System Essay in Hindi)
- जनसँख्या पर निबंध – (Population Essay)
- श्रम का महत्त्व निबंध – (Importance Of Labour Essay)
- जनसंख्या वृद्धि के दुष्परिणाम पर निबंध – (Problem Of Increasing Population Essay)
- भ्रष्टाचार : समस्या और निवारण निबंध – (Corruption Problem And Solution Essay)
- मीडिया और सामाजिक उत्तरदायित्व निबंध – (Social Responsibility Of Media Essay)
- हमारे जीवन में मोबाइल फोन का महत्व पर निबंध – (Importance Of Mobile Phones Essay In Our Life)
- विश्व में अत्याधिक जनसंख्या पर निबंध – (Overpopulation in World Essay)
- भारत में बेरोजगारी की समस्या पर निबंध – (Problem Of Unemployment In India Essay)
- गणतंत्र दिवस पर निबंध – (Republic Day Essay)
- भारत के गाँव पर निबंध – (Indian Village Essay)
- गणतंत्र दिवस परेड पर निबंध – (Republic Day of India Essay)
- गणतंत्र दिवस के महत्व पर निबंध – (2020 – Republic Day Essay)
- महात्मा गांधी पर निबंध (Mahatma Gandhi Essay)
- ए.पी.जे. अब्दुल कलाम पर निबंध – (Dr. A.P.J. Abdul Kalam Essay)
- परिवार नियोजन पर निबंध – (Family Planning In India Essay)
- मेरा सच्चा मित्र पर निबंध – (My Best Friend Essay)
- अनुशासन पर निबंध (Discipline Essay)
- देश के प्रति मेरे कर्त्तव्य पर निबंध – (My Duty Towards My Country Essay)
- समय का सदुपयोग पर निबंध – (Samay Ka Sadupyog Essay)
- नागरिकों के अधिकारों और कर्तव्यों पर निबंध (Rights And Responsibilities Of Citizens Essay In Hindi)
- ग्लोबल वार्मिंग पर निबंध – (Global Warming Essay)
- जल जीवन का आधार निबंध – (Jal Jeevan Ka Aadhar Essay)
- जल ही जीवन है निबंध – (Water Is Life Essay)
- प्रदूषण की समस्या और समाधान पर लघु निबंध – (Pollution Problem And Solution Essay)
- प्रकृति संरक्षण पर निबंध (Conservation of Nature Essay In Hindi)
- वन जीवन का आधार निबंध – (Forest Essay)
- पर्यावरण बचाओ पर निबंध (Environment Essay)
- पर्यावरण प्रदूषण पर निबंध (Environmental Pollution Essay in Hindi)
- पर्यावरण सुरक्षा पर निबंध (Environment Protection Essay In Hindi)
- बढ़ते वाहन घटता जीवन पर निबंध – (Vehicle Pollution Essay)
- योग पर निबंध (Yoga Essay)
- मिलावटी खाद्य पदार्थ और स्वास्थ्य पर निबंध – (Adulterated Foods And Health Essay)
- प्रकृति निबंध – (Nature Essay In Hindi)
- वर्षा ऋतु पर निबंध – (Rainy Season Essay)
- वसंत ऋतु पर निबंध – (Spring Season Essay)
- बरसात का एक दिन पर निबंध – (Barsat Ka Din Essay)
- अभ्यास का महत्व पर निबंध – (Importance Of Practice Essay)
- स्वास्थ्य ही धन है पर निबंध – (Health Is Wealth Essay)
- महाकवि तुलसीदास का जीवन परिचय निबंध – (Tulsidas Essay)
- मेरा प्रिय कवि निबंध – (My Favourite Poet Essay)
- मेरी प्रिय पुस्तक पर निबंध – (My Favorite Book Essay)
- कबीरदास पर निबन्ध – (Kabirdas Essay)
इसलिए, यह जानना और समझना बहुत महत्वपूर्ण है कि विषय के बारे में संक्षिप्त और कुरकुरा लाइनों के साथ एक आदर्श हिंदी निबन्ध कैसे लिखें। साथ ही, कक्षा 1 से 10 तक के छात्र उदाहरणों के साथ इस पृष्ठ से विभिन्न हिंदी निबंध विषय पा सकते हैं। तो, छात्र आसानी से स्कूल और प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए हिंदी में निबन्ध कैसे लिखें, इसकी तैयारी कर सकते हैं। इसके अलावा, आप हिंदी निबंध लेखन की संरचना, हिंदी में एक प्रभावी निबंध लिखने के लिए टिप्स आदि के बारे में कुछ विस्तृत जानकारी भी प्राप्त कर सकते हैं। ठीक है, आइए हिंदी निबन्ध के विवरण में गोता लगाएँ।
हिंदी निबंध लेखन – स्कूल और प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए हिंदी में निबन्ध कैसे लिखें?
प्रभावी निबंध लिखने के लिए उस विषय के बारे में बहुत अभ्यास और गहन ज्ञान की आवश्यकता होती है जिसे आपने निबंध लेखन प्रतियोगिता या बोर्ड परीक्षा के लिए चुना है। छात्रों को वर्तमान में हो रही स्थितियों और हिंदी में निबंध लिखने से पहले विषय के बारे में कुछ महत्वपूर्ण बिंदुओं के बारे में जानना चाहिए। हिंदी में पावरफुल निबन्ध लिखने के लिए सभी को कुछ प्रमुख नियमों और युक्तियों का पालन करना होगा।
हिंदी निबन्ध लिखने के लिए आप सभी को जो प्राथमिक कदम उठाने चाहिए उनमें से एक सही विषय का चयन करना है। इस स्थिति में आपकी सहायता करने के लिए, हमने सभी प्रकार के हिंदी निबंध विषयों पर शोध किया है और नीचे सूचीबद्ध किया है। एक बार जब हम सही विषय चुन लेते हैं तो विषय के बारे में सभी सामान्य और तथ्यों को एकत्र करते हैं और अपने पाठकों को संलग्न करने के लिए उन्हें अपने निबंध में लिखते हैं।
तथ्य आपके पाठकों को अंत तक आपके निबंध से चिपके रहेंगे। इसलिए, हिंदी में एक निबंध लिखते समय मुख्य बिंदुओं पर ध्यान केंद्रित करें और किसी प्रतियोगिता या बोर्ड या प्रतिस्पर्धी जैसी परीक्षाओं में अच्छा स्कोर करें। ये हिंदी निबंध विषय पहली कक्षा से 10 वीं कक्षा तक के सभी कक्षा के छात्रों के लिए उपयोगी हैं। तो, उनका सही ढंग से उपयोग करें और हिंदी भाषा में एक परिपूर्ण निबंध बनाएं।
हिंदी भाषा में दीर्घ और लघु निबंध विषयों की सूची
हिंदी निबन्ध विषयों और उदाहरणों की निम्न सूची को विभिन्न श्रेणियों में विभाजित किया गया है जैसे कि प्रौद्योगिकी, पर्यावरण, सामान्य चीजें, अवसर, खेल, खेल, स्कूली शिक्षा, और बहुत कुछ। बस अपने पसंदीदा हिंदी निबंध विषयों पर क्लिक करें और विषय पर निबंध के लघु और लंबे रूपों के साथ विषय के बारे में पूरी जानकारी आसानी से प्राप्त करें।
विषय के बारे में समग्र जानकारी एकत्रित करने के बाद, अपनी लाइनें लागू करने का समय और हिंदी में एक प्रभावी निबन्ध लिखने के लिए। यहाँ प्रचलित सभी विषयों की जाँच करें और किसी भी प्रकार की प्रतियोगिताओं या परीक्षाओं का प्रयास करने से पहले जितना संभव हो उतना अभ्यास करें।
हिंदी निबंधों की संरचना
उपरोक्त छवि आपको हिंदी निबन्ध की संरचना के बारे में प्रदर्शित करती है और आपको निबन्ध को हिन्दी में प्रभावी ढंग से रचने के बारे में कुछ विचार देती है। यदि आप स्कूल या कॉलेजों में निबंध लेखन प्रतियोगिता में किसी भी विषय को लिखते समय निबंध के इन हिस्सों का पालन करते हैं तो आप निश्चित रूप से इसमें पुरस्कार जीतेंगे।
इस संरचना को बनाए रखने से निबंध विषयों का अभ्यास करने से छात्रों को विषय पर ध्यान केंद्रित करने और विषय के बारे में छोटी और कुरकुरी लाइनें लिखने में मदद मिलती है। इसलिए, यहां संकलित सूची में से अपने पसंदीदा या दिलचस्प निबंध विषय को हिंदी में चुनें और निबंध की इस मूल संरचना का अनुसरण करके एक निबंध लिखें।
हिंदी में एक सही निबंध लिखने के लिए याद रखने वाले मुख्य बिंदु
अपने पाठकों को अपने हिंदी निबंधों के साथ संलग्न करने के लिए, आपको हिंदी में एक प्रभावी निबंध लिखते समय कुछ सामान्य नियमों का पालन करना चाहिए। कुछ युक्तियाँ और नियम इस प्रकार हैं:
- अपना हिंदी निबंध विषय / विषय दिए गए विकल्पों में से समझदारी से चुनें।
- अब उन सभी बिंदुओं को याद करें, जो निबंध लिखने शुरू करने से पहले विषय के बारे में एक विचार रखते हैं।
- पहला भाग: परिचय
- दूसरा भाग: विषय का शारीरिक / विस्तार विवरण
- तीसरा भाग: निष्कर्ष / अंतिम शब्द
- एक निबंध लिखते समय सुनिश्चित करें कि आप एक सरल भाषा और शब्दों का उपयोग करते हैं जो विषय के अनुकूल हैं और एक बात याद रखें, वाक्यों को जटिल न बनाएं,
- जानकारी के हर नए टुकड़े के लिए निबंध लेखन के दौरान एक नए पैराग्राफ के साथ इसे शुरू करें।
- अपने पाठकों को आकर्षित करने या उत्साहित करने के लिए जहाँ कहीं भी संभव हो, कुछ मुहावरे या कविताएँ जोड़ें और अपने हिंदी निबंध के साथ संलग्न रहें।
- विषय या विषय को बीच में या निबंध में जारी रखने से न चूकें।
- यदि आप संक्षेप में हिंदी निबंध लिख रहे हैं तो इसे 200-250 शब्दों में समाप्त किया जाना चाहिए। यदि यह लंबा है, तो इसे 400-500 शब्दों में समाप्त करें।
- महत्वपूर्ण हिंदी निबंध विषयों का अभ्यास करते समय इन सभी युक्तियों और बिंदुओं को ध्यान में रखते हुए, आप निश्चित रूप से किसी भी प्रतियोगी परीक्षाओं में कुरकुरा और सही निबंध लिख सकते हैं या फिर सीबीएसई, आईसीएसई जैसी बोर्ड परीक्षाओं में।
हिंदी निबंध लेखन पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
1. मैं अपने हिंदी निबंध लेखन कौशल में सुधार कैसे कर सकता हूं? अपने हिंदी निबंध लेखन कौशल में सुधार करने के सर्वोत्तम तरीकों में से एक किताबों और समाचार पत्रों को पढ़ना और हिंदी में कुछ जानकारीपूर्ण श्रृंखलाओं को देखना है। ये चीजें आपकी हिंदी शब्दावली में वृद्धि करेंगी और आपको हिंदी में एक प्रेरक निबंध लिखने में मदद करेंगी।
2. CBSE, ICSE बोर्ड परीक्षा के लिए हिंदी निबंध लिखने में कितना समय देना चाहिए? हिंदी बोर्ड परीक्षा में एक प्रभावी निबंध लिखने पर 20-30 का खर्च पर्याप्त है। क्योंकि परीक्षा हॉल में हर मिनट बहुत महत्वपूर्ण है। इसलिए, सभी वर्गों के लिए समय बनाए रखना महत्वपूर्ण है। परीक्षा से पहले सभी हिंदी निबन्ध विषयों से पहले अभ्यास करें और परीक्षा में निबंध लेखन पर खर्च करने का समय निर्धारित करें।
3. हिंदी में निबंध के लिए 200-250 शब्द पर्याप्त हैं? 200-250 शब्दों वाले हिंदी निबंध किसी भी स्थिति के लिए बहुत अधिक हैं। इसके अलावा, पाठक केवल आसानी से पढ़ने और उनसे जुड़ने के लिए लघु निबंधों में अधिक रुचि दिखाते हैं।
4. मुझे छात्रों के लिए सर्वश्रेष्ठ औपचारिक और अनौपचारिक हिंदी निबंध विषय कहां मिल सकते हैं? आप हमारे पेज से कक्षा 1 से 10 तक के छात्रों के लिए हिंदी में विभिन्न सामान्य और विशिष्ट प्रकार के निबंध विषय प्राप्त कर सकते हैं। आप स्कूलों और कॉलेजों में प्रतियोगिताओं, परीक्षाओं और भाषणों के लिए हिंदी में इन छोटे और लंबे निबंधों का उपयोग कर सकते हैं।
5. हिंदी परीक्षाओं में प्रभावशाली निबंध लिखने के कुछ तरीके क्या हैं? हिंदी में प्रभावी और प्रभावशाली निबंध लिखने के लिए, किसी को इसमें शानदार तरीके से काम करना चाहिए। उसके लिए, आपको इन बिंदुओं का पालन करना चाहिए और सभी प्रकार की परीक्षाओं में एक परिपूर्ण हिंदी निबंध की रचना करनी चाहिए:
- एक पंच-लाइन की शुरुआत।
- बहुत सारे विशेषणों का उपयोग करें।
- रचनात्मक सोचें।
- कठिन शब्दों के प्रयोग से बचें।
- आंकड़े, वास्तविक समय के उदाहरण, प्रलेखित जानकारी दें।
- सिफारिशों के साथ निष्कर्ष निकालें।
- निष्कर्ष के साथ पंचलाइन को जोड़ना।
निष्कर्ष हमने एक टीम के रूप में हिंदी निबन्ध विषय पर पूरी तरह से शोध किया और इस पृष्ठ पर कुछ मुख्य महत्वपूर्ण विषयों को सूचीबद्ध किया। हमने इन हिंदी निबंध लेखन विषयों को उन छात्रों के लिए एकत्र किया है जो निबंध प्रतियोगिता या प्रतियोगी या बोर्ड परीक्षाओं में भाग ले रहे हैं। तो, हम आशा करते हैं कि आपको यहाँ पर सूची से हिंदी में अपना आवश्यक निबंध विषय मिल गया होगा।
यदि आपको हिंदी भाषा पर निबंध के बारे में अधिक जानकारी की आवश्यकता है, तो संरचना, हिंदी में निबन्ध लेखन के लिए टिप्स, हमारी साइट LearnCram.com पर जाएँ। इसके अलावा, आप हमारी वेबसाइट से अंग्रेजी में एक प्रभावी निबंध लेखन विषय प्राप्त कर सकते हैं, इसलिए इसे अंग्रेजी और हिंदी निबंध विषयों पर अपडेट प्राप्त करने के लिए बुकमार्क करें।
Friday 29 January 2021
गाँव और शहर पर निबंध gaon aur shahar essay in hindi.
Gaon aur shahar essay in hindi
गांव और शहर हर एक व्यक्ति के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण होते हैं । गांव और शहर एवं इन दोनों जगहों पर रहने वाले लोग एक दूसरे पर निर्भर होते हैं । गांव जहां के ज्यादातर लोग खेती किसानी करके अपने जीवन को गुजारते हैं वह काफी मेहनत करते हैं ।
गांव में बहुत से लोग फल फूल सब्जी आदि लगाते हैं और उन्हें बेचकर अपनी जीविका चलाते हैं । गांव के लोग अपनी फसल एवं सब्जियों की पैदावार करके शहरों में बेच कर अपनी जीविका चलाते हैं । एक तरह से देखें तो गांव के लोग शहरों पर निर्भर रहते हैं ।
गांव के लोग अपनी कई जरूरतों की पूर्ति के लिए कई तरह का सामान खरीदने के लिए शहरों के बाजारों पर निर्भर रहते हैं । शहरों का बाजार कुछ ग्रामीण लोगों की वजह से ही चलता है । शहर भी गांवों के बगैर अधूरे हैं । शहरों के लोग फल , साग सब्जी , अनाज दूध आदि के लिए ग्रामीण इलाकों पर निर्भर रहते हैं ।
सच मानिए गांवों के बगैर शहरों का कोई अस्तित्व ही नहीं है । अपनी छोटी-मोटी जरूरतों की पूर्ति के लिए भी शहर के लोग गांव पर निर्भर है । आजकल हम देखें तो गांव के लोगों को कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है क्योंकि गांव के अधिकतर लोग खेती किसानी पर निर्भर रहते हैं और कई तरह की प्राकृतिक आपदाओं आदि की वजह से प्रभावित होती है ।
पैदावार कभी-कभी तो इतनी भी नहीं निकल पाती किसानों की लागत निकल सके । आजकल के आधुनिक दौर में किसान भी अपने बच्चों को शहरों की ओर भेज रहे हैं । वह अपने बच्चों को कई तरह की सरकारी नौकरी करने के लिए प्रेरित करते हैं और वह अपने बच्चों को शहरों में रखकर शहरों में ही रहने का विचार करते हैं ।
आजकल के दौर में बहुत सारे लोग ग्रामीण इलाकों से शहरों की ओर पलायन कर रहे हैं यह इसलिए हो रहा है क्योंकि आज के इस दौर में लोग खेती किसानी से ज्यादा कई अन्य कार्य करने के प्रति रुचि दिखा रहे हैं । गांव और शहर वास्तव में एक दूसरे पर निर्भर हैं ।
गांव में यदि सही तरह से खेती की जाए और अच्छी तरह से रहन-सहन हो तो गांव में रहकर जीवन जीना बहुत ही बेहतरीन हो सकता है लेकिन आजकल के लोग शहरी जीवन को अपनाना पसंद कर रहे हैं । आजकल हम देखें तो सरकार ने गांव गांव में स्कूलों की व्यवस्था करवाई है जिससे बच्चे स्कूलों में अपनी पढ़ाई कर पा रहे हैं ।
आजकल ग्रामीण इलाकों में भी तेजी से विकास किया जा रहा है लेकिन गांवों में रोजगार के साधन अधिकतर ना होने की वजह से नए नवयुवक शहरों की ओर पलायन करते हैं और शहरों में रहकर कई तरह की नौकरियां , कई तरह के व्यापार में रुचि दिखाते हैं ।
गांव और शहर में एक अंतर यह भी है कि ग्रामीण इलाकों में खर्चा ज्यादा नहीं होता क्योंकि वहां पर हमारी अन्य जरूरतें पूरा करने के लिए साधन बहुत ही कम होते है लेकिन शहरों में हमारी अन्य जरूरतों को पूरा करने के लिए बहुत सारे साधन होते हैं । कहीं जरूरत है तो फिजूल की होती हैं ।
पैसा बर्बाद होता है इसलिए कई लोग कहते हैं कि शहरों में खर्चा अधिक होता है । आजकल हम देखे तो गांव के लोग जब शहरों में किराए के कमरों में रहते हैं तो उन्हें बहुत सा पैसा किराए के रूप में मालिक को देना होता है । इस तरह की कई समस्याएं गांव के लोगों को शहरों में आकर झेलना पढ़ती हैं । गांव और शहर दोनों ही एक-दूसरे पर निर्भर हैं ।
दोस्तों हमारे द्वारा लिखा Gaon aur shahar essay in hindi गांव और शहर पर निबंध आपको कैसा लगा जरूर बताएं । हमारे आज के इस आर्टिकल को ज्यादा से ज्यादा शेयर करें और हमें सब्सक्राइब करना ना भूले ।
- Share This:
- Google+
- Stumble
Popular Posts
- terms of use
- privacy policy
- HIV Infection
- Cooking Oil
- Raksha Bandhan Wishes For Brother
- Raksha Bandhan 2024
- Raksha Bandhan 2024 Rangoli Design
- Rakhi Special Sweets
- Raksha Bandhan Holiday
Raksha Bandhan Essay: बच्चे को बताएं राखी से जुड़ी पांच रोचक बातें ताकि रक्षाबंधन पर निबंध लिखना हो जाए आसान
त्योहार को मनाकर हम अपने रिश्तों को और भी सुदृढ़ कर सकते हैं और अपने परिवार और समाज में प्रेम, सद्भाव और एकता का संदेश फैला सकते हैं। रक्षाबंधन पर निबंध हिंदी में लिखने के लिए बच्चे को इस त्योहार से जुड़ी रोचक बातें बताएं। ये रहा बच्चों के लिए रक्षाबंधन पर निबंध।.
Link Copied
विस्तार .vistaar {display: flex; flex-direction: row; justify-content: space-between; align-items: center;} .vistaar .followGoogleNews {display:flex;align-items:center;justify-content:center;font-size:14px;line-height:15px;color:#424242; padding:3px 7px 3px 12px;border:1px solid #D2D2D2;border-radius:50px} .vistaar .followGoogleNews a {display:inline-flex;justify-content:center;align-items:center} .vistaar .followGoogleNews span{margin:0 5px} @media only screen and (max-width:320px){ .vistaar .followGoogleNews {font-size:11px;padding:3px 2px 3px 7px} } Follow Us
सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट अमर उजाला पर पढ़ें लाइफ़ स्टाइल से संबंधित समाचार ( Lifestyle News in Hindi), लाइफ़स्टाइल जगत (Lifestyle section) की अन्य खबरें जैसे हेल्थ एंड फिटनेस न्यूज़ (Health and fitness news), लाइव फैशन न्यूज़ , (live fashion news) लेटेस्ट फूड न्यूज़ इन हिंदी , (latest food news) रिलेशनशिप न्यूज़ (relationship news in Hindi) और यात्रा (travel news in Hindi) आदि से संबंधित ब्रेकिंग न्यूज़ ( Hindi News )।
रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App , iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|
एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें
Next Article
Please wait...
अपना शहर चुनें
Today's e-Paper
News from indian states.
- Uttar Pradesh News
- Himachal Pradesh News
- Uttarakhand News
- Haryana News
- Jammu And Kashmir News
- Rajasthan News
- Jharkhand News
- Chhattisgarh News
- Gujarat News
- Health News
- Fitness News
- Fashion News
- Spirituality
- Daily Horoscope
- Astrology Predictions
- Astrologers
- Astrology Services
- Age Calculator
- BMI Calculator
- Income Tax Calculator
- Personal Loan EMI Calculator
- Car Loan EMI Calculator
- Home Loan EMI Calculator
Entertainment News
- Bollywood News
- Hollywood News
- Movie Reviews
- Photo Gallery
- Hindi Jokes
Sports News
- Cricket News
- Live Cricket Score
Latest News
- Technology News
- Car Reviews
- Mobile Apps
- Sarkari Naukri
- Sarkari Result
- Career Plus
- Business News
- Europe News
- UP Board Result
- HP Board Result
- UK Board Result
- Utility News
- Bizarre News
- Special Stories
Other Properties:
- My Result Plus
- SSC Coaching
- Gaon Junction
- Advertise with us
- Cookies Policy
- Terms and Conditions
- Products and Services
- Code of Ethics
Delete All Cookies
फॉन्ट साइज चुनने की सुविधा केवल एप पर उपलब्ध है
अमर उजाला एप इंस्टॉल कर रजिस्टर करें और 100 कॉइन्स पाएं, केवल नए रजिस्ट्रेशन पर, अब मिलेगी लेटेस्ट, ट्रेंडिंग और ब्रेकिंग न्यूज आपके व्हाट्सएप पर.
सभी नौकरियों के बारे में जानने के लिए अभी डाउनलोड करें अमर उजाला ऐप
क्षमा करें यह सर्विस उपलब्ध नहीं है कृपया किसी और माध्यम से लॉगिन करने की कोशिश करें
- articles in hindi
National Flag Essay in Hindi: भारतीय राष्ट्रीय ध्वज 'तिरंगा' पर निबंध हिन्दी में
Essay on national flag हिन्दी में: 78वें भारतीय स्वतंत्रता दिवस, 2024 के अवसर पर, यहां भारत के राष्ट्रीय ध्वज पर लंबे और छोटे निबंध प्राप्त करें। निबंध स्कूली छात्रों और बच्चों के लिए हिन्दी में दिए गए हैं।.
National Flag of India Essay in Hindi: इस 15 अगस्त 2024 को हम ब्रिटिश राज से मिली आजादी का जश्न मनाते हुए 78वां स्वतंत्रता दिवस मनाएंगे। विद्यार्थियों और बच्चों को यह अवश्य सीखना चाहिए कि देश की आजादी के लिए अनेक लोगों ने क्या प्रयास किये। सबसे अच्छा तरीका यह है कि उन्हें उस संघर्ष के बारे में बताया जाए जिसने भारत को ब्रिटिश राज से आजादी दिलाई और उन्हें भारतीय स्वतंत्रता दिवस और राष्ट्रीय ध्वज के बारे में एक निबंध लिखने के लिए भी कहा। भारत के राष्ट्रीय ध्वज पर हिंदी में निबंध लिखने के लिए नीचे दिए गए उदाहरणों का उपयोग करें।
भारत के राष्ट्रीय ध्वज पर निबंध Essay On National Flag In Hindi (100 Words)
भारत का राष्ट्रीय ध्वज, जिसे तिरंगा कहा जाता है, हमारे देश की पहचान और गौरव का प्रतीक है। इसमें तीन रंग हैं - केसरिया, सफेद और हरा। केसरिया रंग त्याग का, सफेद रंग शांति का और हरा रंग हरियाली व विकास का प्रतीक है। ध्वज के मध्य में नीले रंग का अशोक चक्र है, जिसमें 24 तीलियाँ हैं, जो धर्म और न्याय के मार्ग पर चलने का प्रतीक है। तिरंगा हमें एकता, स्वतंत्रता और देशभक्ति की भावना को सजीव करता है। इसे फहराना हमारे लिए गर्व और सम्मान की बात है। तिरंगा हमारे देश की शान और गौरव का प्रतीक है। तिरंगे का सम्मान करना हमारा राष्ट्रीय कर्तव्य है, और हमें इस पर गर्व होना चाहिए कि हम एक स्वतंत्र और महान देश के नागरिक हैं।
भारत के राष्ट्रीय ध्वज पर निबंध Essay On National Flag In Hindi (150 Words)
भारत का राष्ट्रीय ध्वज, जिसे तिरंगा कहा जाता है, हमारे देश की स्वतंत्रता, एकता और गौरव का प्रतीक है। इसे 22 जुलाई 1947 को भारत के संविधान सभा द्वारा अपनाया गया था। तिरंगे में तीन रंग हैं - केसरिया, सफेद और हरा। केसरिया रंग त्याग और बलिदान का प्रतीक है, सफेद रंग शांति और सच्चाई का, और हरा रंग हरियाली और विकास का। ध्वज के मध्य में नीले रंग का अशोक चक्र स्थित है, जिसमें 24 तीलियाँ हैं। यह चक्र सम्राट अशोक के स्तम्भ से लिया गया है और यह धर्म, न्याय और प्रगति का प्रतीक है।
तिरंगा हमें हमारे देश की सांस्कृतिक विविधता और एकता को याद दिलाता है। इसे फहराना हमारे लिए गर्व और सम्मान की बात है। तिरंगा न केवल हमारे राष्ट्र की पहचान है, बल्कि यह हमें हमारी जिम्मेदारियों और देशभक्ति की भावना को सजीव करने की प्रेरणा भी देता है। इसका सम्मान करना हर भारतीय का कर्तव्य है।
भारत के राष्ट्रीय ध्वज पर निबंध Essay On National Flag In Hindi (200 Words)
भारत का राष्ट्रीय ध्वज, जिसे तिरंगा कहा जाता है, हमारे देश की पहचान और गौरव का प्रतीक है। यह ध्वज 22 जुलाई 1947 को संविधान सभा द्वारा अपनाया गया था और इसे पिंगली वेंकैया द्वारा डिजाइन किया गया था। तिरंगा में तीन क्षैतिज रंग पट्टियाँ हैं - सबसे ऊपर केसरिया, बीच में सफेद और नीचे हरा रंग।
केसरिया रंग त्याग, साहस और बलिदान का प्रतीक है। यह हमें देश के लिए निस्वार्थ भाव से सेवा करने की प्रेरणा देता है। सफेद रंग शांति, सच्चाई और पवित्रता का प्रतीक है। यह हमें सत्य और न्याय के मार्ग पर चलने के लिए प्रेरित करता है। हरा रंग हरियाली, उन्नति और समृद्धि का प्रतीक है, जो हमारे देश के विकास को दर्शाता है।
ध्वज के बीच में स्थित नीले रंग का अशोक चक्र धर्म और न्याय का प्रतीक है। इसमें 24 तीलियाँ हैं, जो 24 घंटे का प्रतीक हैं और यह हमें निरंतर कर्म करने की प्रेरणा देती हैं।
राष्ट्रीय ध्वज हमारे देश की एकता, अखंडता और स्वतंत्रता का प्रतीक है। इसे फहराना और इसका सम्मान करना हर भारतीय का कर्तव्य है। तिरंगा हमें देशभक्ति, साहस और समर्पण की भावना को सजीव रखने की प्रेरणा देता है। इसके प्रति हमारा सम्मान और गर्व हमें एक मजबूत और एकजुट राष्ट्र बनाता है।
- Independence Day 15th August Essay In English For School Students
- Independence Day Anchoring Script 2024: Best Engaging Scripts for 15th August
- Independence Day Poems in Hindi 2024: स्वतंत्रता दिवस पर हिंदी में पढ़ें सरल और छोटी कविताएं
- Independence Day Hindi Songs 2024: Check Best Hindi Songs for School Competitions and Celebrations
- Independence Day Speech in Hindi 2024: 15 अगस्त के मौके पर छोटे और बड़े भाषण यहाँ पढ़ें
- स्वतंत्रता दिवस 15 अगस्त पर निबंध हिंदी में: Essay on Independence Day in Hindi
- Independence Day Celebration Ideas: Things to Do on 15th August
आप जागरण जोश पर सरकारी नौकरी , रिजल्ट , स्कूल , सीबीएसई और अन्य राज्य परीक्षा बोर्ड के सभी लेटेस्ट जानकारियों के लिए ऐप डाउनलोड करें।
- UGC NET Re Exam City Intimation Slip 2024
- Rajasthan Pre DEIEd Result 2024 Live
- mpbse.nic.in Supplementary Result 2024
- Rajasthan Pre DEIEd Result 2024
- UGC NET उत्तर कुंजी 2024
- बिहार पुलिस SI प्रोबेशन मेंस एडमिट कार्ड 2024
- एमपी पैट एडमिट कार्ड 2024
- बीएसएफ कांस्टेबल भर्ती 2024
- HBSE 12th Result 2024
- JAC Class 12th रिजल्ट 2024
Latest Education News
UK Compartment Board Result 2024 Out: Check UBSE Class 10, 12 Marksheet at ubse.uk.gov.in
JNCU Result 2024 OUT at jncu.ac.in, Direct Link to Download UG and PG Marksheet
Discover the Science Behind the Aurora Australis! What is Aurora Australis?
Optical Illusion: Only 5% with eagle eyes can spot the banana in 7 seconds!
MJPRU Result 2024 OUT at mjpruiums.in; Download UG and PG Marksheet PDF
KTU Result 2024 OUT at ktu.edu.in; Direct Link to Downlaod UG and PG Marksheet PDF
RGUHS Result 2024 OUT at gnanasangama.karnataka.gov.in; Direct Link to Download UG Marksheet PDF
HPU Result 2024 OUT at hpuniv.ac.in, Direct Link to Download UG and PG Marksheet PDF
What Leads to the Formation of the Northern Aurora Lights? When will they be visible?
70th National Film Awards: Check the List of Winners Here
A Complete List of Duleep Trophy Winners from 1961 to the Present
OTET Expected Cut Off 2024: Check Category-wise Odisha TET Minimum Qualifying Marks
Optical Illusion IQ Test: Can You Find the Owl Hidden in This Jungle in 8 Seconds?
VMOU RSCIT एडमिट कार्ड 2024: यहां से डाउनलोड करें हॉल टिकट, परीक्षा 18 अगस्त को
NTA UGC NET एडमिट कार्ड 2024 OUT: यहां दिए डायरेक्ट लिंक डाउनलोड करें से हॉल टिकट
Find 3 differences between the pirate ship pictures in 14 seconds!
IBPS RRB Clerk Exam Analysis 2024, 17 August: All Shifts Paper Review, Difficulty Level, Good Attempts
UGC NET Admit Card 2024 Released at ugcnet.nta.ac.in: Download NTA Call Letter
Osmania University Results 2024 OUT at osmania.ac.in; Direct Link to Download Latest OU Degree Marksheet PDF
UPTAC Counselling 2024: BArch Round 1 Seat Allotment Result Out, Download at uptac.admissions.nic.in
IMAGES
COMMENTS
Get Some Mera Gaon Essay in Hindi for School or College Student - 150, 250, 500 or 1000 words. विषय-सूची. (1) Mera Gaon Essay in Hindi 150 Words. (2) Mera Gaon Essay in Hindi 250 Words. (3) Mera Gaon Essay in Hindi 500 Words. (4) Mera Gaon Essay in Hindi 1000 Words.
मेरा गांव पर निबंध 10 lines (My Village Essay in Hindi) 100, 150, 200, 250, 300, 500, शब्दों मे. My Village Essay in Hindi - देश के ग्रामीण क्षेत्रों को गाँव माना जाता है। हम सभी एक देश में ...
भारतीय गाँव में जीवन पर निबंध (Life in an Indian Village Essay in Hindi) By Kumar Gourav / October 26, 2020. 60 प्रतिशत भारतीय नागरिक गावों में रहते हैं और यदि मैं एक गाँव को असली ...
आदर्श गांव पर निबंध - गांव पर हिंदी निबंध - गाँव के लोग - गांव का दृश्य - गाँव की विशेषताएं - गांव की स्वच्छता - Gaon par Nibandh in Hindi - Essay on Village in Hindi - Hindi Essay on Village - Gaon Essay in Hindi - Village ...
गाँव का जीवन या हमारे गाँव पर निबंध | Essay on Our Village in Hindi! भारत गाँवों के देश है । हमारे देश की साठ-सत्तर प्रतिशत जनसंख्या अब भी गाँवों में ही ...
Essay on my village in Hindi कैसे लिखें?. My village essay in Hindi के लिए टिप्स निम्न हैं-1. आकर्षक परिचय: एक आकर्षक परिचय के साथ शुरुआत करें। पाठक को आकर्षित करने के लिए किसी कहानी, तथ्य ...
मेरा गाँव पर निबंध. 03/09/2023Rahul Singh Tanwar. Essay on My Village in Hindi: भारत गांव से मिलकर बना है। गांव ही भारत की पहचान है। क्योंकि गांव से ही भारत की संस्कृति ...
शहरी जीवन ग्रामीण जीवन पर निबंध - 2 (400 शब्द) प्रस्तावना. ग्रामीण जीवन शहरों की अपेक्षा काफी शांतिपूर्ण है और यहां लोग शहर के लोगों के ...
Essay on mera gaon। मेरा गांव पर निबंध. हरसाल मैं गर्मी की छुट्टियों में अपने गांव जाता हु, छुट्टी पड़ने से पहले ही मैं गांव जाने की तैयारी शुरू ...
भारत के गाँव पर निबंध - 2. प्रस्तावना. भारत देश को गांव का देश कहा जाता है क्योंकि इस देश में एक तिहाई जनसंख्या गांव में निवास करती है ...
गांव का जीवन पर निबंध, short essay on village life in hindi (200 शब्द) गांवों में रहने वाले लोग ज्यादातर कृषि गतिविधियों में शामिल होते हैं और भीड़भाड़ वाले शहर ...
Essay on My Village in Hindi for Class 10, 11 and 12 Students and Teachers. रूपरेखा : गाँव का परिचय - गाँव के लोग - गाँव की सुंदरता - गाँव की पंचायत - गाँव की पाठशाला - गाँव की विकास ...
इस लेख मे हमने ग्रामीण जीवन पर निबंध (गाँव का जीवन) Essay on Village Life in Hindi हिन्दी मे लिखा है। इसमे आप ग्रामीण क्षेत्रों मे शिक्षा, घर, जीवन शैली, स्वास्थ्य सुविधाएं ...
My Village Essay in Hindi. My Village Essay in Hindi 150 Words. मेरे गाँव का नाम विश्रामपुर है। यह समुद्र के किनारे स्थित है। मेरा गाँव सदरता, ताजगी और शांति का मिलाप हैं। साल भर यहां कई तरह ...
भारतीय ग्रामीण जीवन पर निबंध | Essay on Indian Rural Life in Hindi! भारत एक विशाल जनसंख्या वाला देश है जिसका एक बहुत बड़ा भाग आज भी गाँवों में निवास करता है ...
Mera Gaon Nibandh | Essay in Hindi | मेरा गाँव निबंध हिंदी. मेरा गाँव एक बहुत ही छोटा सा गाँव है जो कि भारत के हरियाणा राज्य के करनाल जिसे में स्थित है। मेरे गाँव का नाम सालवन ...
तो यह था मेरा गाँव पर निबंध (Mera Gaon Essay In Hindi), आशा करता हूं कि मेरा गाँव पर हिंदी में लिखा निबंध (Hindi Essay On My Village) आपको पसंद आया होगा। अगर आपको यह लेख ...
मेरे गाँव पर निबंध 500+ शब्द - Mera Gaon Essay In Hindi. Mera Gaon एक ऐसा स्थान है जहाँ मैं अपनी छुट्टियों में या जब भी मुझे थकान महसूस होती है और आराम करना ...
गाँव का विकास पर निबंध Gaon ka vikas essay in hindi; इस आर्टिकल Gaon ka badalta swaroop in hindi को शेयर जरुर करे. Related Posts. विद्युत सुरक्षा निबंध Electrical safety essay in hindi.
रक्षाबंधन पर निबंध-Essay On Raksha Bandhan In Hindi; बेटी बचाओ बेटी पढाओ पर निबंध-Beti Bachao Beti Padhao In Hindi; Holi Essay in Hindi होली पर निबंध; दीपावली पर निबंध - Diwali Essay In Hindi
Essay on my village in Hindi or Mera gaon par nibandh this video is all about. You will get a beautiful paragraph on my village in Hindi in this video. I hop...
Hindi Essay (Hindi Nibandh) | 100 विषयों पर हिंदी निबंध लेखन - Essays in Hindi on 100 Topics. January 31, 2024 January 31, 2024 by Veerendra. ... (Khule Me Soch Mukt Gaon Par Essay) रंगीला राजस्थान पर ...
Gaon aur shahar essay in hindi. गांव और शहर हर एक व्यक्ति के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण होते हैं । गांव और शहर एवं इन दोनों जगहों पर रहने वाले लोग एक दूसरे पर निर्भर होते हैं ...
Independence Day Essay (Nibandh) in Hindi: क्या आप स्वतंत्रता दिवस पर हिंदी में एक अनोखा, प्रभावशाली ...
Essay In Raksha Bandhan : 19 अगस्त 2024 को रक्षाबंधन का पर्व मनाया जा रहा है। राखी के पर्व के मौके पर स्कूल काॅलेज में छुट्टी रहती है। बच्चों को रक्षाबंधन के त्योहार के ...
National Flag of India Essay in Hindi: इस 15 अगस्त 2024 को हम ब्रिटिश राज से मिली आजादी का जश्न मनाते ...